इकनॉमिक टाइम्स ने इस बारे में युवा वर्ग से बात करते हुए उनकी बजट के बारे में राय जानी थी। युवाओं का कहना है कि अबकी बार का बजट युवा वर्ग को ध्यान में रखकर पेश करना चाहिए।
एजुकेशन फीस में कमी और गैजेट सस्ता होने से गरीब छात्रों को भी आगे बढ़ने का मौका मिलेगा। देश में युवाओं की तादाद सबसे ज्यादा है । देश की 47.8 फीसदी आबादी 29 साल से नीचे है।
पूरे विश्व में अगले तीन सालों में 20 फीसदी भारतीयों के पास काम होगा। इसलिए युवाओं का मानना है कि सरकार को अपने रिसोर्सेस के जरिए ज्यादा नौकरियां निकालनी चाहिए ताकि युवा वर्ग को ज्यादा से ज्यादा उत्पादन लिया जा सके।
बजट 2017: वरिष्ठ महिलाओं को उम्मीद, बढ़ेगी पेंशन
डिजिटल इंडिया के सपने को किया जा सकता है साकार
पीएम नरेंद्र मोदी द्वारा नोटबंदी की घोषणा किए जाने के बाद वो इसको कैशलेस और डिजिटल बनाने की मुहिम में जुड़े हैं। इसके लिए जरूरी है कि वो स्मार्टफोन की कीमतों में कमी करें, ताकि इस मुहिम को आगे तक ले जाया जाए। इसके साथ ही इंटरनेट की स्पीड को बढ़ाया जाए और इसके उपयोग पर लगने वाले चार्जेस में कमी की जाए।