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Trade War : अमेरिका के खिलाफ भारत WTO पहुंचा

अमेरिका द्वारा स्टील और एल्युमीनियम पर शुल्क लगाए जाने के मामले को भारत ने विश्व व्यापार संगठन (डब्ल्यूटीओ) के विवाद निस्तारण तंत्र के समक्ष उठाया है। यह जानकारी एक अधिकारी ने दी है। भारत ने कहा है कि इस फैसले से अमेरिका को इन उत्पादों का निर्यात प्रभावित होगा। अमेरिका द्वारा शुल्क लगाना ग्लोबल कारोबारी नियमों के अनुकूल नहीं है। अधिकारी ने बताया कि स्टील और एल्युमीनियम के कुछ उत्पादों पर अमेरिका द्वारा शुल्क लगाए जाने की भारत ने डब्ल्यूटीओ में शिकायत की है। भारत ने डब्ल्यूटीओ के विवाद निवारण तंत्र के तहत अमेरिका से इस मसले पर बातचीत करने की मांग की है। विवाद निस्तारण प्रक्रिया के तहत बातचीत पहला कदम होता है। अगर दोनों देश आपसी बातचीत करके मामले को सुलझाने में विफल रहते हैं तो भारत डब्ल्यूटीओ की विवाद निस्तारण समिति को पूरे मामले की समीक्षा के लिए मांग कर सकता है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने पिछले नौ मार्च को आयातित स्टील और एल्युमीनियम पर भारी शुल्क लगा दिया था। उन्होंने दो घोषणाओं पर हस्ताक्षर किए थे जिनके तहत स्टील पर 25 फीसद और एल्यूमीनियम पर 10 फीसद आयात शुल्क लगाने का फैसला किया गया। अमेरिका ने कनाडा और मैक्सिको को छोड़कर बाकी सभी देशों से आयातित इन वस्तुओं पर शुल्क लगाया था। भारत ने भी भारी शुल्क से छूट देने की अमेरिका से मांग की थी। अमेरिका की इस घोषणा से पूरी दुनिया में ट्रेड वार की आशंका पैदा हो गई। इस कदम से सबसे ज्यादा आशंकित चीन ने जवाबी कार्रवाई के तहत अमेरिका के तमाम उत्पादों पर शुल्क लगाने का कदम उठाया। दोनों देशों के बीच तनातनी इतनी बढ़ गई कि पूरी दुनिया में विकास दर प्रभावित होने की आशंका जताई जाने लगी। अब दोनों देश बातचीत करके मसले का समाधान निकालने का प्रयास कर रहे हैं। हालांकि अभी कोई खास सहमति नहीं बनी है। जवाहरलाल नेहरू यूनीवर्सिटी में अर्थशास्त्र के प्रोफेसर विश्वजीत धर ने कहा कि अमेरिका के फैसले से न सिर्फ भारत से इन वस्तुओं के निर्यात पर असर पड़ेगा बल्कि ग्लोबल कारोबार भी प्रभावित होगा। भारत से अमेरिका से हर साल करीब 1.5 अरब डॉलर के स्टील और एल्युमीनियम उत्पादों का निर्यात होता है। कुछ विशेषज्ञों का मानना है कि इस मसले पर अमेरिका की डब्ल्यूटीओ में शिकायत करना भारत के हित में नहीं होगा क्योंकि अमेरिका के साथ भारत ट्रेड सरप्लस की स्थिति में है। वर्ष 2016-17 में भारत से अमेरिका को निर्यात 42.21 अरब डॉलर रहा जबकि आयात 22.3 अरब डॉलर रहा। दोनों देश पहले से ही डब्ल्यूटीओ में कारोबारी मसलों पर उलझे हैं। ये विवाद पोल्ट्री, सोलर और स्टील को लेकर हैं। अमेरिका ने हाल में भारत के शिकायत की है कि भारत निर्यात सब्सिडी दे रहा है। इससे उसके श्रमिकों पर असर पड़ रहा है और बाजार में समान अवसर प्रभावित हो रहे हैं।

अमेरिका द्वारा स्टील और एल्युमीनियम पर शुल्क लगाए जाने के मामले को भारत ने विश्व व्यापार संगठन (डब्ल्यूटीओ) के विवाद निस्तारण तंत्र के समक्ष उठाया है। यह जानकारी एक अधिकारी ने दी है। भारत ने कहा है कि इस फैसले से अमेरिका को इन उत्पादों का निर्यात प्रभावित होगा। अमेरिका …

