जनधन खातों में काला धन जमा करने का सच सामने आने लगा है। अब तक की जांच में आयकर विभाग को देहरादून में एक खाता ऐसा भी मिला, जिसमें नोटबंदी के बाद 60 लाख रुपये जमा किए गए। वहीं, एक अन्य खाते में 20 लाख रुपये जमा हुए। इसके अलावा बड़ी संख्या में जनधन खातों में पांच लाख से अधिक की रकम इस दौरान जमा की गई। ऐसे सभी खातों की जांच आयकर विभाग ने शुरू कर दी है और खाताधारकों को नोटिस भेजने भी शुरू किए जा चुके हैं।

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आयकर विभाग की ओर से बैंकों को भेजे गए नोटिस के बाद ज्यादातार बैंकों ने नोटबंदी के बाद जमा राशि की जानकारी देनी शुरू कर दी है। हालांकि, सर्वाधिक खाता संख्या वाले एसबीआइ (भारतीय स्टेट बैंक) के खातों की जानकारी अभी नहीं मिल पाई है। वहीं, दूसरे नंबर के बड़े बैंक पीएनबी (पंजाब नेशनल बैंक) की कुछ शाखाओं की ही जानकारी अभी आयकर विभाग को मिली है।
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जनधन खातों से इतर बड़ी संख्या में अन्य खातों में भी असामान्य जमा राशि का पता आयकर विभाग को चला है। इसी कड़ी में करीब आधा दर्जन ज्वेलर्स के खाते भी आयकर के रडार पर हैं। इनमें नोटबंदी के बाद डेढ़ से दो करोड़ रुपये जमा किए गए। कुछ ऋण खातों में 20 से 25 लाख रुपये की जमा राशि को भी जांच के दायरे में लिया गया है।
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