“एक देश एक कर” यानी जीएसटी 1 जुलाई से देश भर (जम्मू-कश्मीर को छोड़कर) में लागू हो चुका है। गुड्स एंड सर्विस टैक्स के लागू होने के एक महीने बाद ही मोदी सरकार इसमें बड़ा बदलाव करने जा रहे हैं। गौरतलब है कि GST के तहत टैक्स के चार स्लैब हैं। जिसमें 0 फीसदी, 12 फीसदी, 18 फीसदी और 28 फीसदी के जरिए वस्तुओं और सेवाओं पर कर लगता है। लेकिन जल्द ही GST से 12 और 18 फीसदी के दो स्लैब को हटा दिये जाएंगे।
GST में खत्म होंगे 12 और 18 प्रतिशत के टैक्स स्लैब
1 जुलाई से वस्तु एवं सेवा कर लागू करने के बाद केंद्र सरकार आम आदमी को राहत दे सकती है। जीएसटी के मामले पर सरकार को व्यापारियों के साथ ही विपक्ष के विरोध के कारण इसमें कुछ बदलाव किये जा सकते हैं। GST के तहत आने वाले समय में 12 फीसदी और 18 फीसदी वाले टैक्स स्लैब को खत्म किया जा सकता है।
12 फीसदी और 18 फीसदी वाले टैक्स स्लैब को खत्म करने के बाद इन दोनों की जगह एक नया टैक्स स्लैब लागू हो सकता है। केंद्रीय वित्तमंत्री अरुण जेटली ने बुधवार को इस बात का संकेत दिया कि ये बदलाव जल्द किये जा सकते हैं। वित्तमंत्री ने पहले भी कहा था कि जैसे-जैसे GST आगे बढ़ेगा वैसे-वैसे इसके टैक्स स्लैब पर विचार किया जाएगा।
जम्मू कश्मीर में भी लागू होगा GST
केन्द्र सरकार जम्मू कश्मीर राज्य को भी जीएसटी के दायरे में ला सकती है। अरूण जेटली ने बुधवार को कहा कि जम्मू कश्मीर में जीएसटी लागू करने से आर्थिक एकीकरण में सुधार होगा। उन्होंने कहा कि कांग्रेस जैसे राष्ट्रीय दल को जम्मू कश्मीर के विशेष दर्जे जैसे विषय में नहीं उलझाना चाहिए।
जेटली ने कहा कि इससे राष्ट्रीय एकीकरण की कल्पना पूरी हो रही है। जहां तक जम्मू-कश्मीर के विशेष दर्जे को प्रभावित करने के सवाल है, तो इसपर मैं ये कहना चाहूंगा कि वहां भी यह विषय उठाया गया था। विशेष दर्जा का मुद्दा राज्य की आर्थिक प्रगति और विकास के मार्ग में बाधा नहीं बनना चाहिए।