परिषदीय स्कूलों की सहायक अध्यापक भर्ती की लिखित परीक्षा में उत्तर पुस्तिका बदलने का सनसनीखेज राजफाश हुआ है। महिला अभ्यर्थी की असली कॉपी अभी नहीं मिल सकी है लेकिन, उसे भर्ती की काउंसिलिंग में शामिल करने के निर्देश जरूर दिए गए हैं। प्रथम दृष्ट्या इसमें बार कोड की खामी सामने आ रही है। संबंधित एजेंसी मंगलवार से सभी उत्तर पुस्तिकाओं व बार कोड का मिलान करेगी। 
मूल्यांकन पर उठते रहे सवाल
शिक्षक भर्ती की लिखित परीक्षा का रिजल्ट आने के बाद भी विवाद कम रह रहकर सामने आ रहे हैं। कुछ दिन पहले तक अभ्यर्थी मूल्यांकन पर सवाल उठाते रहे हैं, उनका आरोप है कि सही जवाब देने के बाद भी उन्हें कम अंक मिले हैं। इस मामले की जांच शुरू हो चुकी है और जिन अभ्यर्थियों ने स्कैन कॉपी मांगी है, वह भी डाक से एक माह में भेजी जाएगी। जिस सोनिका देवी की कॉपी बदलने का मामला सामने आया है, उसने भी कुछ दिन पहले ही परीक्षा नियामक प्राधिकारी कार्यालय से स्कैन कॉपी हासिल की थी और उसे हाईकोर्ट में चुनौती दी। कहा जा रहा है कि उत्तर पुस्तिका गलत बार कोड डालने से बदल गई।
परिणाम को लेकर संशय
परीक्षाओं की शुचिता में यह घटना बेहद गंभीर है। इसमें भले ही मानवीय भूल हुई है लेकिन, अन्य अभ्यर्थियों के मन में परिणाम को लेकर संशय हुआ है। अब तक सोनिका की असली कॉपी का पता नहीं चल सका है। यह भी तय है कि असली कॉपी सामने आने पर जिस अभ्यर्थी को उसका लाभ मिला होगा, वह भी प्रभावित होगा। बार कोड की संबंधित एजेंसी नए सिरे से जांच करने जा रही है इसमें यह तय होगा कि ऐसी गलती और किसी के साथ तो नहीं हुई है। साथ ही संबंधित एजेंसी पर अब कार्रवाई होना भी तय है।
मंगलवार को बनेगी जांच टीम
उत्तर पुस्तिका बदलने के मामले में मंगलवार को जांच टीम का भी गठन किया जाएगा, इसमें परीक्षा नियामक प्राधिकारी कार्यालय के अलावा दूसरे संस्थानों के शिक्षा अधिकारी शामिल होंगे। यह टीम दोषियों को चिन्हित करेगी।
दो वर्ष में सामने आया दूसरा मामला
भर्ती की कॉपी बदलने का यह दूसरा प्रकरण महज दो साल में सामने आया है। इसके पहले उप्र लोकसेवा आयोग की पीसीएस 2015 की मुख्य परीक्षा में सुहासिनी बाजपेयी की कॉपी बदल गई थी। संयोग से उसमें भी बार कोड की गलती ही सामने आई थी।
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