लखनऊ: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के आलमबाग इलाके में रविवार की देर रात स्कूटी से घर लौट रहे कारोबारी करन गुप्ता को गोली मार दी गयी। मौके पर पहुंची पुलिस करन को इलाज के लिए ट्रामा सेंटर लेकर पहुंची, जहां डाक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। इस मामले में परिवार वालों ने एक दुकनदार पर हत्या का शक खिलाफ हत्या की रिपोर्ट दर्ज करायी है।
पारा के विक्रमनगर निवासी 24 वर्षीय करन गुप्ता उर्फ राजन अपने परिवार के साथ रहते थे। वह नाका के गैलेक्सी होटल में आरके इंटरप्राइजेज नाम से मोबाइल का शोरूम है। बताया जाता है कि रोज की तरह रविवार की रात करीब 11 बजे करन अपनी दुकान बंद करके स्कूटी से घर लौट रहे थे। वह आलमबाग कोतवाली के पीछे से होकर जब रेलवे के कैरिज वैगन वर्कशाप के पास पहुंचे तभी कुछ लोगों ने करन को गोली मार दी।
गोली लगते ही करन स्कूटी सहित सड़क पर गिर पड़े। सुनसान जगह होने की वजह से किसी को घटना का पता ही नहीं चल सका। वहीं वारदात को अंजाम देने के बाद हमलावर बड़ी आराम से फरार हो गये। घटना के कुछ देर के बाद जब राहगीर उधर से गुजरे तो लोगों ने करन गुप्ता को घायल अवस्था में पड़ा देखा और सूचना पुलिस कंट्रोल रूम को दी।
सूचना मिलते ही मौके पर डायल 100 की एक गाड़ी पहुंच गयी। पुलिस कर्मियों ने फौरन घायल करन को इलाज के लिए ट्रामा सेंटर में भर्ती कराया, जहां डाक्टरों ने करन को मृत घोषित कर दिया। सूचना मिलते ही पुलिस के अधिकारी और परिवार के लोग मौके पर पहुंच गये। दुकानदार करन के परिवार में पिता रवि कुमार, मां आशा गुप्ता, भाई अर्जुन, सागर और आदित्य हैं।
नौकरों से दुकान वापस आने की बात कहकर निकला था
दुकानदार करन की दुकान पर करेहटा निवासी मोनू और कल्लू बतौर कर्मचारी काम करते हैं। बताया जाता है कि करन ही दोनों को रात में घर छोडऩे भी जाता था। रविवार की रात करीब साढ़े दस बजे करन ने अपनी दुकान बंद की। इसके बाद उसने कर्मचारी मोनू और कल्लू से आधे घण्टे के अंदर वापस आने की बात कही और स्कूटी लेकर चला गया। इसके बाद वह वापस नहीं लौटा।
पहले पुलिस मान रही थी एक्सीडेंट
एसपी पूर्वी सर्वेश कुमार मिश्र ने बताया कि सबसे पहले पुलिस को सड़क हादसे में करन के घायल होने की सूचना मिली थी। सूचना पर डायल 100 की गाड़ी मौके पर पहुंची थी और घायल करन को इलाज के लिए ट्रामा सेंटर में भर्ती कराया गया, जहां डाक्टरों ने इस बात की पुष्टिï की कि करन को गोली मारी गयी है। गोली उसके सीने पर लगी थी। गोली की बात सुनते ही पुलिस वालों के होश उड़ गये। आनन-फानन में इस घटना की जानकारी आलाधिकारियों को दी गयी। पुलिस ने जब करन को अस्पताल में भर्ती कराया था, तब तक उसकी पहचान नहीं हो सकी थी। मौके से मिले मोबाइल फोन व अन्य सामान की मदद से करन की पुलिस ने पहचान की और खबर उसके परिवार वालों को दी।
एक दुकानदार पर लगा हत्या का आरोप, रिपोर्ट
एसपी पूर्वी सर्वेश कुमार मिश्र ने बताया कि करन की हत्या के मामले में परिवार वालों ने एक मोबाइल दुकानदार रामचंद्र पर शक जताया है। रामचंद्र की बुद्घेश्वर इलाके में मोबाइल की दुकान है। परिवार वालों का आरोप है कि करन और रामचंद्र के बीच रुपये की लेनदेन का कुछ विवाद था। फिलहाल परिवार वालों को इस बारे में नहीं पता कि कितने रुपये की लेनदेन दोनों के बीच में थी। पुलिस को अपनी छानबीन में इस बात का पता चला है कि दुकानदार करन बीसी के धंधे से भी जुड़े थे। कुछ माह पहले उसका जानने वाला एक व्यक्ति बीसी के 20 लाख रुपये लेकर गायब हो गया था। इस पर करन ने काफी लोगों से उधार भी लिया था और उसपर रुपये की वापसी का दवाब बढ़ता जा रहा था।
सर्विलांस की मदद ले रही है पुलिस
कारोबारी करन गुप्ता की हत्या के मामले में छानबीन कर रही आलमबाग पुलिस करन गुप्ता के अलावा नामजद किये गये दुकानदार ज्ञान चंद्र के मोबाइल फोन का विवरण खंगाल रही है। वहीं पुलिस घटनास्थल के पास लगे मोबाइल टावर की मदद से घटना के वक्त एक्टिव मोबाइल नम्बरों की भी सूची तैयार करने में लगी है।
सीसीटीवी कैमरे भी खंगालने में पुलिस जुटी
एसपी पूर्वी सर्वेश कुमार मिश्र ने बताया कि करन की दुकान नाका से लेकर आलमबाग कोतवाली के पीछे तक कई जगहों पर सीसीटीवी कैमरे लगे हैं। उन्होंने बताया कि इस बात की भी संभावना है कि हमलावर करन का पीछा उसकी दुकान से कर रहे होंगे। अगर ऐसा हुआ तो कहीं न कहीं उनकी फुटेज पुलिस को मिल सकती है। वहीं दूसरी तरह इस बात की भी आशंका है कि शायद हत्यारों को करन के घर जाने के रास्ते के बारे में पहले से पता था, इसलिए उन लोगों ने आलमबाग कोतवाली के पीछे का वह रास्ता चुना जहां सन्नाटा रहता है। अगर हमलावर पहले से ही वहां मौजूद थे तो उनकी फुटेज मिलना थोड़ा मुश्किल जरूर हो सकता है। बावजूद इसके पुलिस कैमरों को खंगालने में लगी है।