साल 2018 के दूसरे क्वार्टर में हुवावे ने एपल को पीछे छोड़ दिया है. इसी के साथ हुवावे ग्लोबल स्मार्टफोन मार्केट में दूसरे नंबर पर पहुंच चुकी है. एपल अब तीसरे स्थान पर पहुंच चुका है. ऐसा पहली बार हुआ है जब किसी चीनी स्मार्टफोन ब्रैंड ने एपल को पीछे छोड़ दिया है. हुवावे स्मार्टफोन सेल की अगर बात करें तो साल 2018 के दूसरे क्वार्टर में ये आंकड़ा 38.6 प्रतिशत था. बता दें कि हुवावे अपने यूजर्स पर काफी फोकस कर रहा है जहां वो अपने स्मार्टफोन में लगातार फोकस कर रहा है और जिससे कहीं न कहीं उसे फायदा भी हुआ है. हुवावे अपने स्मार्टफोन को पूरी दुनिया में 70 अलग- अलग मार्केट में भेज रहा है. इस क्वार्टर में अगर पहले नंबर वाले स्मार्टफोन कंपनी की बात करें तो वो सैमसंग है जिसे 12.7 प्रतिशत का नुकसान हुआ है. वहीं एपल का प्रदर्शन साल 2018 के सेकेंड क्वार्टर में 0.9 प्रतिशत रहा. इस आंकड़े की वजह से एपल का ग्रोथ इस क्वार्टर में काफी धीमा रहा जिससे उसके पायदान पर असर पड़ा है. गार्टनर के रिसर्च डायरेक्ट का मानना है कि इसकी एपल के गिरते आंकड़े की वजह से आईफोन X की डिमांड अब लोगों में कम होने लगी है. उन्होंने आगे कहा कि चीनी कंपनियों से एपल को काफी ज्यादा टक्कर मिल रही है जहां एपल पर अपनी टेक्नॉलजी में बड़ा बदलाव करने के लिए दबाव बनता जा रहा है. धीमे ग्लोबल स्मार्टफोन मार्केट में शाओमी अपने ऑफलाइन और ऑनलाइन रिटेल ग्रोथ पर ज्यादा फोकस कर रहा है जिससे उसको साल 2018 के सेकेंड क्वार्टर में चौथा पायदान हासिल हुआ है. वहीं अगर स्मार्टफोन ऑपरेटिंग सिस्टम मार्केट की बात करें तो गूगल के एंड्रॉयड ने एपल आईओएस को सेकेंड क्वार्टर में पीछे छोड दिया है. एंड्रॉयड ने जहां 88 प्रतिशत मार्केट शेयर पर कब्जा किया है तो वहीं आईओएस का कब्जा सिर्फ 11.9 प्रतिशत के मार्केट शेयर पर है

