झारखंड का सियासी ड्रामा अब रांची से निकलकर छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में प्रवेश कर चुका है। टूट के डर से कांग्रेस नीत गठबंधन UPA के 32 विधायकों को रायपुर के एक आलिशान रिजॉर्ट में शिफ्ट कर दिया गया है। UPA विधायकों को चार्टर्ड प्लेन से रायपुर ले जाया गया और यहां 3 बसों से उन्हें मेफेयर रिजॉर्ट में ठहराया गया है। हालांकि, सीएम हेमंत सोरेन सहित कई MLA अभी भी रांची में ही मौजूद हैं।
मीडिया रिपोर्ट्स में सूत्रों के हवाले से जानकारी दी गई है कि झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के 15 और कांग्रेस के 17 विधायकों को रायपुर के रिसोर्ट में छिपाया गया है। विधायकों को जिस रिजॉर्ट में ठहराया गया है, वो रायपुर से 10 किमी दूर है। रिजॉर्ट के बाहर बेहद कड़ी सुरक्षा रखी गई है। किसी को भी अंदर आने की अनुमति नहीं है। छत्तीसगढ़ कांग्रेस के नेता रामगोपाल अग्रवाल और गिरिश देवांगन भी झारखंड के विधायकों की निगरानी कर रहे थे। झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) का कहना है कि महाराष्ट्र की तरह ही यहां भी भाजपा विधायकों को तोड़ने का प्रयास कर सकती है। हालाँकि, महाराष्ट्र में शिवसेना के अंदर बगावत हुई थी, लेकिन कांग्रेस को फिर भी डर है।
बता दें कि रायपुर में अमूमन अन्य राज्यों के विधायकों की रिजॉर्ट पॉलिटिक्स होती रही है। ये तीसरी बार है जब दूसरे राज्य के MLA रायपुर के किसी रिजॉर्ट में छिपाए गए हैं। इस बार जिस मेफेयर रिजॉर्ट में विधायकों को रखा गया है, वो स्वामी विवेकानंद हवाई अड्डे से 10 किमी, मेन मार्केट से 15 किमी और रेलवे स्टेशन से 25 किमी की दूरी पर स्थित है। ये रिजॉर्ट काफी लग्जीरियस है। हालाँकि, ये भी एक बड़ा सवाल है कि, इन विधायकों को लग्जीरियस रिसोर्ट में रुकवाने का और वहां उनके ऐशो-आराम का पैसा क्या झारखंड के सरकारी ख़ज़ाने से जाएगा ? जो पहले ही वहां की जनता के लिए पूरा नहीं पड़ रहा है।