लखनऊ: योगी आदित्यनाथ सरकार में कैबिनेट मंत्री नंद गोपाल गुप्ता उर्फ नंदी पर ड्राइवर के साथ गाली-गलौज करने का गंभीर आरोप लगा है। चालक के साथ मारपीट के बाद कर्मचारी संघ के लोगों ने मंत्री के घर के बाहर प्रदर्शन भी किया।
पीडि़त ड्राइवर का कहना है कि उसने आचार संहिता लगी होने की वजह से इलाहाबाद जाने से इंकार किया था। जिस पर मंत्री भड़क उठे और उन्होंने उसे पीटने की कोशिश की। उसने किसी तरह भागकर अपनी जान बचाई। ड्राइवर की सूचना पर पहुंचे मोटर चालक संघ के सदस्यों ने मंत्री के आवास का घेराव किया और नारेबाजी की। मौके पर पहुंची पुलिस ने नाराज ड्राइवरों को समझाबुझाकर वहां से हटा दिया।
मंत्री के पीआरओ ने ड्राइवर के आरोपों को सिरे से नकारते हुए ड्राइवर पर ही कई गंभीर आरोप लगाए हैं। राज्य संपत्ति विभाग में ड्राइवर के पद पर कार्यरत अर्जुन सिंह कुशवाहा वर्तमान में स्टांप, पंजीयन व नागरिक उड्डयन मंत्री नंदगोपाल गुप्ता की कार चलाता है। अर्जुन के मुताबिकए कल शाम वह मंत्री नंदी के छह कालिदास मार्ग स्थित आवास पर मौजूद था।
इसी दौरान मंत्री नंदी ने उसे इलाहाबाद चलने का हुक्म सुनाया। उसने फूलपुर लोकसभा चुनाव के चलते वहां आचार संहिता लगी होने का हवाला देते हुए इलाहाबाद जाने से इंकार कर दिया। अर्जुन ने बताया कि आचार संहिता की बात सुनते ही मंत्री नंदी भड़क उठे और उन्होंने गालियां देना शुरू कर दिया।
अर्जुन ने बताया कि मंत्री व उनके स्टाफ को अपनी ओर आता देख वह वहां से किसी तरह जान बचाकर भाग निकला और मोटर चालक संघ के अध्यक्ष घनश्याम शुक्ला को पूरी घटना की जानकारी दी। मोटर चालाक संघ के अध्यक्ष सतीश शर्मा ने बताया कि मामला सामने आने के बाद वे लोग मंत्री आवास पहुंचे लेकिन मंत्री के न होने की वजह से घेराव किया।
वहीं मंत्री नंदी ने आरोपों को बेबुनियाद बताते हुए कहा कि पिछले कई दिनों से अर्जुन पर अवैध वसूली की शिकायत मिल रही थी। जिसके बाद उन्होंने अपने निजी सचिव को निर्देश दिया कि अर्जुन को हटाने के लिए उच्च अधिकारीयों को पत्र लिखें।
साथ ही अवैध वसूली की जांच कर कार्रवाई के लिए भी लिखा था। अर्जुन को इस बात की भनक लग गई तो वह भड़क गया। यूनियनबाजी की धमकी देने लगा। उन्होंने कहा कि अर्जुन की शिकायत उसके विभाग से की गई है। मामले में अनियमितता की जांच के निर्देश भी दिए गए हैं।