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अमरिका ने किया सीरिया पर मिसाइल से हमला

चेतावनी के बाद अमरिका के राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रंप ने सीरिया में सैन्य कार्रवाई का आदेश जारी कर दिया है. ये सैन्य कार्रवाई उन जगहों पर किए जाएंगे जहां पिछले हफ्ते केमिकल अटैक हुए थे. डोनल्ड ट्रंप के मुताबिक इस सैन्य कार्रवाई में ब्रिटेन और फ्रांस भी अमेरिका का साथ दे रहा है. देश को संबोधित करते हुए राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रंप ने कहा "फ्रांस और ब्रिटेन के साथ मिलकर एक संयुक्त अभियान शुरू कर दिया गया है.'' सीरियाई राजधानी दमास्कस के पास से विस्फोटों की खबरें मिल रही है. इस बीच संयुक्त राष्ट्र के लिए रूसी दूत वसिली नेबेन्ज़िया ने चेतावनी दी है कि अमेरिका के सीरिया पर हमले करने से रूस और अमेरीका के बीच युद्ध के हालात बन सकते हैं. उन्होंने कहा कि वो किसी भी तरह की संभावना से इनकार नहीं करते. बता दें कि विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के मुताबिक, सीरिया के पूर्वी गूटा में हुए हमले में घायल हुए मरीज़ों में केमिकल अटैक के लक्षण पाए गए हैं. डब्ल्यूएचओ ने सीरिया के डूमा इलाके में बिना किसी अड़चन के प्रवेश दिए जाने की मांग की है. डब्ल्यूएचओ के अधिकारी इलाके में मौजूद अपने सहयोगियों से मिली इस रिपोर्ट की पुष्टि करना चाहते हैं, जिसमें कहा गया है कि 500 से अधिक लोगों में केमिकल अटैक के लक्षण पाए गए हैं. ट्रैम्प ने इसी सप्ताह चेतावनी जारी करते हुए हमले को लेकर रूस को आगाह किया था.

चेतावनी के बाद अमरिका के राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रंप ने सीरिया में सैन्य कार्रवाई का आदेश जारी कर दिया है. ये सैन्य कार्रवाई उन जगहों पर किए जाएंगे जहां पिछले हफ्ते केमिकल अटैक हुए थे. डोनल्ड ट्रंप के मुताबिक इस सैन्य कार्रवाई में ब्रिटेन और फ्रांस भी अमेरिका का साथ दे …

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यरूशलम के स्वामित्व को लेकर फिर उपजा विवाद

यरूशलेम: इसराइलियों और फ़लस्तीनियों के पवित्र शहर यरूशलम को लेकर विवाद बहुत पुराना और ग़हरा है. यरूशलम इसराइल-अरब तनाव में सबसे विवादित मुद्दा है. ये शहर इस्लाम, यहूदी और ईसाई धर्मों में बेहद अहम स्थान रखता है. पैगंबर इब्राहीम को अपने इतिहास से जोड़ने वाले ये तीनों ही धर्म यरूशलम को अपना पवित्र स्थान मानते हैं. यही वजह है कि सदियों से मुसलमानों, यहूदियों और ईसाइयों के दिल में इस शहर का नाम बसता रहा है. हिब्रू भाषा में येरूशलायीम और अरबी में अल-कुद्स के नाम से जाना जाने वाला ये शहर दुनिया के सबसे प्राचीन शहरों में से एक है. यरूशलेम पर अपना-अपना स्वामित्व सिद्ध करने की लड़ाई भी बहुत पुरानी है, इसी कड़ी में अब जेरुसलम और फिलिस्तीन के ग्रैंड मुफ़्ती शेख मोहम्मद हुसैन ने एक निर्णय जारी किया है की जिसमे जेरूसलम में किसी भी प्रकार की संपत्ति की बिक्री पर रोक लगा दी है. उन्होंने कहा की "जेरूसलम और अल-अक्सा मस्जिद इस्लाम की देन है, जिन्हें बेचा नहीं जा सकता, यह हमें विरासत में मिला है और किसी को भी यह छोड़ने का अधिकार नहीं है. जेरूसलम और अल -अक्सा मस्जिद के कुछ भागों को अलग करना दुश्मनों के लिए मक्का और मदीना को त्याग करने जैसा है, मेम्बर ऑफ़ कमिटी फॉर द डिफेंस ऑफ़ लैंड एंड रियल एस्टेट , सिल्वान फाखरी अबू दिअद ने कहा की "इजराइल ने गैर-क़ानूनी तरीकों और धोखा बाजी करके क्षेत्र में जमीन के एक बड़े हिस्से में अपना कब्जा कर लिया है और जिसमे कुछ हिस्सा जमीन का बेच भी दिया है." आपको बता दें कि इजरायल की सरकार ने सिलवान के लगभग 13 प्रतिशत भाग पर कब्ज़ा कर लिया है, जिसमें 5,640 डूनम्स (5.6 वर्ग किलोमीटर) का क्षेत्र है, जो ज्यादातर अनुपस्थित संपत्ति कानून या विनियोग का उपयोग करते हैं.

