कर्नाटक में जिस तरह सपा मुखिया अखिलेश यादव और बसपा सुप्रीमो मायावती गर्मजोशी से साथ-साथ नजर आए थे, उससे कैराना-नूरपुर उपचुनाव को लेकर काफी कुछ संभावनाएं जताई जा रही थीं।
उम्मीद जताई जा रही थी कि मायावती 28 मई को कैराना लोकसभा व नूरपुर विधानसभा उपचुनाव से पहले अपने समर्थकों को भाजपा विरोधी दलों के प्रत्याशियों के पक्ष में मतदान का एलान कर देंगी। लेकिन, मायावती ने पुराना स्टैंड कायम रखते हुए इस संबंध में कुछ नहीं कहा।
मायावती ने स्पष्ट किया है कि बसपा किसी भी राज्य में व किसी भी चुनाव में, किसी भी पार्टी के साथ केवल ‘सम्मानजनक’ सीटें मिलने की स्थिति में ही चुनावी गठबंधन करेगी अन्यथा अकेले ही चुनाव लड़ना ज्यादा बेहतर समझती है।
हालांकि, उन्होंने कहा कि यूपी सहित कई राज्यों में गठबंधन करके चुनाव लड़ने की बात चल रही है। मायावती ने देश भर के पदाधिकारियों को अपने-अपने प्रदेश में पार्टी संगठन को हर स्तर पर तैयार करने के निर्देश दिए हैं।