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बिजली बचत के लिए 30 करोड़ LED बल्ब बांटे

सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी एनर्जी एफीसिएंसी सर्विसेज लि. (ईईएसएल) ने कहा कि उन्नत ज्योति बाई अफोर्डेबल एलईडी फॉर ऑल (उजाला) स्कीम के तहत उसने अब तक 30 करोड़ बल्ब वितरित किए हैं। उजाला स्कीम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जनवरी 2015 में लांच की थी। अब यह दुनिया का सबसे बड़ा एलईडी बल्ब वितरण कार्यक्रम बन चुका है। ईईएसएल ने एक बयान में कहा कि देश में 30 करोड़ बल्बों का वितरण होने से हर साल 3895 करोड़ यूनिट बिजली की बचत होगी। इससे 15,581 करोड़ रुपये की बचत होने का अनुमान है। भारत 2005 से 2030 के बीच कार्बन सघनता 33 से 35 फीसद तक घटाने के लिए प्रतिबद्ध है। प्रदूषण घटाने के लिए प्रमुख रणनीति में उजाला स्कीम भी शामिल है। सरकार इसे घरेलू लाइटिंग में बिजली बचत के लिए फ्लैगशिप प्रोग्राम के रूप में चला रही है। इसे दुनिया की अपनी तरह की सबसे बड़ी स्कीम माना गया है।

सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी एनर्जी एफीसिएंसी सर्विसेज लि. (ईईएसएल) ने कहा कि उन्नत ज्योति बाई अफोर्डेबल एलईडी फॉर ऑल (उजाला) स्कीम के तहत उसने अब तक 30 करोड़ बल्ब वितरित किए हैं। उजाला स्कीम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जनवरी 2015 में लांच की थी। अब यह दुनिया का सबसे बड़ा …

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नमाज़ अदा करने को राजनीतिक मुद्दा न बनाएं- खट्टर

हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने धर्म के नाम पर राजनीति करने वालों के खिलाफ हमला बोला है, उन्होंने कहा है कि रमजान के महीने में कुछ लोग मुस्लिमों के खुले में नमाज़ पढ़ने को मुद्दा बना रहे है और उसपर राजनीति खेल रहे है. उन्होंने कहा कि खुली जगह में मुसलमानों के नमाज अदा करने का मामला राजनीतिक नहीं सामाजिक है. शनिवार को चंडीगढ़ में एक कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए उन्होंने कहा कि यह सामाजिक मामला है, राजनीतिक नहीं, लेकिन कुछ लोग इसपर भी राजनीति खेलने से बाज़ नहीं आ रहे है. उन्होंने कहा कि किसी को भी धार्मिक भावनाएं आहत करने का हक नहीं है और ऐसे मामले शांतिपूर्ण वार्ता के जरिए ही हल किया जा सकता है.’ उन्होंने कहा कि मुसलमानों की जनसँख्या में बढ़ोतरी हुई है, लेकिन उनके धार्मिक स्थल घटे हैं, ऐसे में वे खुले में नमाज़ पढ़ने को विवश हैं, इसपर राजनीति नहीं होनी चाहिए. आपको बता दें कि पिछले महीने गुरुग्राम के सेक्‍टर 53 में मुसलमानों के खुले में नमाज पढ़ने का कुछ लोगों ने विरोध किया था. यहां तक कि नमाज पढ़ रहे लोगों को धमकाकर वहां से हटा दिया गया था. नमाज पढ़ने को लेकर पैदा हुए विवाद पर मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कहा कि इसे मस्जिद या ईदगाह में पढ़ना चाहिए न कि सार्वजनिक जगहों पर, हालांकि इसके बाद खट्टर ने अपना बयां वापिस लेते हुए कहा था कि अगर कोई नमाज़ में बाधा पहुंचता है तो उसके खिलाफ सख्त कार्यवाही की जाएगी.

हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने धर्म के नाम पर राजनीति करने वालों के खिलाफ हमला बोला है, उन्होंने कहा है कि रमजान के महीने में कुछ लोग मुस्लिमों के खुले में नमाज़ पढ़ने को मुद्दा बना रहे है और उसपर राजनीति खेल रहे है. उन्होंने कहा कि खुली …

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शपथ लेने के बाद 24 घंटों में साबित कर दूंगा बहुमत- कुमारस्वामी

कर्नाटक चुनाव में सबसे ज्यादा सीटें जीतने के बाद भी भाजपा सरकार बनाने में नाकाम रही, वहीं कांग्रेस ने जेडीएस की कुमारस्वामी को मुख्यमंत्री बनाने की मांग को स्वीकार करते हुए उससे हाथ मिला लिया. अब कांग्रेस-जदएस गठबंधन के नेता एचडी कुमारस्वामी कर्नाटक के अगले मुख्यमंत्री होंगे, उनको 23 मई को पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई जाएगी. राज्यपाल वजुभाई वाला ने उनको बहुमत साबित करने के लिए 15 दिन का समय दिया है. इस पर पूर्व मुख्यमंत्री एच डी देवेगौडा के बेटे कुमारस्वामी ने कहा है कि वे दिल्ली जा रहे हैं सोनिया गाँधी और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गाँधी से मुलाकात करने के लिए, उन्होंने मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने के 24 घंटे के अंदर बहुमत साबित करने का दावा भी किया है. इससे पहले करीब 20 मिनट तक उन्होंने भावुक भाषण दिया, इसमें उन्होंने कर्नाटक के विकास के लिए पूरी जिंदगी काम करने का वादा किया और यह भरोसा भी जताया कि अगले चुनाव में भाजपा 150 का आंकड़ा हासिल करेगी. वहीं दूसरी तरफ बहुमत नहीं जुटा पाने की बेचैनी दोपहर बाद भाजपा खेमे में दिखने लगी थी, अस्थायी अध्यक्ष द्वारा सभी विधायकों को शपथ दिलाने और सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के मुताबिक चार बजे शक्ति परीक्षण के पहले येद्दयुरप्पा ने अपना भाषण शुरू किया. उन्होंने जिस तरह से कर्नाटक में किसानों की आत्महत्या, पानी की समस्या और विकास की बात शुरू की और इसके लिए पूरी जिंदगी लड़ने का एलान किया, उससे साफ हो गया कि बहुमत के आंकड़े तक पहुंचने में वे विफल रहे हैं, इसके बाद उन्होंने राजभवन जाकर त्यागपत्र दे दिया.

कर्नाटक चुनाव में सबसे ज्यादा सीटें जीतने के बाद भी भाजपा सरकार बनाने में नाकाम रही, वहीं कांग्रेस ने जेडीएस की कुमारस्वामी को मुख्यमंत्री बनाने की मांग को स्वीकार करते हुए उससे हाथ मिला लिया. अब कांग्रेस-जदएस गठबंधन के नेता एचडी कुमारस्वामी कर्नाटक के अगले मुख्यमंत्री होंगे, उनको 23 मई …

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सत्ता के नशे में चूर बीजेपी विधायक की पुलिस पर अभद्र टिप्पणी

देश में राष्ट्रवादी पार्टी होने का दावा करने वाली भाजपा अपने तानाशाही नेताओं को काबू में नहीं कर पा रही है, लगातार बेतुके बयानों के बाद अब दादागिरी पर उतरे भाजपा के नेताओं की गुंडागर्दी इस हद तक बढ़ गई है कि वो पुलिस को कुछ नहीं समझते. हालाँकि उत्तरप्रदेश के इलाहाबाद के एक मामले के अनुसार एक विधायक ने एसपी स्तर के पुलिस अधिकारी को सत्ता के नशे में चूर होकर धमकाने की कोशिश की. मामला मठ बाघम्बरी गद्दी का है, जहाँ पर साधु संतों के साथ एक बैठक के लिए मुख्यमंत्री योगी अंदर गए हुए थे, जिसके बाद जब सिटी नॉर्थ सीट से भाजपा विधायक हर्ष वर्धन वाजपेयी ने अंदर जाने की कोशिश की तो SP गंगा पार ने उन्हें रोकने की कोशिश की, जिसके बाद ही विधायक को धमकाकर 'लातों के बहुत बातों से नहीं मानते' जैसे शब्दों का इस्तेमाल किया. ईमानदारी से अपनी ड्यूटी कर रहे गंगा पार पर जब विधायक ने अभद्र भाषा का उपयोग किया तो इसका एक छोटा सा वीडियो भी सोशल मीडिया में वायरल हुआ है. इस खबर की चर्चा आसपास के इलाकों के साथ तेजी से दूसरी जगहों पर पहुंच गई है. सिस्टम के साथ चलने वाली भाजपा के बड़े नेताओं ने अभी इस घटना पर कोई टिप्पणी नहीं की. हालाँकि दुनिया की सबसे बड़ी पार्टी होने का दावा करने वाली भाजपा के लिए यह बात बहुत छोटी होगी.