  इसराइलियों और फ़लस्तीनियों के पवित्र शहर यरूशलम को लेकर विवाद बहुत पुराना और ग़हरा है. यरूशलम इसराइल-अरब तनाव में सबसे विवादित मुद्दा है. ये शहर इस्लाम, यहूदी और ईसाई धर्मों में बेहद अहम स्थान रखता है. पैगंबर इब्राहीम को अपने इतिहास से जोड़ने वाले ये तीनों ही धर्म यरूशलम को …

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उपवास के बहाने, पीएम आए शत्रु के निशाने

पटना : भाजपा के असंतुष्ट नेता शत्रुघ्न सिन्हा बजट सत्र के दूसरे चरण में संसद की कार्रवाई न चलने देने के विपक्ष के रवैये के खिलाफ भाजपा सांसदों के राष्ट्रव्यापी उपवास को लेकर पीएम मोदी पर निशाना साधा है. सिन्हा ने आरोप लगाया कि भाजपा ने खुद भी विपक्ष में रहने के दौरान संसद की कार्रवाई नहीं चलने दी थी. उल्लेखनीय है कि भाजपा के असंतुष्ट सांसद शत्रुघ्न सिन्हा अक्सर अपने बयानों या ट्वीट से चर्चा में बने रहते हैं. इस बार भी उन्होंने विपक्ष द्वारा संसद न चलने देने पर पार्टी द्वारा किए गए उपवास का उपहास करते हुए लगातार कई ट्वीट कर भाजपा और पीएम मोदी पर निशाना साधा. सिन्हा ने ट्वीट किया,कि “प्रधान सेवक, प्रधान रक्षक और प्रधान चौकीदार! क्या इस उपवास को वही समझाया जाए, जैसा कि आप पहले कहते थे, न खाऊंगा, न खाने दूंगा. बस दो चीजें आपसे पूछनी है? पहला कि अगर हमने उपवास रखा है तो इसे कैसे तोड़ेंगे? और दूसरा कि यह चाय पे चर्चा है या बिन मतलब के पकौड़े पे खर्चा?” आपको बता दें कि भाजपा के असंतुष्ट सांसद शत्रुघ्न सिन्हा ने पूछा कि संसद में गतिरोध के लिए क्या विपक्षी दल ही पूरी तरह से जिम्मेदार हैं? अपनी ही पार्टी की पोल खोलते हुए उन्होंने कहा कि हम लोग जब विपक्ष में थे, तो कई दिनों तक संसद की कार्रवाई नहीं चलने दी थी.विदेश यात्रा पर गए शत्रुघ्न ने इस मौके पर तत्कालीन नरसिंह राव सरकार में सूचना एवं दूरसंचार मंत्री रहे सुखराम और हिमाचल सरकार के मंत्री अनिल शर्मा के खिलाफ भ्रष्टाचार के मामले का जिक्र किया जिसमें भाजपा नेताओं के उस बयान का भी उल्लेख किया, कि सदन की कार्रवाई सुचारू रूप से चलाना पूरी तरह से सत्तापक्ष की जिम्मेदारी होती है. आज हमारा इस मामले में क्या रुख है, स्पष्ट करें.

भाजपा के असंतुष्ट नेता शत्रुघ्न सिन्हा बजट सत्र के दूसरे चरण में संसद की कार्रवाई न चलने देने के विपक्ष के रवैये के खिलाफ भाजपा सांसदों के राष्ट्रव्यापी उपवास को लेकर पीएम मोदी पर निशाना साधा है. सिन्हा ने आरोप लगाया कि भाजपा ने खुद भी विपक्ष में रहने के …

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आसिफा को इंसाफ पर महबूबा मुफ्ती की बीजेपी को चेतावनी

