बुधवार को अगवा किए गए पुलिसकर्मी के बेटे का अभी कोई सुराग नहीं मिला है। वादी में बीते 48 घंटे के भीतर पुलिसकर्मियों के बेटों व भाई को अगवा करने की चार वारदात हो चुकी हैं। गुरुवार को पहली घटना पुलवामा जिले के त्राल क्षेत्र के गांव मिडूरा की है। आतंकी पुलिस के जवान गुलाम हसन के घर आए और उसके बेटे नसीर अहमद को अगवा करके ले गए। जिस समय आतंकियों ने पुलिसकर्मी के घर हमला बोला उस समय वह अपने घर पर नहीं थे। इसी गांव में आतंकियों ने एक स्पेशल पुलिस ऑफिसर (एसपीओ) के साथ भी मारपीट की। पुलवामा जिले के नमन गांव के रहने वाले हेड कांस्टेबल अब्दुल सलाम के बेटे मोहम्मद शफी मीर को भी आतंकियों ने अगवा कर लिया। इसी तरह आतंकियों ने पुलवामा जिले के ही कंगन क्षेत्र में एक पुलिस वाले के भाई की पिटाई कर उसे अगवा कर लिया, लेकिन बाद में उसे छोड़ दिया। आतंकियों की तलाश तेज जम्‍मू-कश्‍मीर: बांदीपोरा मुठभेड़ में दो आतंकी ढेर, ऑपरेशन जारी यह भी पढ़ें इस बीच पुलिस ने आतंकियों की तलाश तेज कर दी है। गौरतलब है कि बुधवार रात को त्राल में आतंकियों ने पुलिस कर्मी रफीक अहमद राथर के बेटे आसिफ रफीक राथर को अगवा कर लिया था। उसकी मां व कश्मीर के कई लोगों ने आतंकियों से उसे छोड़ने की अपील की है। गुरुवार को उसके सहपाठियों ने मानवता के आधार पर उसे रिहा करने को कहा। आसिफ के पिता रफीक अहमद जम्मू-कश्मीर पुलिस में कार्यरत हैं और उनकी पोस्टिंग श्रीनगर में हैं। अगवा किए गए युवक आसिफ की उम्र 20 वर्ष बताई जा रही है। घाटी में हाई अलर्ट जारी जम्मू-कश्मीर: अनंतनाग एनकाउंटर में सेना को बड़ी कामयाबी, हिज्बुल के दो आतंकी ढेर यह भी पढ़ें अपहरण की घटनाओं के सामने आने के बाद अब पूरी घाटी में हाई अलर्ट का ऐलान कर दिया गया है। इस मामले पर डीजीपी डॉ. एसपी वैद का कहना है कि छानबीन की जा रही है। बता दें कि घाटी में सुरक्षाबलों की कार्रवाई से आतंकी बौखलाए हुए हैं। उन्होंने धमकी दी थी कि अगर उनके साथ ज्यादा ज्यादती की गई, तो सुरक्षाबलों के परिवार भी सुरक्षित नहीं रह पाएंगे। पहली बार बच्चों को निशाना बना रहे आतंकी आतंकी संगठन हिजबुल मुजाहिद्दीन ने मीडिया व मतदाताओं को दी धमकी यह भी पढ़ें सबसे खास बात यह है कि बीते 28 साल में यह पहला मौका है जब कश्मीर में आतंकी पुलिसकर्मियों के परिजनों को निशाना बना रहे हैं। इस मामले की गंभीरता को देखते हुए जम्मू-कश्मीर पुलिस की विशेष टीम अपहरण किए लोगों को छुड़ाने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है।

कश्मीर में बुजदिली पर उतरे आतंकी, 48 घंटे में पुलिसकर्मियों के नौ परिजनों का अपहरण

