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वैज्ञानिक अशोक माथुर की मानें तो हिमालय क्षेत्र में नेपाल, जम्मू कश्मीर, उत्तर पूर्वी भारत, हिमाचल प्रदेश, पाकिस्तान और अफगानिस्तान में बड़े भूकम्प आ चुके हैं। लेकिन उत्तराखंड में सैकड़ों साल से कोई बड़ा भूकंप नहीं आया है, जिससे यहां कभी भी 7 मैग्निट्यूड जैसे बड़े भूकम्प आने की आशंका बनी रहती है। लिहाजा अगर ऐसा भूकंप यहां आता है तो तबाही कितनी भयावह होगी, इसका अंदाजा लगाना भी मुश्किल है।
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दरअसल, उत्तराखंड हमेशा से ही भूकंप की दृष्टि से अधिक संवेदनशील रहा है, चारो तरफ पहाड़ और नेपाल, हिमाचल से घिरा हुआ उत्तराखंड न जाने कितनी बार आपदा से खडं खडं हो चुका है। पहले भी वैज्ञानिक यहां भूकंप आने की चेतावनी दे चुके हैं।
लेकिन ये कब होगा इस पर अभी तक सब दबी जुबान से बात करते रहे हैं, लेकिन सालों के अपने रिसर्च के बाद आईआईटी जैसे बड़े संस्थान के वैज्ञानिकों की चेतावनी ने पूरे उत्तराखंड के लोगों की चिंता बढ़ा दी है, अशोक माथुर खुल कर कहते हैं कि जल्द उत्तराखंड में भूकंप दस्तक दे सकता है और इसकी तीव्रता 7 मैग्निट्यूड होगी। अगर एसा हुआ तो उत्तराखंड में कितनी बड़ी तबाही आएगी, इसका अंदाजा लगाना भी मुश्किल है।
उत्तराखंड नहीं है किसी भी तरह से तैयार अशोक माथुर का कहना है कि हम जानते हैं कि इंडियन प्लेट हर साल दो इंच यूरेशियन प्लेट की तरफ बढ़ती है, जिससे दोनों प्लेट्स में टकराव होता है और भूकंप आने का कारण बनता है। उन्होंने कहा कि अगर 7 मैग्निट्यूड जैसा बड़ा भूकम्प उत्तराखंड में आता है, तो उसके लिए हम बिलकुल भी तैयार नहीं है।
जिस कारण उत्तराखंड में तो भयंकर विनाश होगा ही साथ में पश्चिमी उत्तर प्रदेश का इलाका भी बहुत प्राभावित होगा। आपको याद होगा कि उत्तराखंड से सटे नेपाल में अभी हाल में भूकंप आया था, जिसमें सैकड़ों लोग मारे गए थे। हालांकि उस समय भूकंप के झटके उत्तराखंड में भी महसूस किए गए थे, लेकिन उस वक्त नुकसान नहीं हुआ था।
हिंदुस्तान में कई जगह हाल ही में कई भूकंप आए हैं। इसके अलावा जापान म्यांमार में भी भूकंप आए हैं। वैज्ञानिक के अनुसार हिमालय में टेक्टानिक प्लेट्स स्थिर न होने के कारण धरती में हलचल बनी रहती है। हाल में हिन्दुकुश में आए भूकंप पर वैज्ञानिक नजर पहले से ही बनाए हुए हैं।
वैज्ञानिक मानते हैं कि इस बात की संभावना ज्यादा है कि आगे ऐसे भूकंप के साथ-साथ बड़े भूकंप को भी धरती सीने में दबाए हुए है। वैज्ञानिक मानते है की हिन्दूकुश में पहले भी इस तरह के भूकंप आये हैं। जिसका लगभग 100 साल का डाटा मौजूद है और 67 साल से कोई बड़ा भूकंप नहीं आया है। जिसके कारण बड़े भूकंप की संभावना बरकरार है।
उत्तराखंड में बने बांध सबसे बड़ा खतरा उत्तराखंड में अगर भूकंप आता है तो यहां सबसे बड़ा खतरा कोई और नहीं, बल्कि यहां की नदियों पर बने बड़े-बड़े बांध ही होंगे, टिहरी सहित सैकड़ों बांध अपने पीछे पानी का भारी दबाव रोके हुए हैं और अगर भूकंप के दौरान इन बांधों को कुछ होता है तो निचले हालात बहुत खतरनाक होंगे इस बात की संभावना से भी इनकार नहीं किया जा सकता है। साथ ही आपदा के बाद उत्तराखंड के पहाड़ भी कच्चे हो चले हैं। जिसके बाद लगातार भूस्खलन की घटनाएं भी बढ़ी है।