देश में राष्ट्रवादी पार्टी होने का दावा करने वाली भाजपा अपने तानाशाही नेताओं को काबू में नहीं कर पा रही है, लगातार बेतुके बयानों के बाद अब दादागिरी पर उतरे भाजपा के नेताओं की गुंडागर्दी इस हद तक बढ़ गई है कि वो पुलिस को कुछ नहीं समझते. हालाँकि उत्तरप्रदेश …

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जेडीएस-कांग्रेस बैठक के बाद मंत्रिमंडल पद के लिए हुई चर्चा

कर्नाटक चुनाव में चली सियासी जंग कल ढाई दिन के मुख्यमंत्री येदियुरप्पा के इस्तीफे के बाद खंत होती नजर आई वहीं आज कांग्रेस और जेडीएस के बीच सरकार गठन को लेकर चल रही बैठक में कुछ अहम बातों को लेकर चर्चा हुई, जिसमें कांग्रेस और जेडीएस के मंत्रियों के बारे में साथ ही स्पीकर और दो उपमुख़्यमंत्रियों के बारे में भी चर्चा हुई. इस बैठक के बाद सामने आ रही खबर के अनुसार जेडीएस के कुमारस्वामी मुख्यमंत्री पद का भार संभालेंगे, मंत्रिमंडल में जेडीएस के 13 वहीं कांग्रेस के 20 मंत्री हो सकते है. इस बैठक में जो अहम मुद्दा चर्चा का विषय का रहा वो था दो उपमुख्यमंत्री बनाने का. जेडीएस ने जहाँ किसी मुस्लिम नेता को उपमुख्यमंत्री बनाए जाने का पक्ष किया वहीं कांग्रेस ने इस बारे में प्रदेश अध्यक्ष जी परेश्वमर और तीन दिन से चल रहे सियासी जंग में पार्टी के संकटमोचक रहे डीके शिवकुमार का नाम आगे किया. इससे पहले कुमारस्वामी को राज्यपाल ने बहुमत इकठ्ठा कर सरकार बनाने का न्यौता भेजा है, वहीं कल यानी सोमवार को कुमारस्वामी दिल्ली रवाना हो रहे है जहाँ वो कांग्रेस सुप्रीमो सोनिया गाँधी के साथ कांग्रेस के अध्यक्ष राहुल गाँधी से मिलेंगे. बता दें, सरकार बनाने के लिए कर्नाटक में तीन भारी ड्रामा चला जिसके बाद बहुमत नहीं साबित कर पाने की वजह से बीजेपी के मुख्यमंत्री येदियुरप्पा ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया.

कर्नाटक चुनाव में चली सियासी जंग कल ढाई दिन के मुख्यमंत्री येदियुरप्पा के इस्तीफे के बाद खंत होती नजर आई वहीं आज कांग्रेस और जेडीएस के बीच सरकार गठन को लेकर चल रही बैठक में कुछ अहम बातों को लेकर चर्चा हुई, जिसमें कांग्रेस और जेडीएस के मंत्रियों के बारे …

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येदियुरप्पा के इस्तीफा देते ही, आपस में भिड़े शाह-राहुल