जम्मू-कश्मीर में आतंकी अब बुजदिली पर उतर आए हैं। पहले आतंकी निहत्थे सुरक्षाकर्मियों को अगवा कर उनकी हत्या कर रहे थे और अब आतंकियों ने पुलिसकर्मियों के परिवार वालों पर धावा बोलना शुरू कर दिया है। आतंकी अब इन पुलिकर्मियों के बच्चों और उनके परिजनों को अपना निशाना बना रहे हैं। दक्षिण कश्मीर में पिछले 48 घंटे में आतंकियों ने पुलिसकर्मियों के नौ परिजनों को अगवा कर लिया है। अपहरण किए गये लोगों में पुलिस अधिकारियों और जवानों के बच्चे और रिश्तेदार शामिल हैं। पुलवामा जिले के त्राल में आतंकियों ने दो और पुलिसकर्मियों के बेटों को अगवा कर लिया है, जबकि एक अन्य जवान के भाई को अगवा करने के बाद छोड़ दिया। जिसके बाद अगवा किए गए लोगों की संख्या बढ़कर नौ हो गई है। बुधवार को अगवा किए गए पुलिसकर्मी के बेटे का अभी कोई सुराग नहीं मिला है। वादी में बीते 48 घंटे के भीतर पुलिसकर्मियों के बेटों व भाई को अगवा करने की चार वारदात हो चुकी हैं। गुरुवार को पहली घटना पुलवामा जिले के त्राल क्षेत्र के गांव मिडूरा की है। आतंकी पुलिस के जवान गुलाम हसन के घर आए और उसके बेटे नसीर अहमद को अगवा करके ले गए। जिस समय आतंकियों ने पुलिसकर्मी के घर हमला बोला उस समय वह अपने घर पर नहीं थे। इसी गांव में आतंकियों ने एक स्पेशल पुलिस ऑफिसर (एसपीओ) के साथ भी मारपीट की। पुलवामा जिले के नमन गांव के रहने वाले हेड कांस्टेबल अब्दुल सलाम के बेटे मोहम्मद शफी मीर को भी आतंकियों ने अगवा कर लिया। इसी तरह आतंकियों ने पुलवामा जिले के ही कंगन क्षेत्र में एक पुलिस वाले के भाई की पिटाई कर उसे अगवा कर लिया, लेकिन बाद में उसे छोड़ दिया।  आतंकियों की तलाश तेज   जम्‍मू-कश्‍मीर: बांदीपोरा मुठभेड़ में दो आतंकी ढेर, ऑपरेशन जारी यह भी पढ़ें इस बीच पुलिस ने आतंकियों की तलाश तेज कर दी है। गौरतलब है कि बुधवार रात को त्राल में आतंकियों ने पुलिस कर्मी रफीक अहमद राथर के बेटे आसिफ रफीक राथर को अगवा कर लिया था। उसकी मां व कश्मीर के कई लोगों ने आतंकियों से उसे छोड़ने की अपील की है। गुरुवार को उसके सहपाठियों ने मानवता के आधार पर उसे रिहा करने को कहा। आसिफ के पिता रफीक अहमद जम्मू-कश्मीर पुलिस में कार्यरत हैं और उनकी पोस्टिंग श्रीनगर में हैं। अगवा किए गए युवक आसिफ की उम्र 20 वर्ष बताई जा रही है।  घाटी में हाई अलर्ट जारी   जम्मू-कश्मीर: अनंतनाग एनकाउंटर में सेना को बड़ी कामयाबी, हिज्बुल के दो आतंकी ढेर यह भी पढ़ें अपहरण की घटनाओं के सामने आने के बाद अब पूरी घाटी में हाई अलर्ट का ऐलान कर दिया गया है। इस मामले पर डीजीपी डॉ. एसपी वैद का कहना है कि छानबीन की जा रही है। बता दें कि घाटी में सुरक्षाबलों की कार्रवाई से आतंकी बौखलाए हुए हैं। उन्होंने धमकी दी थी कि अगर उनके साथ ज्यादा ज्यादती की गई, तो सुरक्षाबलों के परिवार भी सुरक्षित नहीं रह पाएंगे।  पहली बार बच्चों को निशाना बना रहे आतंकी   आतंकी संगठन हिजबुल मुजाहिद्दीन ने मीडिया व मतदाताओं को दी धमकी यह भी पढ़ें सबसे खास बात यह है कि बीते 28 साल में यह पहला मौका है जब कश्मीर में आतंकी पुलिसकर्मियों के परिजनों को निशाना बना रहे हैं। इस मामले की गंभीरता को देखते हुए जम्मू-कश्मीर पुलिस की विशेष टीम अपहरण किए लोगों को छुड़ाने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है।

