प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इलाहाबाद हाईकोर्ट के 150 साल समारोह में पहली बार यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ का नाम पुकारा. दरअसल पीएम स्पीच दे रहे थे. उस दौरान वे न्याय व्यवस्था में तकनीकी को बढ़ावा देने की बात कर रहे थे. इसी पर उन्होंने कहा- क्यों न वीडिया कॉन्फ्रेंसिंग से सुनवाई हो. जेल से कैदियों को कोर्ट में लाना, मार्ग में क्या-क्या होता है सब जानते हैं. योगी जी आएं हैं तो शायद वो बंद होगा. कोर्ट और जेल को जोड़ा जाए, तो कैदी नहीं भाग पाएंगे. योगी आएं है तो अब अपराधियों का भागना कम होगा. मोदी का इतना कहना था कि समारोह में बैठे सभी लोग हंसने लगे, तालियां बजाने लगे.
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‘कानून से बड़ा कोई नहीं’
वहीं इस मौके पर सीएम योगी ने कहा कि कानून से बड़ा कोई नहीं होता है. उन्होंने कहा-कानून का स्थान शासकों से ऊपर होता है. कानून शासकों का शासक है. वादियों को निष्पक्ष न्याय देना सरकार का कर्तव्य है. कानून से ही समाज चलता है. न्याय और विधि एक-दूसरे के पूरक हैं. न्याय व्यवस्था देश और समय के साथ बदलती रही है. सीएम योगी ने कहा कि इलाहाबाद हाई कोर्टदेश का सबसे बड़ा हाई कोर्ट है. इलाहाबाद हाई कोर्ट ने कई ऐतिहासिक फैसले दिए हैं
संगम नगरी में पीएम मोदी और सीएम योगी एक साथ एक मंच पर मौजूद रहे. शपथग्रहण के बाद सीएम योगी पहली बार पीएम मोदी के साथ किसी सार्वजनिक मंच पर थे. इस मौके पर पीएम मोदी ने कहा कि सालभर चला ये समारोह समापन के साथ नई ऊर्जा, नई प्रेरणा, नए संकल्प और नए भारत के सपने को पूरा करने ताकत बन सकता है. पीएम ने कहा कि न्याय व्यवस्था में तकनीक का उपयोग हो.
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