कर्नाटक की सियासत में शनिवार को जबरदस्त उलटफेर हुई, 104 सीटें लाकर सत्ता में आने का सपना देख रही भाजपा के सपने उस समय चूर-चूर हो गए जब वो बहुमत पेश करने के लिए 8 विधायक जुटाने में नाकाम रही और 2 दिन के मुख्यमंत्री बने भाजपा प्रत्याशी येदियुरप्पा को मुख्यमंत्री पद छोड़ना पड़ा. जिसके बाद कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गाँधी और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह के बीच जुबानी जंग तेज़ हो गई. अमित शाह ने कर्नाटक में जेडीएस-कांग्रेस गठबंधन की भावी सरकार ‘अपवित्र गठबंधनों’ की सरकार बताया. इसपर राहुल गांधी ने पलटवार करते हुए बीजेपी को संवैधानिक संस्थाओं को 'अपमान' करने वाली पार्टी कहा. शाह ने उन आरोपों को खारिज किया जिसके तहत कहा जा रहा था कि बीजेपी ‘हॉर्स ट्रेडिंग’ की कोशिश कर रही थी. कर्नाटक में सरकार गिरने के बाद शनिवार को एक कार्यक्रम में अमित शाह ने कहा कि बीजेपी किसी तरह के जोड़-तोड़ में शामिल नहीं थी. उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने ना सिर्फ हॉर्स ट्रेडिंग की बल्कि ‘पूरा अस्तबल ही बेच खाया.’ राहुल गाँधी ने पीएम नरेंद्र मोदी को भ्रष्टाचारी कहने पर जवाब देते हुए, अमित शाह ने कहा कि हम कांग्रेस की टिप्पणियों को गंभीरता से नहीं लेते. इससे पहले राहुल ने आरोप लगाया कि पीएम ने विधायकों को ‘खरीदने’ को इजाजत दी और वह सभी संवैधानिक संस्थाओं का ‘अपमान’ कर रहे हैं. राहुल ने यह भी आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री मोदी भ्रष्टाचार को बढ़ावा दे रहे हैं और वह खुद ‘भ्रष्टाचारी’ हैं. राहुल ने कहा था कि इसके सबूत के रूप में ऑडियो रिकॉर्डिंग सबके सामने है.

कर्नाटक की सियासत में शनिवार को जबरदस्त उलटफेर हुई, 104 सीटें लाकर सत्ता में आने का सपना देख रही भाजपा के सपने उस समय चूर-चूर हो गए जब वो बहुमत पेश करने के लिए 8 विधायक जुटाने में नाकाम रही और 2 दिन के मुख्यमंत्री बने भाजपा प्रत्याशी येदियुरप्पा को …

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Royal Wedding: एक-दूजे के हुए प्रिंस हैरी और मेगन मर्केल

