पाकिस्तान के खस्ताहाल से हर कोई वाकिफ है। हालत यहां तक पहुंच गई है कि वित्तीय संकट से जूझ रहे पाक की सरकार ने अब अपनी सारी सरकार कंपनियों को बेचने का फैसला किया है।
उधर, पीओके के लोग भी सरकार का विरोध करने सड़कों पर हैं। इस बीच एक पाकिस्तानी सांसद ने ही अपने देश को आईना दिखाने का काम किया है।
पाक सांसद ने खोली अपने देश की पोल
दरअसल, पाकिस्तान नेशनल असेंबली के सदस्य सैयद मुस्तफा कमाल ने भारत के चंद्रमा लैंडिंग मिशन का जिक्र करते हुए भारत की उपलब्धियों और कराची के खस्ता हालात के बीच तुलना की है।
भारत चांद पर, हमारे बच्चे गटर में …
मुत्ताहिदा कौमी मूवमेंट पाकिस्तान (एमक्यूएम-पी) नेता सैयद ने नेशनल असेंबली में दिए एक भाषण में कहा कि जहां भारत चांद पर उतर रहा है, वहीं कराची खुले गटर में गिरकर बच्चों के मारे जाने की खबर बना रहा है।
असेंबली में भाषण देते हुए पाक सांसद ने आगे कहा,
आज कराची में हालत ये है कि जहां दुनिया चांद पर जा रही है, वहीं कराची में बच्चे गटर में गिरकर मर रहे हैं। उसी स्क्रीन पर खबर आ रही है कि भारत चांद पर उतरा है और ठीक दो सेकेंड बाद खबर यह है कि कराची में खुले गटर में एक बच्चे की मौत हो गई।
कराची को साफ पानी तक नसीब नहीं
सांसद सैयद मुस्तफा ने कराची में ताजे पानी की कमी का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि कराची में 70 लाख और पाकिस्तान में 2.6 करोड़ से अधिक बच्चे हैं, जो स्कूल नहीं जा पा रहे हैं। सैयद ने कहा कि वैसे तो कराची पाकिस्तान का राजस्व इंजन है, लेकिन अब उसे साफ पानी तक नसीब नहीं है।
पाक सांसद ने आगे कहा कि अपनी स्थापना के बाद से पाकिस्तान में दो बंदरगाह चालू हैं और दोनों कराची में हैं। कराची पूरे पाकिस्तान, मध्य एशिया से लेकर अफगानिस्तान तक का प्रवेश द्वार हैं। 15 वर्षों से कराची को थोड़ा सा भी ताजा पानी नहीं मिल रहा है, यहां तक कि जो पानी आता है उसे भी टैंकर माफिया जमा कर लेते है और बेचने लगते हैं।
वहीं, दूसरी ओर पिछले साल अगस्त में भारत का चंद्रयान-3 लैंडर चंद्रमा की सतह पर सुरक्षित रूप से पहुंचने वाला देश का पहला अंतरिक्ष यान बन गया। भारत चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर उतरने वाला दुनिया का पहला देश भी बन गया।
लगातार बिगड़ रहे पाकिस्तान के आर्थिक हालात
बता दें कि पाकिस्तान के आर्थिक हालात लगातार बिगड़ते जा रहे हैं और महंगाई और बढ़ते कर्ज के चलते सरकार को देश चलाना तक मुश्किल हो रहा है। पाक सरकार एक बार फिर से आईएमएफ से कर्ज की मांग कर रही है।