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PSC भर्ती 2018 : फ्रेशर जल्द करें आवेदन, 34000 रु मिलेगी सैलरी

पंजाब पब्लिक सर्विस कमीशन (PPSC) में नौकरी के लिए आप आवेदन कर सकते है. आयोग ने सहायक कृषि अभियंता पद पर वैकेंसी निकाली है. उम्मीदवारों को इसके लिए 10300-34800 रु प्रति माह वेतन का भुगतान किया जाएगा. इच्छुक और पात्र उम्मीदवार Online/Offline मोड में आवेदन कर सकते है. पात्र उम्मीदवार अपना आवेदन PPSC में 06/07/2018 से पहले जमा कर सकते हैं. पूर्ण जानकारी आप नीचे विस्तार से जान सकते है. रिक्ति का नाम--- सहायक कृषि अभियंता शिक्षा की आवश्यकता--- B.Tech/B.E रिक्तियां---- 17पोस्ट वेतन रुपये---- 10300 - रुपये . 34800/- प्रति महीने अनुभव----- फ्रेशर नौकरी करने का स्थान---- पटियाला आवेदन करने की अंतिम तिथि--- 06/07/2018 चयन प्रक्रिया: इच्छुक और पात्र उम्मीदवार 06/07/2018 से पहले आवेदन कर सकते हैं। चयन या तो लिखित परीक्षा / कार्मिक साक्षात्कार / अन्य मोड के आधार पर पंजाब पब्लिक सर्विस कमीशन PPSC मानदंड या निर्णय द्वारा किया जाएगा। आवेदन कैसे करे? इच्छुक उम्मीदवार शैक्षिक योग्यता के सभी विवरणों के साथ अपने दस्तावेज प्रस्तुत कर सकते हैं साथ ही समर्थन दस्तावेज (प्रमाणित प्रतियां)। ईमेल आईडी, संपर्क नंबर और पूरा डाक पता आपके आवेदनों के साथ उल्लेख किया जाना चाहिए। योग्यता मानदंडों के आधार पर साक्षात्कार में भाग लेने के लिए लघु और सूचीबद्ध उम्मीदवारों को ईमेल और फोन के माध्यम से सूचित किया जाएगा और नियुक्ति विशुद्ध रूप से अस्थायी है। साक्षात्कार में भाग लेने के लिए या चयनित होने पर पोस्ट में शामिल होने के लिए कोई टीए / डीए भुगतान नहीं किया जाएगा।

पंजाब पब्लिक सर्विस कमीशन (PPSC) में नौकरी के लिए आप आवेदन कर सकते है. आयोग ने सहायक कृषि अभियंता पद पर वैकेंसी निकाली है. उम्मीदवारों को इसके लिए 10300-34800 रु प्रति माह वेतन का भुगतान किया जाएगा. इच्छुक और पात्र उम्मीदवार Online/Offline मोड में आवेदन कर सकते है. पात्र उम्मीदवार अपना …

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PSC भर्ती 2018 : आवेदन के लिए मात्र इतने दिन शेष, 2 लाख 87 हजार रु मिलेगा वेतन

GPSC 2018 में Online/Offline मोड में आवेदकों से आवेदन प्राप्त करने का प्रस्ताव है। पात्र उम्मीदवार अपना आवेदन GPSC में30/06/2018 से पहले जमा कर सकते हैं. नौकरी से जुड़ी पूर्ण जानकारी आप नीचे विस्तार से जान सकते हैं. रिक्ति का नाम: चिकित्सक शिक्षा की आवश्यकता: MBBS, MS/MD, DNB रिक्तियां: 06पोस्ट वेतन रुपये: 67700 - रुपये . 208700/- प्रति महीने अनुभव: फ्रेशर नौकरी करने का स्थान: गांधीनगर आवेदन करने की अंतिम तिथि: 30/06/2018 चयन प्रक्रिया: इच्छुक और पात्र उम्मीदवार 30/06/2018 से पहले आवेदन कर सकते हैं। चयन या तो लिखित परीक्षा / कार्मिक साक्षात्कार / अन्य मोड के आधार पर गुजरात पब्लिक सर्विस कमीशन GPSC मानदंड या निर्णय द्वारा किया जाएगा। आवेदन कैसे करे? इच्छुक उम्मीदवार शैक्षिक योग्यता के सभी विवरणों के साथ अपने दस्तावेज प्रस्तुत कर सकते हैं साथ ही समर्थन दस्तावेज (प्रमाणित प्रतियां)। ईमेल आईडी, संपर्क नंबर और पूरा डाक पता आपके आवेदनों के साथ उल्लेख किया जाना चाहिए। योग्यता मानदंडों के आधार पर साक्षात्कार में भाग लेने के लिए लघु और सूचीबद्ध उम्मीदवारों को ईमेल और फोन के माध्यम से सूचित किया जाएगा और नियुक्ति विशुद्ध रूप से अस्थायी है। साक्षात्कार में भाग लेने के लिए या चयनित होने पर पोस्ट में शामिल होने के लिए कोई टीए / डीए भुगतान नहीं किया जाएगा। नौकरी के लिए पता : Gujarat Public Service Commission, CHH Road, Sector 10A, Near CHH-3 Circle, Gandhinagar, Gujarat 382010 महत्वपूर्ण तिथियाँ: इस जॉब के लिए आवेदन करने की अंतिम तिथि: 30/06/2018

