सदी का आखिरी चंद्रग्रहण कल यानी की शुक्रवार 19 नवंबर को लगेगा। यह चंद्रग्रहण कई राशियों पर अच्छा तो कुछ पर थोड़ा बुरा असर पड़ने वाला है। बताया जा रहा है कि यह चंद्र ग्रहण कई मायनों मेंं काफी अच्छा माना जा रहा है। इस दिन कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा को लगेगा। इस दिन कार्तिक पूर्णिमा भी है। इसी के साथ ही कार्तिक महीना भी समाप्त हो रहा है। आइए इस बारे में और जानते हैं।
सबसे बड़ा चंद्र ग्रहण है
जानकारी के मुताबिक, यह चंद्र ग्रहण सदी का सबसे बड़ा चंद्र ग्रहण बताया जा रहा है। यह काफी खास है कई मायनों में। यह चंद्र ग्रहण 580 साल के बाद लगेगा और इसके बाद काफी सालों बाद लगेगा। यह चंद्र ग्रहण 580 साल सालों का सबसे लंबा आंशिक चंद्र ग्रहण कल होगा। ग्रहण लगने का समय तीन घंटे का रहेगा। भारत में यह ग्रहण दोपहर में साढ़े 12 के बाद से शुरू होकर शाम को सवा चार बजे तक लगेगा। इस दौरान भारत में शाम नहीं होगी इसलिए यह दिख पाना मुश्किल होगा।
किसी प्रकार की कोई रोक नहीं
अमूमन किसी भी प्रकार का ग्रहण होने पर भारत में काफी चीजें प्रतिबंधित की जाती हैं। मंदिर के कपाट बंद रहते हैं और खाने पीने की चीजें लोग नहीं खाते। इसके अलावा घर में बचे खाने में तुलसी की पत्ती रखते हैं। चंद्र ग्रहण के बाद लोग स्नान करते हैं भगवान का ध्यान करते हैं। लेकिन इस बार लगने वाला चंद्र ग्रहण ऐसा नहीं है। यह सूतक नहीं है। ज्योतिष शास्त्रों की मानें तो भारत में इसका प्रभाव नहीं पड़ेगा और सूतक नहीं लगेगा। सूतक काल पूर्ण चंद्र ग्रहण शुरू होने से नौ घंटे पहले ही लगता है लेकिन यह आंशिक है।
राशियों पर प्रभाव
इस बार चंद्र ग्रहण वृषभ राशि में लगेगा। इसका प्रभाव इस राशि के लोगों पर देखने को मिल सकेगा। साथ ही कृतिका नक्षत्र में भी यह ग्रहण लगेगा। ज्योतिषशास्त्र की मानें तो सूर्य का नक्षत्र कृत्तिका नक्षत्र को मानते हैं। कहा जा रहा है कि जिनका जन्म कृत्तिका नक्षत्र में जन्म हुआ है वह सावधानी बरतें। यह चंद्र ग्रहण काफी बड़ा होगा इसलिए इसे सदी का सबसे बड़ा माना जाता है। बारत समय के अनुसार देखें तो यह सुबह साढ़े 11 बजे शुरू होगा और समाप्त शाम को साढ़े 5 बजे खत्म होगा। कुल 5 घंटे 59 मिनट का होगा यह चंद्र ग्रहण। इसके अलावा मेष, वृषभ, सिंह राशि वालों को भी सेहत, आर्थिक और पारिवारिक कलह जैसी चीजों से बचना चाहिए।
GB Singh