
गौरतलब है कि केजरीवाल ने अपने खिलाफ निचली अदालत में कार्यवाही की प्रक्रिया रोकने के लिए याचिका दायर की थी। वित्त मंत्री अरुण जेटली ने उनके खिलाफ आपराधिक अवमानना याचिका दायर की है। इसी पर सुनवाई रुकवाने के लिए केजरीवाल सुप्रीम कोर्ट गए थे।
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सोमवार को इस केस की सुनवाई के दौरान जस्टिस पी सी घोष और जस्टिस यू यू ललित को केजरीवाल के वकील ने सूचना दी कि उनकी ओर से राम जेठमलानी पैरवी करेंगे। वह सोमवार को उपलब्ध नहीं थे, लिहाजा सुनवाई टाल दी गई।
दिल्ली हाई कोर्ट ने 19 अक्टूबर को केजरीवाल की याचिका यह कह कर खारिज कर दी थी कि निचली अदालत में आपराधिक अवमानना और हाई कोर्ट में सिविल अवमानना का मामला एक साथ चल सकता है। यह कानून के मुताबिक है।
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