Huawei ने छोड़ा Apple को पीछे, ग्लोबल स्मार्टफोन मार्केट में बनी नंबर 2 कंपनी

साल 2018 के दूसरे क्वार्टर में हुवावे ने एपल को पीछे छोड़ दिया है. इसी के साथ हुवावे ग्लोबल स्मार्टफोन मार्केट में दूसरे नंबर पर पहुंच चुकी है. एपल अब तीसरे स्थान पर पहुंच चुका है. ऐसा पहली बार हुआ है जब किसी चीनी स्मार्टफोन ब्रैंड ने एपल को पीछे छोड़ दिया है.साल 2018 के दूसरे क्वार्टर में हुवावे ने एपल को पीछे छोड़ दिया है. इसी के साथ हुवावे ग्लोबल स्मार्टफोन मार्केट में दूसरे नंबर पर पहुंच चुकी है. एपल अब तीसरे स्थान पर पहुंच चुका है. ऐसा पहली बार हुआ है जब किसी चीनी स्मार्टफोन ब्रैंड ने एपल को पीछे छोड़ दिया है.   हुवावे स्मार्टफोन सेल की अगर बात करें तो साल 2018 के दूसरे क्वार्टर में ये आंकड़ा 38.6 प्रतिशत था. बता दें कि हुवावे अपने यूजर्स पर काफी फोकस कर रहा है जहां वो अपने स्मार्टफोन में लगातार फोकस कर रहा है और जिससे कहीं न कहीं उसे फायदा भी हुआ है. हुवावे अपने स्मार्टफोन को पूरी दुनिया में 70 अलग- अलग मार्केट में भेज रहा है.   इस क्वार्टर में अगर पहले नंबर वाले स्मार्टफोन कंपनी की बात करें तो वो सैमसंग है जिसे 12.7 प्रतिशत का नुकसान हुआ है. वहीं एपल का प्रदर्शन साल 2018 के सेकेंड क्वार्टर में 0.9 प्रतिशत रहा. इस आंकड़े की वजह से एपल का ग्रोथ इस क्वार्टर में काफी धीमा रहा जिससे उसके पायदान पर असर पड़ा है. गार्टनर के रिसर्च डायरेक्ट का मानना है कि इसकी एपल के गिरते आंकड़े की वजह से आईफोन X की डिमांड अब लोगों में कम होने लगी है.   उन्होंने आगे कहा कि चीनी कंपनियों से एपल को काफी ज्यादा टक्कर मिल रही है जहां एपल पर अपनी टेक्नॉलजी में बड़ा बदलाव करने के लिए दबाव बनता जा रहा है.   धीमे ग्लोबल स्मार्टफोन मार्केट में शाओमी अपने ऑफलाइन और ऑनलाइन रिटेल ग्रोथ पर ज्यादा फोकस कर रहा है जिससे उसको साल 2018 के सेकेंड क्वार्टर में चौथा पायदान हासिल हुआ है. वहीं अगर स्मार्टफोन ऑपरेटिंग सिस्टम मार्केट की बात करें तो गूगल के एंड्रॉयड ने एपल आईओएस को सेकेंड क्वार्टर में पीछे छोड दिया है. एंड्रॉयड ने जहां 88 प्रतिशत मार्केट शेयर पर कब्जा किया है तो वहीं आईओएस का कब्जा सिर्फ 11.9 प्रतिशत के मार्केट शेयर पर है

हुवावे स्मार्टफोन सेल की अगर बात करें तो साल 2018 के दूसरे क्वार्टर में ये आंकड़ा 38.6 प्रतिशत था. बता दें कि हुवावे अपने यूजर्स पर काफी फोकस कर रहा है जहां वो अपने स्मार्टफोन में लगातार फोकस कर रहा है और जिससे कहीं न कहीं उसे फायदा भी हुआ है. हुवावे अपने स्मार्टफोन को पूरी दुनिया में 70 अलग- अलग मार्केट में भेज रहा है.

इस क्वार्टर में अगर पहले नंबर वाले स्मार्टफोन कंपनी की बात करें तो वो सैमसंग है जिसे 12.7 प्रतिशत का नुकसान हुआ है. वहीं एपल का प्रदर्शन साल 2018 के सेकेंड क्वार्टर में 0.9 प्रतिशत रहा. इस आंकड़े की वजह से एपल का ग्रोथ इस क्वार्टर में काफी धीमा रहा जिससे उसके पायदान पर असर पड़ा है. गार्टनर के रिसर्च डायरेक्ट का मानना है कि इसकी एपल के गिरते आंकड़े की वजह से आईफोन X की डिमांड अब लोगों में कम होने लगी है.

उन्होंने आगे कहा कि चीनी कंपनियों से एपल को काफी ज्यादा टक्कर मिल रही है जहां एपल पर अपनी टेक्नॉलजी में बड़ा बदलाव करने के लिए दबाव बनता जा रहा है.

धीमे ग्लोबल स्मार्टफोन मार्केट में शाओमी अपने ऑफलाइन और ऑनलाइन रिटेल ग्रोथ पर ज्यादा फोकस कर रहा है जिससे उसको साल 2018 के सेकेंड क्वार्टर में चौथा पायदान हासिल हुआ है. वहीं अगर स्मार्टफोन ऑपरेटिंग सिस्टम मार्केट की बात करें तो गूगल के एंड्रॉयड ने एपल आईओएस को सेकेंड क्वार्टर में पीछे छोड दिया है. एंड्रॉयड ने जहां 88 प्रतिशत मार्केट शेयर पर कब्जा किया है तो वहीं आईओएस का कब्जा सिर्फ 11.9 प्रतिशत के मार्केट शेयर पर है

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