महीनों के इंतजार के बाद प्रिंस हैरी और अमेरिकी अभिनेत्री मेगन मर्केल शनिवार को एक-दूजे के हो गए। ब्रिटेन के शाही परिवार की इस शादी पर पूरी दुनिया की नजरें टिकी हुई थीं। विंडसर कैसल के सेंट जॉर्ज चर्च में संपन्न हुए शादी समारोह में 1200 आम लोगों के साथ हजारों मेहमान मौजूद थे। हॉलीवुड में अपनी विशेष पहचान बना चुकीं अभिनेत्री प्रियंका चोपड़ा भी अपनी करीबी दोस्त मर्केल की शादी में शामिल हुईं। मर्केल सफेद रंग के पारंपरिक पोशाक में अपने नन्हे ब्राइड्स मेड के साथ विवाह स्थल तक पहुंची। अन्य बच्चों के साथ प्रिंस विलियम के बेटे प्रिंस जार्ज ने पेज ब्यॉज और बेटी शार्लोट ने ब्राइड्समेड की भूमिका निभाई। खुद प्रिंस चार्ल्स हैरी के बेस्ट मैन बने थे। शादी के दौरान हीथरॉ एयरपोर्ट ने विंडसर के ऊपर से गुजरने वाले एयरस्पेस को 15 मिनट के लिए अवरुद्ध कर दिया था। टूटी कई परंपराएं, दिखा नया अंदाज टेलीविजन शो सूट्स से मशहूर हुईं अभिनेत्री मेघन ने अपनी शादी में कई पुरानी परंपराओं को नए अंदाज में पेश किया। वह विंडसर कैसल के परिसर में अकेली पहुंची जहां से प्रिंस चार्ल्स उन्हें चर्च के अंदर ले गए। हैरी के पिता चार्ल्स इस शादी में मर्केल के पिता की भूमिका निभा रहे थे। मर्केल ने प्रिंसेस डायना द्वारा शुरू की गई परंपरा को जारी रखते हुए अपने पति की आज्ञा का पालन करने का वचन नहीं लिया। रिसेप्शन के दौरान मेघन ने मेहमानों के सामने स्पीच भी दी। इससे पहले शाही परिवार की किसी बहू ने ऐसा नहीं किया। एक-दूसरे को पहनाई बेशकीमती अंगूठी हैरी ने मर्केल को शाही परिवार की परंपरा के अनुसार वेल्श गोल्ड से बनी अंगूठी जबकि मर्केल ने हैरी को प्लैटिनम से बनी अंगूठी पहनाई। शाही परिवार के अन्य पुरुषों से विपरीत हैरी शादी के बाद भी अंगूठी पहने रहेंगे। शादी के बाद ससेक्स के राजकुमार और राजकुमारी होंगे हैरी व मर्केल ब्रिटेन की राजगद्दी के छठें नंबर के उत्तराधिकारी प्रिंस हैरी अब ड्यूक ऑफ ससेक्स जबकि मर्केल डचेज ऑफ ससेक्स कहलाएंगी। महारानी एलिजाबेथ ने दोनों को इस टाइटल से नवाजा है। भारत से शामिल हुए मेहमान शाही शादी में "मायना महिला फाउंडेशन" की संस्थापक सुहानी जलोटा विशिष्ट अतिथि के रूप में शामिल हुईं। उनके साथ संस्था की तीन अन्य महिलाओं ने भी पारंपरिक भारतीय साड़ी पहनकर शादी में आम आदमी के तौर पर हिस्सा लिया। दरअसल, शाही दंपती ने शादी में मिले दान से जमा हुई राशि को चैरिटी में देने की घोषणा की थी। मुंबई के स्लम में महिलाओं को कम कीमत पर सैनेटरी पैड उपलब्ध कराने वाली मायना महिला फाउंडेशन को भी चैरिटी के लिए चुना गया था। इनके अतिरिक्त मैकरून (बिस्कुट) का बिजनेस करने वाली भारतवंशी शेफ रोजी गिंडे ने भी शादी में हिस्सा लिया। ओपेरा विन्फ्रे व डेविड बेकहम समेत कई हस्तियां रहीं मौजूद ओपेरा विन्फ्रे व जॉर्ज कोलोनी के साथ फुटबॉल स्टार डेविड बेकहम, टेनिस स्टार सेरेना विलियम्स समेत कई सेलेब्रिटी शाही शादी का हिस्सा बने। इन सितारों की मौजूदगी ने प्रिंस हैरी व मर्केल की शादी को और खास बना दिया। ब्रिटेन की 1200 जनता शाही शादी में होगी शामिल - ब्रिटेन की जनता से 1200 लोगों को आमंत्रित किया गया है। इसके अलावा 600 बाहरी अतिथि इस रॉयल वेडिंग में शामिल होंगे। वे दक्षिणी दरवाजे से होकर चैपल तक जायेंगे। - मर्केल और उनकी माता अपने होटल से कैसल के लिए रवाना होंगे। यहां कार से उतरने के बाद वे कैसल तक पैदल चल कर जायेंगे, ताकि वहां उपस्थित मीडिया और लोग शाही दुल्हन की झलक देख सकें। - ब्रिटिश शाही परिवार के सभी सदस्य भी इसके बाद कैसल की तरफ रवाना होंगे। उनमें से कुछ पैदल होंगे जबकि कुछ कार में होंगे। - हैरी और उनके बड़े भाई व उनके बेस्ट मैन प्रिंस विलियम पैदल चलकर चैपल तक पहुंचेंगे। इस दौरान वे वहां उपस्थित लोगों से मुलाकात करते हुए और उनका स्वागत करते हुए चैपल के दरवाजे तक पहुंचेंगे। - हैरी के पिता प्रिंस चार्ल्स और उनीक पत्नी कैमिला भी गैलिली पोर्च तक पहुंचे हैं। मर्केल की माता भी अब गेलिली पोर्च तक पहुंची जहां विंडसोर कैसल के डीन ने उनका स्वागत किया। - क्वीन एलिजाबेथ आने वाले मेहमानों में सबसे अंतिम में आने वाली सदस्य रहीं। - मर्केल अपनी ब्राइडमेड्स और पेज बॉयज के साथ चैपल के अंदर पश्चिम के दरवाजे से प्रेवश करेंगी। जब वे चैपल के अंदर आधे दूर तक चली जाएंगी तो प्रिंस चार्ल्स उनके साथ आयेंगे। - विंडसोर के डीन डेविड कॉर्नर सेवा पर तैनात हो जायेंगे। कैसल के आर्चबिशप जस्टिन वेल्बे अब दोनों से शादी की प्रतिज्ञा करवायेंगे। - इस अवसर पर प्रिसाइडिंग बिशप माइकल करी समारोह को संबोधित करेंगे। जानकारी के मुताबिक यहां पर ये शाही शादी संपन्न हो जाएगी। - यहां से नवविवाहित शाही जोड़ा बाहर निकलकर उपस्थित 200 अतिथियों को संबोधित करेंगे। परिवार के अन्य सदस्य और उन्हें हाथ हिलाकर उनका अभिवादन करेंगे। - इसके बाद शाही जोड़ा शाही बग्गी पर बैठकर कैसल का दौरा करेगा। सभी अतिथि सेंट जॉर्ज हॉल में आयोजित रिसेप्शन की तरफ बढ़ेंगे। - बाद में शाही कपल भी उन्हें ज्वाइन करेंगे। इसके बाद ये जोड़ा शाम के शाही रिसेप्शन के लिए फ्रॉगमोर हाउस की तरफ रवाना होगा।

