लखनऊ विधानसभा में विस्फोटक पदार्थ मिलने के बाद एहतियात के तौर दिल्ली स्थित लोकसभा व राज्यसभा की भी विशेष सुरक्षा जांच की जा रही है। इसके लिए 22 लोगों की कमिटी गठित की गई है जो दोनों सदनों में सीटों के नीचे की भी जांच कर रहे हैं।बड़ी खुशखबरी: हो जाइये तैयार, क्योंकि बंपर भर्ती की तैयारी में रेलवे, एक लाख से ज्यादा पदों पर भर्ती
क्या है लखनऊ विधानसभा में विस्फोटक मिलने का मामला
बता दें कि यूपी विधानसभा की सुरक्षा में भारी चूक सामने आई है। बुधवार को यहां मानसून सत्र के दौरान 60 ग्राम संदिग्ध पाउडर मिला। एफएसएल टीम ने जांच के बाद इसके विस्फोटक होने की पुष्टि की है। शुरुआती जांच में इस विस्फोटक के पीईटीएन होने की बात सामने आ रही है हालांकि कैबिनेट मंत्री सिद्धार्थ सिंह का कहना है कि पीईटीएन की पुष्टि नहीं हुई है, एटीएस की रिपोर्ट का इंतजार कर लें। वहीं मुख्यमंत्री ने भी विधानसभा सत्र के दौरान कहा कि ये शक्तिशाली विस्फोटक पीईटीएन था।
बता दें की पीईटीएन काफी शक्तिशाली विस्फोटक होता है। इसका प्रयोग आतंकवादी ट्रेन में धमाके के लिए करते हैं। 2011 में दिल्ली हाईकोर्ट के बाहर हुए धमाके में पीईटीएन का इस्तेमाल किया गया था।
गौरतलब है कि विधानसभा में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था होने के साथ मेटल डिटेक्टर भी लगे रहते हैं। ऐसे में विस्फोटक वहां पहुंचना सुरक्षा व्यवस्था में बड़ी चूक का नतीजा है। ये विस्फोटक नीले रंग की पॉलीथिन में रखा था।
इस मामले की जांच एटीएस को सौंप दी गई है। बता दें कि 15 अगस्त को विधानसभा को उड़ाने की धमकी देने वाले एक संदिग्ध फरहान अहमद को देवरिया पुलिस ने गुरुवार को गिरफ्तार किया है।
वहीं, विधानसभा की सुरक्षा में हुई चूक पर सीएम योगी आदित्यनाथ ने एक उच्चस्तरीय बैठक बुलाई है। वहीं मंत्री सिद्धार्थ सिंह ने कहा कि डरने की जरूरत नहीं है। विधानसभा की सुरक्षा पुख्ता है। सीएम ने सुरक्षा को लेकर रूटीन रिव्यू मीटिंग बुलाई है।