GPSC 2018 में Online/Offline मोड में आवेदकों से आवेदन प्राप्त करने का प्रस्ताव है। पात्र उम्मीदवार अपना आवेदन GPSC में30/06/2018 से पहले जमा कर सकते हैं. नौकरी से जुड़ी पूर्ण जानकारी आप नीचे विस्तार से जान सकते हैं. रिक्ति का नाम: चिकित्सक शिक्षा की आवश्यकता: MBBS, MS/MD, DNB रिक्तियां: 06पोस्ट वेतन …

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सुबह के ब्रेकफास्ट में बनाएं टेस्टी एगलेस बनाना ब्रेड

सुबह के ब्रेकफास्ट में बनाएं टेस्टी एगलेस बनाना ब्रेड

कुछ लोगों को सुबह के नाश्ते में चाय के साथ  सिंपल ब्रेड पर फ्रूट जैम लगाकर खाना पसंद होता है. पर अगर आप रोज एक तरह की ब्रेड खा खा कर बोर हो चुके हैं तो आज हम आपके लिए एगलेस बनाना ब्रेड की रेसिपी लेकर आए हैं. यह खाने …

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पढ़ें, क्यों संसद के एक हिस्से को महिलाओं के अंडरगार्मेंट्स से सजा दिया गया

ब्रिटेन में एक कानून लाया जा रहा है. कानून के तहत अगर किसी महिला के स्कर्ट के निचले हिस्स (अप-स्कर्ट) से बिना उसकी अनुमति के तस्वीर ली जाती है तो ऐसा करने वाले को दो साल की सज़ा दी जाएगी. इसी का विरोध कर रहे एक सांसद को खुद एक अनोखे विरोध का सामना करना पड़ा. बिल पर अड़ंगा लगाने का फैसले करने वाले सांसद से नाराज़ निचली सदन की कुछ कर्मचारियों ने अनूठा विरोध प्रदर्शन किया. उन्होंने सांसद के कार्यालय को महिलाओं के अंडरगार्मेंट्स से सजा दिया. कंजर्वेटिव पार्टी के सांसद क्रिस्टोफर चोप की इसके लिए भारी आलोचना हो रही है. प्रधानमंत्री टेरिजा मे ने भी उनकी आलोचना की है. आपको बता दें कि जब चोप संसद पहुंचे तब उन्होंने पाया कि उनके संसदीय कार्यालय के दरवाजे पर कई अंडरगार्मेंट्स टंगे हुए थे. इस सप्ताह के अंत में चोप के निर्वाचन क्षेत्र के कार्यालय को भी निशाना बनाया गया जहां तीन-तीन जोड़ी पैंट टंगे हुए थे और संदेश लिखा था, ‘‘मेरी मर्जी के बिना कोई भी मेरी पैंट की तस्वीर ना ले.’’ चोप ने मीडिया से कहा कि उन्हें गलत तरीके से निशाना बनाया जा रहा है क्योंकि उन्होंने नये कानून का समर्थन किया है. लेकिन वो इसपर ‘पर्याप्त बहस’ चाहते हैं.

