
पाकिस्तानी मीडिया के अनुसार उन्होंने कराची एयरपोर्ट पर एक बयान दिया था और इस पर आयोग लंबे समय से नाराज चल रहा था। सूत्रों के मुताबिक अदालत ने यह आदेश पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी के संस्थापक सदस्य और बागी नेता अकबर एस बाबर की याचिका पर दिया।
दरअसल, मामले में पहले भी सुनवाई हो चुकी है जब इमरान के वकील ने उनका बचाव करते हुए कहा कि सुनवाई के दौरान वे पाकिस्तान में नहीं थे, वह देश से बाहर थे। वकील ने कहा कि इमरान कोर्ट का सम्मान करते हैं और जब भी उन्हें बुलाया जायेगा वह हाजिर हो जाएंगे।
पहले हुई सुनवाई के दौरान विपक्षी वकील ने कहा कि इमरान ने आयोग के आदेश का उल्लंघन किया। अगर उनमें आयोग के प्रति सम्मान होता तो वह उपस्थित होते। उन्होंने आयोग से नियमित कार्यवाही को आगे बढ़ाने का आग्रह किया।
आपको बता दें कि इमरान खान ने चुनाव आयोग के अवमानना नोटिस को चुनौती थी जिसके बाद आयोग ने स्पष्ट किया था कि उसे कानूनी नोटिस भेजने का अधिकार है। आयोग ने पिछली नोटिस का जवाब नहीं देने पर इमरान को दूसरी बार कारण बताओ नोटिस जारी किया था।
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