महाराष्ट्र के उस्मानाबाद में शिव सेना सांसद रवींद्र गायकवाड़ के हमशक्ल के बाद शिव सेना के एक विधायक का डुप्लीकेट मामला सामने आया है. आरोप है कि किसानों का हाल जानने के लिए विधायक की जगह उनके हमशक्ल को भेजा गया, जिससे इलाके के किसान खुद को ठगा महसूस कर रहे हैं.
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बीजेपी पर कर्ज माफी का दबाव बनाना चाहती है शिवसेना
शिवसेना बीजेपी पर किसानों का कर्ज माफ करने के लिए दबाव बनाना चाहती है. इसलिए शिवसेना पिछले कुछ समय से सत्ता में रहने के बावजूद सरकार के खिलाफ जंग का ऐलान कर चुकी है. इसी सिलसिले में शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने कुछ दिनों पहले मराठवाड़ा से शिवसंपर्क अभियान की शुरुआत की थी.
विधायक के हमशक्ल ने की किसानों से मुलाकात
मराठवाड़ा के सभी विधानसभा क्षेत्र में इसके लिए एक विधायक और मुंबई के पार्षद का चयन कर उन्हें किसानों से बातचीत कर उनकी समस्या जानने की जिम्मेदारी दी गई थी, लेकिन पुणे के पिंपरी विधानसभा क्षेत्र के विधायक गौतम चाबुकस्वार खुद उस्मानाबाद नहीं पहुंचे, बल्कि उनकी जगह विधायक का हमशक्ल किसानों से मिलने जा पहुंचा.
पूर्व पार्षद को बता दिया विधायक
विधायक चबुकस्वार के उस्मानाबाद नहीं आने के कारण पूर्व विधायक और युवा सेना के महाराष्ट्र प्रदेश सचिव ओम राजे निम्बालकर ने पूर्व पार्षद यशोधर फणसे को ही विधायक बताकर किसानों के सामने पेश किया. जब किसानों को इस बात का पता चला तब से वे खुद को ठगा महसूस कर रहे हैं.
शिवसेना सांसद रवींद्र गायकवाड़ का भी है हमशक्ल
मार्च महीने की 23 तारीख को उस्मानाबाद के शिवसेना सांसद रवींद्र गायकवाड़ एअर इंडिया कर्मचारियों के साथ झगड़े से विवादों में आए थे. बाद में उन्होंने अपने डुप्लीकेट विधायक को पेश कर जनता को बेवकूफ बनाया था.
शिवसेना के खिलाफ विरोधियों को मिला मौका
इस बार शिव सेना के स्थानीय नेता ने डुप्लीकेट विधायक के सहारे किसानों का हाल जानने का प्रयास किया है. इससे शिव सेना ही मुश्किल में आ गई है और बीजपी के साथ-साथ विरोधियों को शिवसेना पर निशाना साधने का मौका मिल गया है.
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