ब्रिटेन में एक कानून लाया जा रहा है. कानून के तहत अगर किसी महिला के स्कर्ट के निचले हिस्स (अप-स्कर्ट) से बिना उसकी अनुमति के तस्वीर ली जाती है तो ऐसा करने वाले को दो साल की सज़ा दी जाएगी. इसी का विरोध कर रहे एक सांसद को खुद एक …

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अमेरिका: क्रूर कानून के तहत बच्चों को परिवार से अलग किए जाने पर छल्का मेलानिया का दर्द

अमेरिका की प्रथम महिला मेलानिया ट्रंप ने मेक्सिको सीमा से अवैध रूप से देश में प्रवेश करने वाले माता-पिता को उनके बच्चों से अलग करने वाली सरकार की नीति के खिलाफ आवाज उठाई है. मेलानिया की प्रवक्ता स्टेफनी ने कहा, "मेलानिया ट्रंप ने कहा कि वो बच्चों को अपने परिवारों से अलग होते देखना पसंद नहीं करती और उन्हें उम्मीद है कि सदन में दोनों पक्ष (डेमोक्रेट और रिपब्लिकन) एकजुट होकर इमिग्रेशन कानून में सुधार करेंगे." स्टेफनी ने कहा, "मेलानिया मानती हैं कि हमें ऐसा देश बनने की जरूरत है जो सभी कानूनों का पालन करे लेकिन साथ में एक ऐसा देश भी बनना होगा, जो दिल से काम करे." अमेरिकी मीडिया 'सीएनएन' के मुतबिक, अवैध रूप से सीमा पार करने की कोशिश करने के दौरान पकड़े जाने वाले हर वयस्क को फेडरल क्रिमिनल मामलों का सामना करना पड़ता है और इस नीति के तहत उन्हें बच्चों से अलग कर दिया जाता है. चूंकि सरकार आपराधिक न्याय प्रणाली के तहत माता-पिता पर मुकदमा चलाती है इसलिए बच्चों को उनसे अलग रखा जाता है. डिपार्टमेंट ऑफ होमलैंड सिक्योरिटी के अनुसार, 19 अप्रैल से 31 मई 2018 के बीच लगभग 2,000 बच्चों को उनके माता-पिता और अभिभावकों से दूर किया गया. राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इस स्थिति के लिए बार-बार डेमोक्रेट्स को जिम्मेदार ठहराया है. इस नीति की बड़े स्तर पर निंदा की जा रही है. इससे पहले पूर्व प्रथम महिला लॉरा बुश ने भी इसे अनैतिक बताया था. उन्होंने 'वॉशिंगटन पोस्ट' को लिखा, "जीरो टॉलरेंस नीति क्रूर और अनैतिक है और इसने मेरा दिल तोड़ दिया है."

अमेरिका की प्रथम महिला मेलानिया ट्रंप ने मेक्सिको सीमा से अवैध रूप से देश में प्रवेश करने वाले माता-पिता को उनके बच्चों से अलग करने वाली सरकार की नीति के खिलाफ आवाज उठाई है. मेलानिया की प्रवक्ता स्टेफनी ने कहा, “मेलानिया ट्रंप ने कहा कि वो बच्चों को अपने परिवारों …

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चीन दौरे पर पहुंचे नॉर्थ कोरियाई तानाशाह किम जोंग उन, सत्ता संभालने के बाद तीसरा दौरा