महीनों के इंतजार के बाद प्रिंस हैरी और अमेरिकी अभिनेत्री मेगन मर्केल शनिवार को एक-दूजे के हो गए। ब्रिटेन के शाही परिवार की इस शादी पर पूरी दुनिया की नजरें टिकी हुई थीं। विंडसर कैसल के सेंट जॉर्ज चर्च में संपन्न हुए शादी समारोह में 1200 आम लोगों के साथ …

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पाक ने अखबार डॉन पर लगाया बैन, मुंबई हमले पर छापा था नवाज का बयान

पाकिस्तान सरकार ने देश के सबसे पुराने अखबार डॉन को बैन कर दिया है। बीते दिनों पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने डॉन को एक इंटरव्यू दिया था, जिसमें मुंबई हमले को लेकर उनका बयान छापा गया था। नवाज शरीफ के इस इंटरव्यू के बाद पूरी दुनिया में पाकिस्तान की थू-थू हो रही थी। पाकिस्तान सरकार ने अब इस बदनामी के लिए डॉन को जिम्मेदार बताते हुए उसके वितरण पर रोक लगा दी है। गौरतलब है कि डॉन को दिए इंटरव्यू में शरीफ ने कहा था कि मुंबई हमले के पीछे पाकिस्तान और यहां के ही आतंकियों का हाथ था। इस खबर के प्रकाशित हो जाने के बाद दुनियाभर में पाकिस्तान की नापाक हरकत सामने आ गई थी। सबसे बड़े ज्वालामुखी में हुआ विस्फोट, 30 हजार फीट तक उछला लावा नवाज के कबूलनामे के बाद पाकिस्तान आर्मी में हड़कंप मच गया था। इसके बाद एक हाई लेवल मीटिंग में भी उनके इस बयान की निंदा की गई थी। मीडिया वॉचडॉग के मुताबिक, यह रोक पाक के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के 2008 में हुए मुबंई हमलों पर दिए बयान को प्रकाशित करने के बाद लगाई गई है। प्रेस की आजादी को बढ़ावा देने वाले गैर-सरकारी संगठन रिपोर्टर्स विथआउट बॉर्डर ने इसे प्रेस की स्वतंत्रता पर सीधा हमला करार दिया है। बलूचिस्तान प्रांत के ज्यादातर हिस्सों, सिंध प्रांत के कई शहरों और सभी सैन्य छावनी में अखबार के वितरण पर रोक लगा दी गई है।

पाकिस्तान सरकार ने देश के सबसे पुराने अखबार डॉन को बैन कर दिया है। बीते दिनों पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने डॉन को एक इंटरव्यू दिया था, जिसमें मुंबई हमले को लेकर उनका बयान छापा गया था। नवाज शरीफ के इस इंटरव्यू के बाद पूरी दुनिया में पाकिस्तान …

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Iraq में पहला संसदीय चुनाव, शिया नेता मुक्तदा अल-सद्र की जीत

