बड़ा खुलासा: पंजाब में गर्भनिरोधक का सबसे अधिक इस्तेमाल

जब से महिलाओं ने यह जाना है कि गर्भ धारण से जुड़ी ज्यादातर दिक्कतें उनको ही झेलनी है तब से महिलाओं के बीच गर्भनिरोधकों के इस्तेमाल की लोकप्रियता बढ़ी है.

नेशनल फैमिली हेल्थ सर्वे 2015-16 की रिपोर्ट में जो सबसे ज्यादा चौंकाने वाली बात सामने आई है, वह है अविवाहित महिलाओं के बीच बढ़ती कंडोम की  लोकप्रियता. बीते दस वर्षों में अविवाहित महिलाओं के बीच कंडोम के इस्तेमाल का ग्राफ 10 फीसदी ऊपर गया है. 10 साल पहले किए गए सर्वे में महज 2 फीसदी अविवाहित महिलाएं कंडोम का इस्तेमाल करती थीं, जो वर्ष 2015-16 में बढ़कर 12% हो गया है. कंडोम का इस्तेमाल करने वाली महिलाओं में अविवाहित महिलाओं की उम्र 15 से 49 वर्ष के बीच है.

कॉन्ट्रासेप्टिव के इस्तेमाल में पंजाब की महिलाएं सबसे आगे

सर्वेक्षण में सामने आया है कि कॉन्ट्रासेप्टिव के इस्तेमाल में पंजाब की महिलाएं सबसे आगे हैं. पंजाब की 76 फीसदी महिलाएं गर्भनिरोधकों का इस्तेमाल करती हैं. गर्भ निरोधकों का सबसे कम इस्तेमाल मणिपुर, मेघालय और बिहार में होता है, जो महज 24 फीसदी है.

कॉन्ट्रासेप्टिव के इस्तेमाल में केंद्र शासित राज्यों की श्रेणी में चंडीगढ़ की महिलाएं सबसे ऊपर हैं. सर्वेक्षण के मुताबिक चंडीगढ़ की 74 फीसदी महिलाएं गर्भनिरोधकों का इस्तेमाल करती हैं.

आज भी प्रचलित हैं गर्भ रोकने के परंपरागत तरीके

सर्वेक्षण में सामने आया है कि ज्यादातर महिलाएं आज भी गर्व निरोधक के परंपरागत तरीकों का इस्तेमाल करती हैं, जिनमें माहवारी का रिदम मेथड और विड्रॉल मेथड खास है. गर्भनिरोधकों के आधुनिक तरीकों में कंडोम का इस्तेमाल और महिला-पुरुष नसबंदी, गर्भ निरोधक गोलियां और आईयूडी प्रणाली खास है.

अविवाहित महिलाएं करती है आधुनिक गर्भ निरोधक का इस्तेमाल

सर्वेक्षण में सामने आया है कि अविवाहित महिलाएं परंपरागत गर्भनिरोधक तरीकों का इस्तेमाल करने के बजाए गर्भनिरोधक के आधुनिक तरीकों का इस्तेमाल करती हैं. सर्वे के मुताबिक 25 से 49 वर्ष की अविवाहित महिलाएं गर्भनिरोधक के तौर पर महिला नसबंदी पर ज्यादा भरोसा करती हैं.

लेकिन इस सर्वे में एक चौंकाने वाली बात यह भी सामने आई है कि ज्यादातर पुरुष महिला नसबंदी के पक्ष में नहीं हैं. वह महिला नसबंदी को उनकी वफादारी से जोड़ कर देखते हैं. सर्वे में शामिल पुरुषों के मुताबिक नसबंदी करवाने के बाद महिला एक से अधिक पुरुषों के साथ शारीरिक संबंध बना सकती हैं.

सबसे अधिक कॉन्डोम का यूज 20 से 24 साल की महिलाओं के बीच ही हुआ. सर्वे में यह बात भी सामने आई है कि 8 में से 3 पुरुष ये मानते हैं कि कॉन्ट्रासेप्शन यूज करन करना महिलाओं का काम है, पुरुषों को इसके लिए चिंता नहीं करनी चाहिए.

99 फीसदी शादीशुदा पुरुष और औरत कम से कम एक कॉन्ट्रासेप्टिव मेथड के बारे में जानते हैं. हालांकि, यूज करने की जहां तक बात है, शादीशुदा महिलाओं में कॉन्ट्रासेप्टिव यूज करने का आंकड़ा 54 फीसदी ही है. 15 से 49 साल की शादीशुदा महिलाओं में सिर्फ 10 फीसदी ही मॉडर्न कॉन्ट्रासेप्टिव मेथड का इस्तेमाल करते हैं.

अविवाहित महिलाओं में मॉडर्न कॉन्ट्रासेप्टिव मेथड यूज करने का आंकड़ा अधिक है. वहीं 25 से 49 साल की महिलाओं में नसबंदी के जरिए प्रेग्नेंसी रोकने के उपाय करने के आंकड़े अधिक हैं. सर्वे में यह बात भी सामने आई है कि इमरजेंसी कॉन्ट्रासेप्टिव पिल्स का इस्तेमाल करने वाली महिलाओं की संख्या 1 फीसदी से भी कम है.

सर्वे में यह भी पता चला है कि 65 फीसदी सिख और बौद्ध महिलाओं ने मॉडर्न कॉन्ट्रासेप्टिव का यूज किया, वहीं मुस्लिम महिलाओं में ये आंकड़ा सिर्फ 38 फीसदी का रहा. मॉडर्न कॉन्ट्रासेप्टिव का यूज धनी लोगों से अधिक किया. वहीं, 69 फीसदी महिलाओं ने पब्लिक हेल्थ सेक्टर से अपने लिए मॉडर्न कॉन्ट्रासेप्टिव मेथड हासिल किया.

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