उत्तर कोरियाई तानाशाह किम जोंग उन अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से मिलने के बाद अब मंगलवार को चीन पहुंचे। किम दो दिन के दौरे पर बीजिंग पहुंचे हैं और 2011 में सत्ता संभालने के बाद यह उनका तीसरा चीन दौरा है। अपने इस दौरे पर वो राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मुलाकात करेंगे। इस दौरान दोनों के बीच कई अहम मुद्दों पर बात होगी। पिछले हफ्ते किम ने डोनाल्ड ट्रंप से मुलाकात की थी। ऐसी संभावना जताई जा रही है कि किम अमेरिकी राष्ट्रपति से हुई चर्चा के विषय में चिनफिंग को बताएंगे। बीजिंग एयरपोर्ट पर मंगलवार सुबह सुरक्षा व्‍यवस्‍था कड़ी कर दी गयी थी। साथ ही पैरामिलिट्री पुलिस ने वहां पत्रकारों को तस्‍वीरें लेने पर रोक लगा दिया। डियाओयूटाई स्‍टेट गेस्‍ट हाउस के करीब सड़क को भी मंगलवार सुबह से ही बंद कर दिया गया जहां आने वाले नेता से वरिष्‍ठ चीनी अधिकारियों की मुलाकात होनी थी। पुलिस की गाड़ियां समेत अन्‍य कारों का घेरा गेस्‍ट हाउस के चारों ओर तैनात किए गए जहां इस साल के शुरुआत में किम रुके थे। चीन की सरकारी न्यूज एजेंसी शिन्हुआ ने किम के दौरे की जानकारी उस वक्त दी, जब उनका विमान बीजिंग पहुंचने वाला था। शिन्हुआ के मुताबिक, 'किम जोंग उन 19 और 20 जून को बीजिंग दौरे पर रहेंगे।' किम मंगलवार सुबह हवाई जहाज से बीजिंग पहुंचे। यहां से कार से राष्ट्रपति भवन पहुंचे। उनकी कार को बाइक पर सवार सुरक्षाकर्मियों ने घेर रखा था। किम पहली बार मार्च में ट्रेन से चीन पहुंचे थे। उनका दूसरा दौरा मई की शुरुआत में हुआ था। मार्च में आए थे तो उनका दौरा काफी गोपनीय रखा गया था। यहां तक कि बीजिंग से उनके रवाना होने तक इसकी जानकारी नहीं दी गई थी। कोरियाई युद्ध के बाद से ही दक्षिण कोरिया में अमेरिका ने सैनिकों को तैनात कर दिया है। 1953 में खत्‍म हुए इस युद्ध में चीन ने उत्‍तर कोरिया का साथ दिया था।उत्तर कोरियाई तानाशाह किम जोंग उन अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से मिलने के बाद अब मंगलवार को चीन पहुंचे। किम दो दिन के दौरे पर बीजिंग पहुंचे हैं और 2011 में सत्ता संभालने के बाद यह उनका तीसरा चीन दौरा है। अपने इस दौरे पर वो राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मुलाकात करेंगे। इस दौरान दोनों के बीच कई अहम मुद्दों पर बात होगी। पिछले हफ्ते किम ने डोनाल्ड ट्रंप से मुलाकात की थी। ऐसी संभावना जताई जा रही है कि किम अमेरिकी राष्ट्रपति से हुई चर्चा के विषय में चिनफिंग को बताएंगे। बीजिंग एयरपोर्ट पर मंगलवार सुबह सुरक्षा व्‍यवस्‍था कड़ी कर दी गयी थी। साथ ही पैरामिलिट्री पुलिस ने वहां पत्रकारों को तस्‍वीरें लेने पर रोक लगा दिया। डियाओयूटाई स्‍टेट गेस्‍ट हाउस के करीब सड़क को भी मंगलवार सुबह से ही बंद कर दिया गया जहां आने वाले नेता से वरिष्‍ठ चीनी अधिकारियों की मुलाकात होनी थी। पुलिस की गाड़ियां समेत अन्‍य कारों का घेरा गेस्‍ट हाउस के चारों ओर तैनात किए गए जहां इस साल के शुरुआत में किम रुके थे। चीन की सरकारी न्यूज एजेंसी शिन्हुआ ने किम के दौरे की जानकारी उस वक्त दी, जब उनका विमान बीजिंग पहुंचने वाला था। शिन्हुआ के मुताबिक, 'किम जोंग उन 19 और 20 जून को बीजिंग दौरे पर रहेंगे।' किम मंगलवार सुबह हवाई जहाज से बीजिंग पहुंचे। यहां से कार से राष्ट्रपति भवन पहुंचे। उनकी कार को बाइक पर सवार सुरक्षाकर्मियों ने घेर रखा था। किम पहली बार मार्च में ट्रेन से चीन पहुंचे थे। उनका दूसरा दौरा मई की शुरुआत में हुआ था। मार्च में आए थे तो उनका दौरा काफी गोपनीय रखा गया था। यहां तक कि बीजिंग से उनके रवाना होने तक इसकी जानकारी नहीं दी गई थी। कोरियाई युद्ध के बाद से ही दक्षिण कोरिया में अमेरिका ने सैनिकों को तैनात कर दिया है। 1953 में खत्‍म हुए इस युद्ध में चीन ने उत्‍तर कोरिया का साथ दिया था।

उत्तर कोरियाई तानाशाह किम जोंग उन अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से मिलने के बाद अब मंगलवार को चीन पहुंचे। किम दो दिन के दौरे पर बीजिंग पहुंचे हैं और 2011 में सत्ता संभालने के बाद यह उनका तीसरा चीन दौरा है। अपने इस दौरे पर वो राष्ट्रपति शी जिनपिंग से …

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इस दुनिया के बाहर भी दबदबा कायम करने की तैयारी में अमेरिका, ट्रंप बनाएंगे ‘स्पेस फोर्स’