दिसंबर में इस्लामिक स्टेट को पराजित करने के बाद इराक में पहला संसदीय चुनाव सम्पन्न हो गया। चुनाव आयोग ने शनिवार को अंतिम नतीजों की घोषणा कर दी। इसमें प्रभावशाली शिया मौलवी मुक्तदा अल-सद्र के नेतृत्व वाले गठबंधन ने सबसे ज्यादा सीटें जीती हैं। सद्र के गठबंधन को 54 सीटें मिलीं हैं। इसमें उनकी पार्टी इस्तिकामा और कम्युनिस्ट पार्टी के साथ छह अन्य समूह शामिल हैं। वर्तमान प्रधानमंत्री हैदर अल-अबादी 42 सीटों के साथ तीसरे नंबर पर हैं। जबकि 47 सीटों के साथ अल फातिह गुट दूसरे नंबर पर है। सद्र नहीं बन सकेंगे प्रधानमंत्री अमरीका विरोधी सद्र प्रधानमंत्री नहीं बन सकते हैं। वह चुनाव में खड़े ही नहीं हुए थे। इतना ही नहीं ज्यादा सीटें जीतने के बाद भी यह आवश्यक नहीं है कि जिसे सद्र चाहें वही प्रधानमंत्री बनेगा। हालांकि कुछ लोगों का मानना है कि सरकार गठन में उनकी भूमिका महत्वपूर्ण होगी। अंतिम परिणाम आने के बाद सद्र ने ट्वीट कर जनता को धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा है कि हम आपको निराश नहीं करेंगे। अमेरिकी हमलों के दौरान बनी पहचान इराक में 2003 में अमरीकी हमलों के दौरान सद्र की पहचान एक निजी सेना के प्रमुख के तौर पर अमेरिका को चुनौती देने वाले के रूप में बनी थी। इसके बाद उन्होंने खुद को भ्रष्टाचार विरोधी प्रबल नेता के रूप में स्थापित किया। ईरान से अच्छे संबंध अल फातिह के नेता हादी अल अमीरी के ईरान के साथ बहुत अच्छे संबंध हैं। इसके अलावा इस्लामिक स्टेट को हराने में भी इनकी महत्वपूर्ण भूमिका थी।दिसंबर में इस्लामिक स्टेट को पराजित करने के बाद इराक में पहला संसदीय चुनाव सम्पन्न हो गया। चुनाव आयोग ने शनिवार को अंतिम नतीजों की घोषणा कर दी। इसमें प्रभावशाली शिया मौलवी मुक्तदा अल-सद्र के नेतृत्व वाले गठबंधन ने सबसे ज्यादा सीटें जीती हैं। सद्र के गठबंधन को 54 सीटें मिलीं हैं। इसमें उनकी पार्टी इस्तिकामा और कम्युनिस्ट पार्टी के साथ छह अन्य समूह शामिल हैं। वर्तमान प्रधानमंत्री हैदर अल-अबादी 42 सीटों के साथ तीसरे नंबर पर हैं। जबकि 47 सीटों के साथ अल फातिह गुट दूसरे नंबर पर है। सद्र नहीं बन सकेंगे प्रधानमंत्री अमरीका विरोधी सद्र प्रधानमंत्री नहीं बन सकते हैं। वह चुनाव में खड़े ही नहीं हुए थे। इतना ही नहीं ज्यादा सीटें जीतने के बाद भी यह आवश्यक नहीं है कि जिसे सद्र चाहें वही प्रधानमंत्री बनेगा। हालांकि कुछ लोगों का मानना है कि सरकार गठन में उनकी भूमिका महत्वपूर्ण होगी। अंतिम परिणाम आने के बाद सद्र ने ट्वीट कर जनता को धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा है कि हम आपको निराश नहीं करेंगे। अमेरिकी हमलों के दौरान बनी पहचान इराक में 2003 में अमरीकी हमलों के दौरान सद्र की पहचान एक निजी सेना के प्रमुख के तौर पर अमेरिका को चुनौती देने वाले के रूप में बनी थी। इसके बाद उन्होंने खुद को भ्रष्टाचार विरोधी प्रबल नेता के रूप में स्थापित किया। ईरान से अच्छे संबंध अल फातिह के नेता हादी अल अमीरी के ईरान के साथ बहुत अच्छे संबंध हैं। इसके अलावा इस्लामिक स्टेट को हराने में भी इनकी महत्वपूर्ण भूमिका थी।

दिसंबर में इस्लामिक स्टेट को पराजित करने के बाद इराक में पहला संसदीय चुनाव सम्पन्न हो गया। चुनाव आयोग ने शनिवार को अंतिम नतीजों की घोषणा कर दी। इसमें प्रभावशाली शिया मौलवी मुक्तदा अल-सद्र के नेतृत्व वाले गठबंधन ने सबसे ज्यादा सीटें जीती हैं। सद्र के गठबंधन को 54 सीटें …

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