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RBI ने इस रेट में नहीं किया कोई बदलाव, जानिए आप पर कितना पड़ेगा असर #tosnews
भारतीय रिजर्व बैंक RBI की ओर से बुधवार सात अप्रैल को नई क्रेडिट पालिसी creadit policy की घोषणा की गई। RBI की ओर से बताया गया कि इस बार उन्होंने ब्याज दरों में कोई बड़ा या छोटा बदलाव नहीं किया है। यानी दर ज्यों की त्यों ही रहेगी। केंद्रीय बैंक की ओर से बताया गया है कि रेपो रेट repo rate 4 फीसद पर ही बना रहेगा। साथ ही रिवर्स रेपो रेट reverse repo rate 3.35 फीसद पर बनी रहेगी। RBI की मौद्रिक नीति समिति monetary policy commity की बैठक में यह निर्णय लिया गया। बैठक काफी लंबी चली। यह पांच अप्रैल 2021 को शुरू होकर सात अप्रैल तक चली। आपकों बता दें कि यह क्रेडिट पॉलिसी यानी नीति वित्त वर्ष 2021-22 की पहली पालिसी है। लेकिन कोरोना के बढ़ते मामलों और लॉकडाउन की संभावना के बीच बाजार की नजर RBI गर्वनर के इस बयान पर रहेगी। आइए जानते हैं क्या है रेपो रेट और इसमें बदलाव न होने से आप पर कितना असर पड़ेगा।
आरबीआइ मौद्रिक नीति RBI monetary policy डालती है असर #tosnews
मौद्रिक नीति monetary policy आपके जीवन पर कैसे असर डालती है इसे आप इस तरह से समझ सकते हैं। यह पॉलिसी के जरिए केंद्रीय बैंक बाजार में मुद्रा की आपूर्ति को काबू में रखता है। यह नीति रिजर्व बैंक के किसी अन्य बैंक को कर्ज देने की दर और बैंकों से पैसा वापस लेने की दर तय करता है। इस हिसाब से बैंक भी अपने यहां लोन की दरें और तमाम चीजें तय करती हैं। जिनका सीधे तौर पर आम ग्राहकों पर असर पड़ता है। यह नीति बैंक अपने केंद्रिय बोर्ड की सिफारिश के आधार पर तय करता है। और इस बोर्ड में काफी बड़े अर्थशास्त्री, उद्योगपति और नीति निर्माता शाामिल होते हैं।
रेपो रेट repo rate से जुड़ा है आम आदमी #tosnews
आपने सबसे ज्यादा शब्द रेपो रेट repo rate और रिवर्स रेट reverse repo rate सुना होगा। दरअसल, रेपो रेट repo rate ही वह ब्याज दर है जिस पर केंद्रीय बैंक देश के कामर्शियल बैंकों को लोन देता है। अगर रेपो रेट repo rate कम होगा तो बैंकों को RBI को कम ब्याज देना होगा। अगर RBI रेपो रेट repo rate बढ़ाएगा तो बैंकों के लिए कर्ज लेना महंगा होगा और इससे बैंक अपनी ओर से देने वाले होम, कार और पर्सनल लोन समेत अन्य लोन को महंगा कर देंगे। बैंक ब्याज दरें बढ़ाएंगे जिससे सीधा असर आम लोगों पर होगा। मौजूदा समय में RBI का रेपो रेट repo rate चार फीसद है, जिसे बदला नहीं गया है।
रिवर्स रेपो रेट reverse repo rate भी समझिए #tosnews
इसी तरह रिवर्स रेपो reverse repo rate भी है। जैसे हम अपनी रकम को बैंक में सुरक्षित रखते हैं उसी तरह जब बैंक अपने पास बची रकम को सुरक्षित रखने के लिए RBI के पास जाता है। इस रकम पर RBI बैंक को ब्याज देता है। जिस दर पर RBI बैंकों ब्याज देता है उसे ही रिवर्स रेपो रेट reverse repo rate कहते हैं। जैसे अन्य बैंक अपने ग्राहकों को तमाम बचत खातों पर देता है। और रिवर्स रेपो रेट reverse repo rate में बदलाव का असर कुछ इस तरह होता है कि जैसे ही नकदी की मांग बढ़ने और महंगाई बढ़ने का अंदेशा होता है तो RBI रिवर्स रेपो रेट reverse repo rate बढ़ा देता है। ताकि बैंक ज्यादा ब्याज पाने के लिए अपनी ज्यादा से ज्यादा रकम RBI के पास जमा कराएं। और बैंकों में बाजार में बांटने के लिए कम रकम बचें। अभी रिवर्स रेपो रेट 3.5 फीसद है। इसमें कोई बदलाव नहीं किया गया है। इसी दर पर RBI बैंकों को ब्याज देता है।
इस बार की मौद्रिक नीति 2021 की जरूरी बातें जाने #tosnews
भारतीय रिजर्व बैंक RBI की ओर से जो मौद्रिक नीति 2021 की घोषणा की गई है उसकी कुछ जरूरी बातें आपको जानना जरूरी है। एक तो ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया गया। दूसरा RBI ने अर्थव्यवस्था की रफ्तार और कोरोना के मामले बढ़ने की संभावना जताई है। रियल जीडीपी की अनुमानित बढ़ोतरी दर 10.5 फीसद है। रेपो रेट 4 फीसद और रिवर्स रेपो रेट 3.35 फीसद रहेगा। कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच भी आर्थिक गतिविधि सामान्य हो रही है। शहरी क्षेत्रों में मांग बढ़ी है।
—-GB Singh