नया साल दस्तक देने वाला है. नई ऊर्जा के साथ आप नए साल की शुरूआत करने की कोशिश करेंगे. कर्म के साथ भाग्य का भी साथ मिल जाए तो आपकी सफलता और खुशी के रास्ते में कोई बाधा नहीं आएगी. आइए जानते हैं कि घर में कौन सी 10 चीजें रखी जानी चाहिए जिनसे आपको तरक्की ही तरक्की मिलेगी. सबसे पहले आप अपने घर में एक धातु का कछुआ ले आइए. कुछ लोग मिट्टी तथा कुछ लोग लकड़ी का छोटा सा कछुआ लाकर घर में कहीं भी रख देते हैं जो सही नहीं है. अच्छी धातु का कछुआ बनवाएं. धातु चांदी पीतल कांसे की हो सकती है, हालांकि मिश्रित कछुए को उत्तर दिशा में रखना चाहिए.
ये चमकता-दमकता श्वेत मोती, ऐसे बदल देगा आपकी किस्मत….
आप अपने घर में कई तरह के पिरामिड जरूर रखिए. विशेषज्ञों के अनुसार, पिरामिड की आकृति उत्तर दक्षिम अक्ष पर रहने की वजह से यह ब्रह्माण्ड में व्याप्त ज्ञात व अज्ञात शक्तियों को स्वयं में समाहित कर अपने अंदर एक ऊर्जायुक्त वातावरण तैयार करने में सक्षम है जो जीवित या मृत, जड़ व चेतन सभी तरह की चोजीं को प्रभावित करता है. घरेलू पिरामिडों का शुभारंभ फ्रांसीसी वैज्ञानिक मॉसियर बॉक्सि के प्रयोग के साथ हुआ. माना जाता है कि पिरामिड के आकार में रखी वस्तुओं के गुमधर्म में बदलाव आ जाता है. अर्थात यदि किसी तरह के छोटे, बड़े, लकड़ी या मात्र कागज के पिरामिड में कोई खाद्य सामग्री रखी जाए तो उसके गुणों में बदलाव आ जाएगा तथा वह बहुुत देर तक सड़ने से बची रहेगी. इसी वजह से प्राचीन समय में लोग अपने परिजनों के शवों को पिरामिडों में रखते थे.
तोते का चित्र या मूर्तिवास्तुशास्त्र के अनुसार, उत्तर दिशा में तोते की तस्वीर को लगाने से पढ़ाई में बच्चों की रुचि बढ़ती है. साथ ही उनकी स्मरण क्षमता में भी इजाफा होता है. तोता प्रेम, वफादारी, लंबी आयु तथा सौभाग्य का प्रतीक होता है. तोता सौभाग्य का प्रतीक होता है. अगर आफ घर में बीमारी निराशा, दरिद्रता तथा सुखों का अभाव महसूस कर रहे हैं तो तोा घर में स्थापित करें. पति तथा पत्नी में प्रेम संबंध स्थापित करने के लिए भी फेंगशुई के अनुसार तोते के जोड़े को स्थापित किया जा सकता है. फेंगशुई के मुताबिक, तोता 5 त्तवों का संतुलन स्थापित करने में मददगार साबित होता है. तोते के रंग-बिरंगे पंख वास्तव में पृथ्वी, अग्नि, जल लकड़ी तथा धातु के प्रतीक हैं. अगर घर में इनमें से किसी भी त्तव की कमी है तो वह दूर हो जाती है.
मोरपंख को अत्यंत शुभ औऱ चमत्कारिक माना जाता है. मोरपंख को भाग्यवर्धक माना जाता है. यह भाग्य के मार्ग की सारी रुकावटें भी दूर कर देता है. लेकिन इस बात काध्यान रखें कि घर में मोरपंख का गुच्छा नहीं, बल्कि 1 से 3 ही मोरपंख रखना चाहिए.
गोमती चक्रयह एक पत्थर होता है जो दिखने में साधारण लगता है लेकिन चमत्कारिक होता है. इस पत्थर का नाम गोमती चक्र होता है.गोमती नदी में मिलने के कारण इसे गोमती चक्र कहते हैं.गोमती चक्र के घर में होने से व्यक्ति के ऊपर किसी भी प्रकार की शत्रु बाधा नहीं रहती है. इसको लकरा सिंदूर की डिब्बी में रखना चाहिए. 11 गोमती चक्र लेकर उसे पीले वस्त्रों में लपेटकर तिजोरी में रखने से बरकत बनी रहती है.
लघु नारियल-लाल कपड़े में इन लघु नारियलों को लपेटकर तिजोरी में रख दें व दीपावली के दूसरे दिन किसी नदी या तालाब में विसर्जित करने से लक्ष्मी लंबे समय तक आपके घर में निवास करती हैं. विसर्जित करने के बाद दूसरा नारियल तिजोरी में रख सकते हैं.हालांकि लघु नारियल के अन्य भी कई प्रयोग हैं. इसके घर में रखे होने से धन तथा समृद्धि बरकरार रहती है. इसके अलावा एकाक्षी नारियल को भी साक्षात लक्ष्मी का रूप माना जाता है. इसलिए सर्वप्रथम इसे घर में रखने से धन लआभ होता है. साथ ही कई प्रकार की समस्याएं खुद ही दूर हो जाती हैं.
ठोस चांदी का हाथीइसको घर में रखने का भी चमत्कारिक प्रभाव होता है. ज्योतिष के अनुसार राहु तथा केतु का बुरा प्रभाव नहीं रहता है ,साथ ही व्यक्ति के व्यापार तथा नौकरी में उन्नति होती रहती है. हाथी रखने से घर में शांति तथा सुख समृद्धि बनी रहती है. बहुत से लोग गणेशजी की मूर्ति रखते हैं तो उसका भी यही लाभ मिलता है. लेकिन मूर्ति ठोस चांदी की होनी चाहिए.
मोतीशंख-वैसे शंख तो सभी सभी के घर में होगा लेकिन दक्षिणवर्ती शंख तथा मोती का शंख का अलग ही महत्व है. मोतीशंख थोड़ा चमकीला होता है. इस शंख को विधि-विधान से पूजन कर यदि तिजोरी में रखा जाए तो घर कार्यस्थल, व्यापार स्थल, तथा भंडार में पैसा टिकने लगता है. आमदनी बढ़ने लगती है.
कमलगट्टे की माला-चंदन, तुलसी तथा कमलगट्टे तीनों में कमलगट्टे की माला घर में अवश्य रखना चाहिए. अर्थ बिना सब व्यर्थ है. माना जाता है कि कमलग्टे की माला से धन प्राप्ति के मार्ग भी खुल जाते हैं. दरअसल कमलगट्टे लक्ष्मी जी को प्रिय है तुलसी के बीज से या कमल के बीज से बनी माला से जप किया जाता है. इसे पूजाघर में रखना चाहिए. जब भी आप इस माला को फेरते हुए अपने इष्टदेव का 108 बार नाम जपे तो इससे घर तथा मन में सकारात्मक वातावरण और भावों का संचार होगा.
स्वास्तिक का चित्र घर में रखने से हर मनोकामना पूरी होती है. पुराणों में स्वास्तिक को लक्ष्मी और गणपति का प्रतीक माना गया है. स्वास्तिक संस्कृत के ‘सु’ और ‘अस्ति’ से मिलकर बना हुआ है, जिसका अर्थ होता है, ‘शुभ’. स्वास्तिक से परिवार, धन, स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं भी खत्म होती हैं.