बेली फैट को दूर करने के लिए आपको डाइट में कुछ माइक्रो-न्यूट्रिएंट्स को जरूर शामिल करना चाहिए

पेट के इर्द-गिर्द जमी चर्बी को दूर करने के लिए सबसे पहले इसके कारणों को जानना बहुत जरूरी है। ज्यादातर लोग बेली फैट को कम तो करना चाहते हैं, लेकिन इसके लिए सही तरीके को फॉलो नहीं करते हैं। जब तक आप बेली फैट के सही कारणों को नहीं समझ पाएंगे, इसे दूर करने के लिए सही डाइट फॉलो नहीं कर पाएंगे। बेली फैट की सबसे बड़ी वजह इंसुलिन रेजिस्टेंस है।  इंसुलिन रेजिस्टेंस की वजह से पेट के आस-पास चर्बी जमना, गर्दन और बगल पर डार्क पिगमेंटेशन और स्किन टैग्स जैसी समस्याएं हो सकती हैं। बेली फैट को दूर करने के लिए सबसे पहले इंसुलिन सेंसिटिविटी को बढ़ना जरूरी है। इसके लिए आपको अपनी डाइट में बदलाव करना होगा। इन माइक्रो-न्यूट्रिएंट्स को डाइट में शामिल कर आप इंसुलिन सेंसिटिविटी को बढ़ा सकती है और बेली फैट को कम कर सकती हैं। इस बारे में डाइटीशियन मनप्रीत जानकारी दे रही हैं।

विटामिन डी

इंसुलिन सेंसिटिविटी को सुधारने के लिए विटामिन डी बहुत जरूरी है। अक्सर लोगों को लगता है कि विटामिन डी सिर्फ हड्डियों को मजबूत बनाता है लेकिन ऐसा नहीं है। यह शरीर को अन्य लाभ भी पहुंचाता है। विटामिन डी, इंसुलिन रेजिस्टेंस को कम करता है। इंसुलिन को रेगुलेट करने में यह मदद करता है। शरीर में विटामिन डी की कमी पूरी करने के लिए रोज सुबह 9-11 के बीच में 10-15 मिनट सूरज की रोशनी लें।

विटामिन बी12

  शरीर में विटामिन बी 12 की कमी कई परेशानियां पैदा कर सकती है। इसमें से एक इंसुलिन रेजिस्टेंस भी है। विटामिन बी 12 ब्लड शुगर लेवल को रेगुलेट करने में अहम भूमिका निभाता है। इसकी कमी को दूर करने के लिए डाइट में दूध, दही और पनीर को शामिल करें।

विटामिन ई

विटामिन ई, स्ट्रेस और इंफ्लेमेशन को कम कर इंसुलिन सेंसिटिविटी को सुधारता है। जब हम तनाव में होते हैं, तो इसका सीधा अगर भी शरीर में इंसुलिन सेंसिटिविटी पर पड़ता है। शरीर में विटामिन ई को संतुलित रखने के लिए आपको सूरजमुखी के बीज, बादाम और मूंगफली खाने चाहिए।

क्रोमियम

क्रोमियम इंसुलिन एक्शन को रेगुलेट करता है और ग्लूकोज मेटाबॉलिज्म को बढ़ाता है। शरीर में क्रोमियम माइक्रो-न्यूट्रिएंट की कमी होने पर भी इंसुलिन सेंसिटिविटी पर इसका असर पड़ता है। डाइट में हरी पत्तेदार सब्जियां और ब्रोकली को शामिल करें।

मैग्नीशियम

मैग्नीशियम, ग्लूकोज मेटाबॉलिज्म (मेटाबॉलिज्म बूस्ट करने वाले फूड्स) को सुधारता है और इंसुलिन लेवल को स्थिर करने में मदद करता है। शरीर में मैग्नीशियम लेवल को सुधारने के लिए आपको हरी पत्तेदार सब्जियां, काजू और केले को डाइट में शामिल करना चाहिए। अगर आपको स्वास्थ्य से जुड़ी कोई समस्या है, तो हमें आर्टिकल के नीचे दिए गए कमेंट बॉक्स में बताएं। हम अपने आर्टिकल्स के जरिए आपकी समस्या को हल करने की कोशिश करेंगे। अगर आपको यह स्टोरी अच्छी लगी है, तो इसे शेयर जरूर करें। ऐसी ही अन्य स्टोरी पढ़ने के लिए जुड़ी रहें हरजिंदगी से।  
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