डूसू चुनाव के लिए बुधवार को मतदान हो चुका है। इस दौरान छात्रों और चुनाव मैदान में उतरे छात्र संगठनों में गजब का उत्साह देखने को मिला। इस उत्साह में उम्मीदवारों ने जमकर नियमों की धज्जियां भी उड़ाई हैं। इसे लेकर अब दिल्ली हाई कोर्ट ने सख्त रुख अख्तियार कर लिया है। हाई कोर्ट ने चुनाव के दौरान सार्वजनिक संपत्ति को गंदा करने वालों के खिलाफ कार्रवाई करने का आदेश दिया है।
साथ ही हाई कोर्ट की मुख्य पीठ ने पुलिस, निगम और दिल्ली विश्वविद्यालय (डीयू) प्रबंधन से पूछा है कि प्रॉपर्टी को गंदा होने से बचाने के लिए क्या कदम उठाए गए? मुख्य न्यायमूर्ति राजेंद्र मेनन और न्यायमूर्ति वीके राव की पीठ ने पुलिस, निगम और डीयू प्रबंधन से कहा है कि वे अपनी रिपोर्ट दाखिल करें जिसमें बताएं कि किसने डिफेसमेंट ऑफ पब्लिक प्रॉपर्टी एक्ट के नियमों को तोड़ा है। हाई कोर्ट प्रशांत मनचंदा की याचिका पर सुनवाई कर रही है, जिसमें अदालत को बताया गया था कि डूसू चुनाव के दौरान उम्मीदवार विश्वविद्यालय की दीवारों को पोस्टर और बैनर लगाकर खराब कर देते हैं।
दिल्ली विश्वविद्यालय छात्र संघ (डूसू) चुनाव के लिए बुधवार को वोट डाले गए। विद्यार्थी मतदान करने को उत्साहित दिखाई दिए। इस दौरान छात्र संगठनों और उनके समर्थकों ने जमकर उम्मीदारों के पर्चे उड़ाए। दीवारों से लेेेेकर जगह-जगह पोस्टर चिपकाकर गंदगी फैलाई गई। इससे डीयू परिसर की सभी सड़कें पोस्टरों और पंफलेट से पट गईं। हाई कोर्ट समेत डीयू के छात्रों ने भी इस पर नाराजगी जताई है।