वित्त वर्ष 2018-19 ने लिए आम बजट 1 फरवरी 2018 को पेश किया जाएगा। इसके लिए 29 जनवरी से ही बजट सत्र की शुरुआत हो जाएगी, जो कि दो चरणों में चलेगा। पहला चरण 29 जनवरी से 9 फरवरी तक चलेगा और दूसरा चरण 5 मार्च से 6 अप्रैल 2018 तक चलेगा। यह जानकारी संसदीय कार्य मंत्री अनंत कुमार ने दी है। इकोनॉमिक सर्वे 29 जनवरी को पेश किया जाएगा। आपको बता दें कि नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली एनडीए सरकार का यह आखिरी पूर्णकालिक बजट होगा।
बजट से उम्मीदें: कॉरपोरेट टैक्स घटाने का रोडमैप बने:
अर्थव्यवस्था को सुस्ती से उबारने के लिए अगर सरकार से सार्वजनिक खर्च के स्तर को बनाए रखने की उम्मीद की जा रही है तो उद्योग जगत आगामी बजट में कॉरपोरेट टैक्स घटाने का रोडमैप मिलने के इंतजार में है। उद्योग संगठनों का मानना है कि आगामी बजट में सरकार को कॉरपोरेट टैक्स में कम से कम दो फीसद की कमी करके इस रास्ते पर आगे बढ़ना चाहिए।
वित्त मंत्री अरुण जेटली के साथ बजट पूर्व हुई बैठक में भी उद्योग संगठनों ने इसका प्रस्ताव रखा है। वित्त मंत्री ने 2015-16 का बजट पेश करते हुए कॉरपोरेट टैक्स की दर को 30 फीसद से घटाकर फीसद पर लाने का एलान किया था। यह काम चार वर्ष में किया जाना था। हालांकि इसके तहत उद्योगों को मिल रही सभी तरह की टैक्स रियायतों को समाप्त करने का प्रावधान भी था। इस दिशा में सरकार कुछ आगे बढ़ी और वित्त विधेयक में कई रियायतों और छूटों को समाप्त कर केवल घरेलू कंपनियों के लिए कॉरपोरेट टैक्स की दर को 29 फीसद पर ला दिया गया। यह लाभ भी उन्हीं कंपनियों को मिला जिनका रेवेन्यू साल 2014-15 में पांच करोड़ रुपये तक था।