झारखंड के युवा विकेटकीपर बल्लेबाज इशान किशन ने 18 साल की उम्र में जो कारनामा कर दिखाया है वह काम झारखंड की ओर से खेलते हुए टीम इंडिया के सीमित ओवरों के कप्तान महेंद्र सिंह धोनी भी कभी नहीं कर पाए।
सोमवार को झारखंड ने रणजी ट्रॉफी के क्वार्टर फाइनल में हरियाणा को हराकर पहली बार सेमीफाइनल में अपनी जगह पक्की की। झारखंड की इस जीत में भारत के अंडर 19 टीम के कप्तान रह चुके इशान किशन ने मुख्य भूमिका अदा की। इशान किशन ने हरियाणा के खिलाफ बडौदा में खेले गए क्वार्टरफाइनल मुकाबले की चौथी पारी में जीत के लिए जरूरी 176 रन 30.2 ओवर में ही बना डाले। प्रारंभिक बल्लेबाज ने इस पूरे सीजन जिस धमाकेदार अंदाज में बल्लेबाजी की उसी तरह उन्होंने 117 गेंद में 86 रन बनाए। अपनी इस पारी में इशान ने 9 चौके और 6 छक्के जड़े।
ये हैं साल 2016 की दस सबसे बड़ी वनडे पारियां
टॉस जीतकर हरियाणा ने पहले बल्लेबाजी का फैसला करते हुए पहली पारी में 258 रन बनाए। झारखंड की ओर से स्पिनर शहबाज नदीम ने शानदार गेंदबाजी करते हुए 79 रन पर 7 विकेट हासिल किए। इसके बाद बल्लेबाजी के लिए उतरी झारखंड ने विराट सिंह के शानदार शतक(107) और इशांक जग्गी की 77 रन की पारियों की बदौलत 345 रन बनाए। इस तरह झारखंड को पहली पारी में 87 रन की बढ़त हासिल हो गई। इसके बाद हरियाणा की टीम ने दूसरी पारी में 262 रन बनाकर झारखंड के सामने चौथी पारी में जीत के लिए 176 रनों का लक्ष्य रखा जिसे झारखंड ने इशान की शानदार पारी की बदौलत हासिल कर लिया।
किताब में खुलासाः बेटी नहीं बेटा चाहतीं थीं गीता की मां