पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI म्यांमार में भी आतंकवादी संगठनों को प्रशिक्षण दे रही है. उसका उद्देश्य बॉर्डर पार आतंकवाद को बढ़ावा देकर भारत को दूसरी दिशा में उलझाने का प्रयास हो रहा है. ब्रसेल्स में दक्षिण एशिया डेमोक्रेटिक फोरम के रिसर्च डायरेक्टर डॉ. सीगफ्राइड ओ वुल्फ का कहना है कि जमात उल मुजाहिदीन बांग्लादेश (JMB) द्वारा 40 रोहिंग्याओं को आतंकी ट्रेनिंग देने में ISI का हाथ हो सकता है. वह आतंकवाद को पनाह और धन देकर अफगानिस्तान व भारत जैसे देशों में हमले कराकर क्षेत्रीय अस्थिरता पैदा करना चाहता है. 
JMB ने 2016 में ढाका के एक कॉफी शॉप में हमला कर 22 लोगों को मार डाला था. इनमें अधिकांश विदेशी थे. इस आतंकी संगठन की हरकतों के कारण म्यांमार की सीमा से सटे बांग्लादेश के कॉक्स बाजार में रोहिंग्या शरणार्थी शिविर आतंकी संगठनों के निशाने पर आ चुके हैं. बांग्लादेश के सुरक्षा विशेषज्ञ अब्दुल राशिद बताते हैं कि बीते कुछ वक़्त में चरमपंथी रोहिंग्याओं ने कुछ प्रयास किए थे. किन्तु, बांग्लादेश ने उन्हें आतंकी गतिविधियों को अंजाम देने से रोक दिया था.
उन्होंने कहा कि पाकिस्तान आतंकी संगठनों की सहायता कर भारत को अस्थिर करने का प्रयास कर सकता है. राशिद ने ये भी कहा कि ऐसे मामलों में बांग्लादेश भारत की सहायता करता आया है, ताकि उत्तर-पूर्व भारत में होने वाले षड्यंत्रों को रोका जा सके. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान आतंकी समूहों की सहयता कर भारत को अस्थिर करने के नापाक मंसूबे पाल रहा है.
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