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रक्षा मुख्यालय पेंटागन को नया अमेरिकी स्पेस फोर्स तैयार करने का आदेश दिया है. अमेरिकी सेना की यह छठी शाखा होगी और अंतरिक्ष में अमेरिकी दबदबे को सुनिश्चित करेगी. ट्रंप ने कहा, 'मैंने रक्षा विभाग और पेंटागन को सैन्य बलों की छठी शाखा के तौर पर स्पेस फोर्स तैयार करने की आवश्यक प्रक्रिया तुरंत शुरू करने का निर्देश दिया है.' उन्होंने कहा, 'हमारे पास एयर फोर्स है, लेकिन हम अलग स्पेस फोर्स का गठन करने के लिए आगे बढ़ रहे हैं.' ट्रंप ने कहा, 'अमेरिका की रक्षा की बात आती है तो अंतरिक्ष में अमेरिकी मौजूदगी ही काफी नहीं है, अंतरिक्ष में हमारा दबदबा भी होना चाहिए.' स्पेस फोर्स या अंतरिक्ष बल की भूमिका के बारे में अभी विस्तृत ब्यौरा उपलब्ध नहीं है. नेशनल स्पेस काउंसिल के एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सोमवार को ट्रंप ने वाणिज्यिक यातायात की निगरानी के माध्यम से अंतरिक्ष में अमेरिकी हितों की रक्षा करने की इस योजना की घोषणा की. उन्होंने कहा, ' यह योजना न सिर्फ रोजगार के लिहाज से बेहतरीन है बल्कि हर तरह से अच्छी है. यह हमारे देश के मनोविज्ञान के लिए बहुत अच्छा है.' गौरतलब है कि ट्रंप पहले भी स्पेस फोर्स यानी अंतरिक्ष सैन्य बल के गठन की मंशा जता चुके हैं. ट्रंप के ऐलान को अमेरिका में क्लिंटन युग की ईमानदार शुरुआत के तौर पर देखा जा रहा है. पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति बिल क्लिंटन के कार्यकाल के दौरान अंतरिक्ष खोज पर काफी जोर रहा था. संभावित जंग की तैयारी बताया जा रहा है कि अमेरिका की यह स्पेशल फोर्स स्पेस वॉर के साथ ही अंतरिक्ष में लड़ी जाने वाली किसी भी संभावित जंग के लिए तैयार रहेगी. अंतरिक्ष में दूसरे देश के खिलाफ जवाबी कार्रवाई और सैन्य प्रशिक्षण मिशन के बाद निगरानी में भी इसका इस्तेमाल किया जा सकेगा. रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिकी वायु सेना की एक शाखा के तहत यूएस स्पेस कमांड के पास सैन्य स्पेस ऑपरेशंस का पूरा नियंत्रण होगा. अमेरिकी नीति निर्माता चिंतित हालांकि, न्यूयॉर्क टाइम्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक ट्रंप की इस घोषणा को लेकर अमेरिकी प्रशासन के कुछ अधिकारी चिंतित नजर आ रहे हैं. रिपोर्ट में कहा गया है कि ट्रंप के इस आइडिया को नीति निर्माता परेशानी का सबब मान रहे हैं. प्रशासनिक अफसरों को चिंता है कि इससे बेवजह का प्रशासनिक भार बढ़ेगा, जबकि सैन्य मामलों को लेकर पहले से ही सरकार पर काफी भार है.

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रक्षा मुख्यालय पेंटागन को नया अमेरिकी स्पेस फोर्स तैयार करने का आदेश दिया है. अमेरिकी सेना की यह छठी शाखा होगी और अंतरिक्ष में अमेरिकी दबदबे को सुनिश्चित करेगी. ट्रंप ने कहा, ‘मैंने रक्षा विभाग और पेंटागन को सैन्य बलों की छठी शाखा के तौर …

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भारत से ज्यादा परमाणु हथियार चीन और पाकिस्तान में, फिर भी भारत की धमक

गौरतलब है कि दुनिया के कुल परमाणु हथियारों का करीब 92 फीसदी हिस्सा इन दोनों देशों में ही है. रिपोर्ट में कहा गया है, 'भारत और पाकिस्तान अपने परमाणु हथियार भंडार का विस्तार कर रहे हैं और नए जमीन, समु्द्र और वायु में मार करने वाले मिसाइल डिलिवरी सिस्टम का विकास कर रहे हैं. चीन भी अपने परमाणु हथियार प्रणाली का विकास कर रहा है और धीरे-धीरे अपने परमाणु हथियारों का जखीरा बढ़ा रहा है. साल 2017 में उत्तर कोरिया ने परमाणु हथियार क्षमता के मामले में काफी बढ़ोतरी की है. दक्षिण कोरिया ने भी दो नए लॉन्ग रेंज बैलिस्टिक मिसाइल डिलिवरी सिस्टम का परीक्षण कर इस मामले में अभूतपूर्व प्रगति की है.'

