बारिश से क्षतिग्रस्त केदारनाथ पैदल रास्ते में फंसे श्रद्धालुओं को निकालने के लिए जारी बचाव अभियान में शुक्रवार को वायुसेना के चिनूक और एमआई17 हेलीकॉप्टर भी शामिल हो गए। यहां राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र से मिली जानकारी के अनुसार, गुरुवार सुबह से शुरू हुए बचाव अभियानों में केदारनाथ मार्ग से अब तक दस हजार से ज्यादा श्रद्धालुओं को निकालकर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा चुका है।
इनमें से करीब डेढ़ हजार लोगों को हेलीकॉप्टर के जरिए निकाला गया जबकि अन्य को राज्य आपदा प्रतिवादन बल (एसडीआरएफ) और राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) सहित अन्य एजेंसियों ने वैकल्पिक रास्तों से सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया। आपातकालीन केंद्र ने बताया कि शुक्रवार को 723 लोगों को हैलीकॉप्टर के जरिए निकाला गया जबकि 4255 अन्य को वैकल्पिक रास्तों से सुरक्षित स्थानों तक पहुंचाया गया।
हालांकि, दोपहर करीब पौने तीन बजे केदारनाथ में मौसम खराब होने के कारण हेलीकॉप्टर से चल रहा बचाव अभियान बंद करना पड़ा। केंद्र के अनुसार, केदारनाथ के विभिन्न पड़ावों-केदारनाथ, भीमबली और गौरीकुंड में अब भी 1200 से 1350 श्रद्धालु फंसे हुए हैं।
रुद्रप्रयाग जिला पूर्ति अधिकारी केएस कोहली ने बताया कि गुरुवार से ही विभिन्न पड़ावों में फंसे श्रद्धालुओं के लिए खाद्य पैकेट, पेयजल तथा अन्य जरूरी सामान उपलब्ध कराया जा रहा है। उन्होंने बताया कि शुक्रवार तक लगभग 18000 खाद्य पैकेट और करीब 35 हजार पानी की बोतलें उपलब्ध करवाई जा चुकी हैं।
इससे पहले, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि भारी बारिश से काफी नुकसान हुआ है लेकिन पूरी सरकारी मशीनरी, एसडीआरएफ, एनडीआरएफ, जिला प्रशासन और प्रदेश का आपदा प्रबंधन विभाग बचाव कार्यों में जुटा है। उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री कार्यालय को किए गए मेरे अनुरोध पर भारतीय वायुसेना के चिनूक और एमआई 17 हेलीकॉप्टर भी बचाव अभियान में शामिल हो गए हैं।”