यूक्रेन में रूस के ओर से जारी सैन्य कार्रवाई का पिछले दिनों जापान ने विरोध किया था। जिसके बाद अब मास्को ने जापानी दूतावास के आठ कर्मचारियों को निष्कासित करने का मन बनाया है। रूसी विदेश मंत्रालय के ओर से जारी एक बयान में कहा गया है कि जापानी दूतावास के निष्कासित किए गए कर्मचारियों को 10 मई तक रूस छोड़ने के निर्देश दिए गए हैं।
समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, बुधवार (27 अप्रैल) को मास्को स्थित जापानी दूतावास के प्रतिनिधि को विदेश मंत्रालय में तलब किया गया था। जहां उन्हें सूचित किया गया कि यूक्रेन में रूस की सैन्य कार्रवाई की शुरुआत से ही टोक्यो ने मास्को विरोधी रुख अपनाया है। जो कि खुले तौर पर लाभकारी सहयोग को नष्ट करते रूस के खिलाफ शत्रुतापूर्ण आचरण है। रूसी विदेश मंत्रालय ने बताया कि जापान के खिलाफ कार्रवाई पारस्परिकता के सिद्धांत पर आधारित है। पिछले दिनों जापान ने भी आठ रूसी राजनयिकों को निष्कासित किया था। जिसके पलट अब रूस ने यह कार्रवाई की है।
जापान के खिलाफ कार्रवाई को लकेर रूसी विदेश मंत्रालय ने अपने एक बयान में कहा कि, मास्को के इस कदम के लिए पूरी तरह से जापानी सरकार जिम्मेदार है। जापान ने रूस के साथ मैत्रीपूर्ण संबंध होने के बावजूद विरोधी खेमे का साथ दिया है। मंत्रालय ने कहा कि जापान ने खुले तौर पर यूक्रेन का साथ दिया। साथ ही उन्होंने कीव में शासन को राजनीतिक, आर्थिक और सैन्य सहायता प्रदान की।
मास्को स्थित जापानी दूतावास ने कहा कि टोक्यो जापानी राजनयिकों के निष्कासन के संबंध में रूस के बयानों से सहमत नहीं है। उन्होंने रूसी विदेश मंत्रालय में एक बैठक में इस फैसले का विरोध किया है।