 पाकिस्तान और चीन में भारत के मुकाबले ज्यादा परमाणु हथियार हैं, इसके बावजूद विश्वसनीय तरीके से भारत की धमक बनी हुई है. भारत एक जिम्मेदार न्यूक्लियर पावर है. एक रिपोर्ट में यह बात कही गई है. स्टॉकहोम इंटरनेशनल पीस रिसर्च इंस्टीट्यूट (SIPRI ईयरबुक 2018) की रिपोर्ट ‘न्यूक्लियर वार हेड्स नॉट …

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सऊदी अरब की सरकार क्यों हुई इस सर्कस से खिलाफ?

सऊदी अरब अपने सख्त कानूनों के लिए सारी दुनिया में जाना जाता है. अब इन्ही कानूनों के चलते सर्कस की लड़कियों के बदन से चिपके हुए कपडे़ पहनने को लेकर सऊदी अरब ने देश के मनोरंजन प्रमुख को पद से बेदखल कर दिया है. इस बात को लेकर देश के रूढ़िवादियों ने कई तरह से सरकार और नियमों की आलोचना शुरू कर दी थी. सरकारी ‘सऊदी प्रेस एजेंसी’ ने शाही फरमान का हवाला देते हुए ट्वीट किया है, ‘सऊदी जनरल एंटरटेनमेंट अथॉरिटी के अध्यक्ष अहमद अल-खातिब को उनके पद से बर्खास्त किया गया है.’ एजेंसी ने इसका कोई कारण नहीं बताया है. समाचार वेबसाइट ‘सबक’ के अनुसार, रियाद में सर्कस के विवादित शो में महिलाओं के ‘असभ्य’ कपड़े पहनने को लेकर खातिब को पद से हटाया गया है. ये एजेंसी सरकार का समर्थन करने के लिए जानी जाती है. महिला सर्कसकर्मी गुलाबी रंग के बदन से चिपके हुए कपड़ों में वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुए जिसका रूढ़िवादी संघठनो ने और लोगों ने निजी तौर पर विरोध कर आलोचना की थी. ट्विटर पर #NakedRussianWomenInRiyadh हैशटैग के साथ इस सर्कस के खिलाफ ट्वीट वार छेड़ दिया गया था.

सऊदी अरब अपने सख्त कानूनों के लिए सारी दुनिया में जाना जाता है. अब इन्ही कानूनों के चलते सर्कस की लड़कियों के बदन से चिपके हुए कपडे़ पहनने को लेकर सऊदी अरब ने देश के मनोरंजन प्रमुख को पद से बेदखल कर दिया है. इस बात को लेकर देश के …

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ट्रंप ने किया अंतरिक्ष सेना का एलान

ट्रंप ने कहा, 'अमेरिका की रक्षा की बात आती है तो अंतरिक्ष में अमेरिकी मौजूदगी ही काफी नहीं है, अंतरिक्ष में हमारा दबदबा भी होना चाहिए.' स्पेस फोर्स या अंतरिक्ष बल की भूमिका के बारे में अभी विस्तृत ब्यौरा उपलब्ध नहीं है. उन्होंने कहा, ' यह योजना न सिर्फ रोजगार के लिहाज से बेहतरीन है बल्कि हर तरह से अच्छी है. यह हमारे देश के मनोविज्ञान के लिए बहुत अच्छा है.'हालांकि ज्यादातर लोग ट्रंप के इस फैसले से खुश नहीं है और इसे गलत कदम भी कह रहे है. साथ ही इसे आर्थिक दृष्टि से घातक भी मान रहे है .

एक ओर शांति बहाली की वार्ता ख़त्म हुई है और दूसरी ओर नेशनल स्पेस काउंसिल के एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सोमवार को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रक्षा मुख्यालय पेंटागन को स्पेस फोर्स बनाने का आदेश दिया है. अमेरिकी सेना की यह छठी टुकड़ी अंतरिक्ष में अमेरिकीसाम्राज्य की …

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