बुजदिली पर उतरे आतंकी, निशाने पर अब बच्चे 

बता दें कि दो दिन के दरमियान एक साथ नौ परिजन को अगवा करने का यह पहला मामला माना जा रहा है। बुधवार को त्राल से एक पुलिसकर्मी के बेटे और गंदेरबल से एक पुलिस जवान के परिवार के सदस्य को अगवा किया गया था। इसके साथ ही पुलिसकर्मियों और जवानों के परिजनों के अगवा करने का सिलसिला अगले दिन भी आतंकियों ने जारी रखा। बताया जा रहा है कि गंदेरबल से अगवा व्यक्ति के साथ आतंकियों ने बुरी तरह से मारपीट भी की और बाद में उसे छोड़ दिया। इसके बाद गुरुवार रात पुलिसकर्मियों के सात परिजन को शोपियां, कुलगाम, अनंतनाग, त्राल और अवंतिपोरा से अगवा किया गया। इनमें एक डीएसपी का भाई भी शामिल है।

बुधवार को अगवा किए गए पुलिसकर्मी के बेटे का अभी कोई सुराग नहीं मिला है। वादी में बीते 48 घंटे के भीतर पुलिसकर्मियों के बेटों व भाई को अगवा करने की चार वारदात हो चुकी हैं। गुरुवार को पहली घटना पुलवामा जिले के त्राल क्षेत्र के गांव मिडूरा की है। आतंकी पुलिस के जवान गुलाम हसन के घर आए और उसके बेटे नसीर अहमद को अगवा करके ले गए। जिस समय आतंकियों ने पुलिसकर्मी के घर हमला बोला उस समय वह अपने घर पर नहीं थे। इसी गांव में आतंकियों ने एक स्पेशल पुलिस ऑफिसर (एसपीओ) के साथ भी मारपीट की। पुलवामा जिले के नमन गांव के रहने वाले हेड कांस्टेबल अब्दुल सलाम के बेटे मोहम्मद शफी मीर को भी आतंकियों ने अगवा कर लिया। इसी तरह आतंकियों ने पुलवामा जिले के ही कंगन क्षेत्र में एक पुलिस वाले के भाई की पिटाई कर उसे अगवा कर लिया, लेकिन बाद में उसे छोड़ दिया।

आतंकियों की तलाश तेज

इस बीच पुलिस ने आतंकियों की तलाश तेज कर दी है। गौरतलब है कि बुधवार रात को त्राल में आतंकियों ने पुलिस कर्मी रफीक अहमद राथर के बेटे आसिफ रफीक राथर को अगवा कर लिया था। उसकी मां व कश्मीर के कई लोगों ने आतंकियों से उसे छोड़ने की अपील की है। गुरुवार को उसके सहपाठियों ने मानवता के आधार पर उसे रिहा करने को कहा। आसिफ के पिता रफीक अहमद जम्मू-कश्मीर पुलिस में कार्यरत हैं और उनकी पोस्टिंग श्रीनगर में हैं। अगवा किए गए युवक आसिफ की उम्र 20 वर्ष बताई जा रही है।

घाटी में हाई अलर्ट जारी

अपहरण की घटनाओं के सामने आने के बाद अब पूरी घाटी में हाई अलर्ट का ऐलान कर दिया गया है। इस मामले पर डीजीपी डॉ. एसपी वैद का कहना है कि छानबीन की जा रही है। बता दें कि घाटी में सुरक्षाबलों की कार्रवाई से आतंकी बौखलाए हुए हैं। उन्होंने धमकी दी थी कि अगर उनके साथ ज्यादा ज्यादती की गई, तो सुरक्षाबलों के परिवार भी सुरक्षित नहीं रह पाएंगे।

पहली बार बच्चों को निशाना बना रहे आतंकी

सबसे खास बात यह है कि बीते 28 साल में यह पहला मौका है जब कश्मीर में आतंकी पुलिसकर्मियों के परिजनों को निशाना बना रहे हैं। इस मामले की गंभीरता को देखते हुए जम्मू-कश्मीर पुलिस की विशेष टीम अपहरण किए लोगों को छुड़ाने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है।

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