भारतीय महिला टीम ने वर्ल्ड कप के सेमीफाइनल में ऑस्ट्रेलिया को हराकर फाइनल में जगह बना ली है. भारतीय टीम अब 23 जुलाई को क्रिकेट के मक्का कहे जाने वाले लॉर्ड्स में मेजबान इंग्लैंड के खिलाफ फाइनल खेलेगी. ठीक 34 साल पहले भारतीय पुरुष टीम ने लॉर्ड्स में ही फाइनल खेला था और जीता भी था. एक बार फिर लॉर्ड्स में इतिहास रचने का मौका है.
जब लॉर्ड्स में फहराया था तिरंगा
34 साल पहले कपिल देव की अगुवाई में भारतीय टीम वर्ल्ड कप खेलने इंग्लैंड पहुंची थी तो कोई भी यह मानने को तैयार नहीं था कि ये टीम खिताब जीत पाएगी. लेकिन पूरे टूर्नामेंट टीम ने अच्छा प्रदर्शन किया और फाइनल में चैंपियन वेस्टइंडीज़ को मात दी. फाइनल में भारत ने 183 रन बनाए थे और वेस्टइंडीज की टीम मात्र 140 रन ही बना पाई थी. यह फाइनल 25 जून 1983 को खेला गया था.
भारत ने ऑस्ट्रेलिया को हराया
हरमनप्रीत कौर (नाबाद 171) की तूफानी पारी के दम पर भारत ने गुरुवार को आईसीसी महिला विश्व कप के दूसरे सेमीफाइनल मैच में मौजूदा विजेता ऑस्ट्रेलिया 36 रनों से हरा दिया. अब फाइनल में भारत का सामना रविवार को मेजबान इंग्लैंड से लॉर्ड्स मैदान पर होगा. भारत दूसरी बार विश्वकप के फाइनल में पहुंचा है. पहली बार उसने 2005 में विश्व कप के फाइनल में जगह बनाई थी, जहां ऑस्ट्रेलिया ने उसे खिताब जीतने से रोक दिया था.
आई कपिल देव की याद
वर्ल्ड कप नॉक आउट में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ हरमनप्रीत धमाके से ऐसा लगा कि 34 साल बाद कपिल देव की पारी फिर जिंदा हो उठी है. कपिल देव ने भी 1983 के वर्ल्ड कप में बड़े ही विपरीत हालात में 138 गेंदों में 175 रनों की नाबाद पारी खेली थी. और अब उसी इंग्लैंड में महिला वर्ल्ड कप के सेमीफाइनल में हरमनप्रीत ने 115 गेंदों में 171 रनों की अविजित पारी खेली. और टीम इंडिया की बल्लेबाजी का सारा बोझ खुद के कंधे पर उठा लिया.