उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी के संरक्षक मुलायम सिंह ने मैनपुरी लोकसभा सीट से अगला चुनाव लड़ने का ऐलान किया है. 2014 के लोकसभा चुनाव में मुलायम ने आजमगढ़ और मैनपुरी दोनों सीटों से चुनाव लड़ा था लेकिन जीत दर्ज करने के बाद उन्होंने मैनपुरी की सीट छोड़ दी थी.एक बार फिर 2019 चुनाव के लिए मोदी सरकार लेगी अटल नाम का सहारा….
अपनों के बीच वर्चस्व की जंग
मैनपुरी से सीट छोड़ने के बाद उनके भतीजे तेज प्रताप यादव ने इसी सीट से जीत दर्ज की थी जबकि मुलायम अभी आजमगढ़ से लोकसभा सांसद हैं. इस बार के चुनाव में एक बार फिर मुलायम सिंह यादव अपने इलाके में अपना राजनीतिक वर्चस्व बढ़ाना चाहते हैं. यही वजह है कि रविवार को उन्होंने ऐलान कर दिया कि वह अगला चुनाव मैनपुरी से ही लड़ेंगे.
जीत के बाद छोड़ी सीट
पिता पुत्र के खट्टे मीठे-रिश्तों के बीच मुलायम सिंह यादव को यह लगा कि वह शायद मैनपुरी सीट छोड़कर इलाके के अपने खास लोगों और अपनों के से किनारे होते जा रहे हैं. पार्टी में भी अधिकार छीने जाने के बाद मुलायम सिंह का सीट का दावा ठोकना यह दिखाता है कि मुलायम सिंह के लिए पार्टी में सब कुछ पहले जैसा नहीं रहा है. बता दें कि मैनपुरी यादव परिवार का पड़ोसी जिलाहै और मुलायम सिंह का पैतृक गांव सैफई इसी लोकसभा क्षेत्र में आता है. मुलायम के फैसले से साफ है कि वह फिर से अपने घर लौटकर अपनों के बीच पकड़ मजबूत करने का इरादा रखते हैं.
राजनीति के मास्टर हैं मुलायम
मुलायम सिंह पहली बार 1996 में मैनपुरी से लोकसभा चुनाव जीते थे. तब से लेकर अबतक मुलायम सिंह अलग-अलग सीटों से 6 बार लोकसभा सांसद रह चुके हैं. इससे पहले देश की राजनीति में अपना लोहा मनवा चुके मुलायम आठ पर विधायक भी रह चुके हैं. साल 1996-98 में वह देश के रक्षा मंत्री भी रह चुके हैं.