अफगानिस्तान में आतंकियों की घुसपैठ रोकने का हवाला देते हुए चीन ने एक तर्क दिया है कि वह अफगानिस्तान में अपना एक सैन्य अड्डा बनाना चाहता है. चीन ने नया पैतरा अपनाते हुए चीन-अफगानिस्तान के सुदूर वाखान कॉरिडोर में अपना एक सैन्य अड्डा बनाने की पेशकश की है. चीन ने इस बारे में कहा कि वह चाहता है कि अफगानिस्तान को जल्द से जल्द आतंकवाद मुक्त बनाया जाए और घुसपैठ करने वाले आतंकियों को रोका जाए.
वहीँ एक विदेशी मीडिया के हवाले से एक खबर सामने आई है जिसमे बीते कुछ महीनो से इसी इलाके में चीन और अफगानिस्तान के सैनिक संयुक्त रूप से निगरानी करते हुए देखे गए हैं. वहीँ इस मामले में अफगान के रक्षा मंत्रालय के उप-प्रवक्ता मुहम्मद रादमनेश का कहना है कि दोनों देशों के अधिकारियों के बीच इस मसले को लेकर पिछले साल के आखिर से ही चर्चा चल रही है लेकिन अभी तक कोई परिणाम सामने नहीं आया है.
गौरतलब है कि अफगानिस्तान का चीन की सीमा के समीप वाला वाखान कॉरिडोर बंजर है और यहाँ अफगान नागरिको की संख्या ना के बराबर है और इस इलाके का प्रयोग आतंकी घुसपैठ के लिए करते हैं. वहीँ चीन का कहना है कि इस इलाके से होकर ही आतंकी शिनजियांग प्रांत में हमलों को अंजाम देते हैं. बता दें कि हाल ही कुछ समय से अफगानिस्तान से सटे तुर्किस्तान में इस्लामिक मूवमेंट बढ़ी है और चीन को इस बात का डर है कि इराक और सीरिया से खदेड़े जाने वाले IS के आतंकी इस जमीन का उपयोग उसके खिलाफ कर सकते हैं, और चीन में घुसपैठ भी कर सकते हैं.
वहीँ इस मामले में अफगान स्थित चीनी दूतावास के अधिकारी ने जानकारी देते हुए बताया कि चीन इस इलाके में केवल अपनी क्षमता को बढ़ाना चाहता है और आतंकियों की घुसपैठ को रोकना चाहता है. लेकिन यहाँ सैन्य अड्डा बनाने की बात पर अभी तक चीन की तरफ से कोई भी प्रतिक्रिया नहीं मिली है.
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