उत्तराखंड में वनाग्नि का दुष्प्रभाव लोगों के जीवन पर भारी पड़ता जा रहा है। आवाजाही प्रभावित हो रही है। आग के चलते पहाड़ों में हवाई सेवा पर भी असर पड़ा है। हल्द्वानी से दो दिन बाद सोमवार को चंपावत और पिथौरागढ़ के लिए हेली सेवा शुरू हो पाई। सीमांत धारचूला के लिए सोमवार को भी हेलीकॉप्टर ने उड़ान नहीं भरी।
हल्द्वानी के उप जिलाधिकारी परितोष वर्मा के अनुसार, वनों में आग के चलते पहाड़ों में काफी धुआं छाया हुआ है। इससे विजिविलिटी पर असर पड़ा है। इसके चलते हल्द्वानी से चंपावत, पिथौरागढ़ और धारचूला के लिए संचालित होने वाली हवाई सेवा दो दिन ठप रही। उन्होंने कहा कि सोमवार से पिथौरागढ़ और चंपावत के लिए हेली सेवा पुन: शुरू हो गई है लेकिन धारचूला के लिये हवाई सेवा अभी शुरू नहीं हो पाई है। इससे चंपावत और पिथौरागढ़ के लोगों ने राहत की सांस ली।
वहीं दूसरी ओर पिथौरागढ़ के गुंजी में कुछ लोग हवाई सेवा के विरोध पर उतारू हैं। इन लोगों का मानना है कि हवाई सेवा शुरू होने से उच्च हिमालयी क्षेत्र में लोगों के रोजगार पर असर पड़ा है। हवाई सेवा के विरोध में गुंजी में विरोध प्रदर्शन किया गया।