जम्मू कश्मीर : कठुआ में हुए मासूम आसिफा के साथ दुष्कर्म को लेकर मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कड़ा बयान देते हुए बीजेपी सरकार को चेतावनी दे दी है. उन्होंने कहा है कि कैबिनेट के मंत्री चंद्र प्रकाश और लालसिंह को अगर पद से नहीं हटाया गया तो इसका परिणाम गठबंधन को भुगतना होगा. दोनों मंत्रियों पर मासूम बच्ची से दुष्कर्म के आरोपियो का साथ देने का इल्जाम लगाते हुए सीएम ने खुले तौर पर सरकार को चेतावनी दी है. गौरतलब है कि महबूबा मुफ्ती ने अपनी सरकार में शामिल बीजेपी मंत्रियों और नेताओं लाल सिंह और चंदर प्रकाश सिंह के हिंदू एकता मंच की ओर से निकाली गई रैली में शामिल होने के लेकर भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से बात की. हिंदू एकता मंच ने रेप के आरोपियों और स्पेशल पुलिस ऑफिसर दीपक खजूरिया के खिलाफ पुलिस की कार्रवाई का विरोध किया था. इसके आलावा महिलाओं और बच्चियों पर लगातार हो रहे अत्याचारों के खिलाफ प्रदेश सरकार सख्त कदम उठाने जा रही है. पूरे देश को दहला देने वाले कठुआ गैंगरेप कांड पर जम्मू-कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कड़ा कानून बनाने का वादा किया है. गुरुवार रात महबूबा मुफ्ती ने ट्वीट कर बताया कि वे ऐसा सख्त कानून बनाएंगी, जिससे फिर कोई ऐसी हरकत न कर सके. महबूबा ने ट्वीट कर कहा कि मैं पूरे देश को भरोसा दिलाना चाहती हूं कि मैं न सिर्फ आसिफा को न्याय दिलाऊंगी, बल्कि ये भी तय करूंगी कि इस मामले में दोषी लोगों को ऐसी सजा हो जो एक सबक बने. हम एक और बच्ची के साथ ऐसा नहीं होने दे सकते. हम नया कानून लाएंगे, जिसमें नाबालिग बच्चियों से रेप के मामले में कम से कम मौत की सजा हो, ताकि फिर किसी और बच्ची के साथ आसिफा जैसी हैवानियत न हो. महबूबा मुफ्ती ने गुरुवार सुबह भी ट्वीट कर कहा था कि इस मामले में कानून अपना काम करेगा. जांच में पूरी प्रक्रिया का पालन किया जा रहा है. तेजी से जांच चल रही है और मामले में आसिफा को न्याय मिलेगा.महबूबा मुफ्ती ने इस मामले पर सोमवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की थी. मुफ्ती ने प्रधानमंत्री के साथ मुलाकात में इस बात पर चिंता जताई कि गैंगरेप की इस घटना ने राज्य में ध्रुवीकरण कर दिया है, जो सुरक्षा के लिहाज से बेहद चिंतित करने वाला है.

कठुआ में हुए मासूम आसिफा के साथ दुष्कर्म को लेकर मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कड़ा बयान देते हुए बीजेपी सरकार को चेतावनी दे दी है. उन्होंने कहा है कि कैबिनेट के मंत्री चंद्र प्रकाश और लालसिंह को अगर पद से नहीं हटाया गया तो इसका परिणाम गठबंधन को भुगतना होगा. …

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रोडरेज मामले में क्या बोले सिद्धू ?

नई दिल्ली : नवजोतसिंह सिद्धू की मुसीबतें कम होने का नाम ही नहीं ले रही हैं.पंजाब की कैप्टन अमरेंद्र सिंह सरकार द्वारा सुप्रीम कोर्ट में अपने ही कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू के ख़िलाफ़ रोडरेज एवं गैर-इरादतन हत्या मामले में 3 वर्ष की सजा बरकरार रखने का समर्थन किया है, जबकि वे खुद अमरेंद्र सिंह सरकार में कैबिनेट मंत्री हैं. इस विरोधाभास पर सिद्धू ने चुप्पी तोड़ी है. इस मामले में प्रेस से चर्चा करते हुए कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू ने कहा कि पंजाब सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में जो कुछ कहा है वह क्यों कहा है, उसका जवाब या तो खुद सी.एम या फिर पंजाब के एडवोकेट जनरल दे सकते हैं. आम आदमी पार्टी और अकाली दल द्वारा उनका इस्तीफा मांगने के प्रश्न का उत्तर देते हुए कहा कि विरोधी पक्ष की हालत बेगानी शादी में अब्दुल्ला दीवाना जैसी हो गई है. बता दें कि सिद्धू ने खुद को सक्षम बताते हुए कहा कि चूँकि मामला कोर्ट में है, इसलिए इस पर कोई टिप्पणी नहीं करूँगा.मैं यह नहीं बताऊंगा कि पंजाब सरकार के इस बयान से मैं खुश हूं या नाराज हूं यह 30 वर्ष पुराना मामला है.और इसे अंजाम तक पहुंचने में समय लग सकता है. सुप्रीम कोर्ट में अपने ही कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू के ख़िलाफ़ 3 वर्ष की सजा का कैप्टन अमरेंद्र सिंह द्वारा समर्थन करना सिद्धू से बढ़ती दूरियों की ओर इशारा कर रहा है.नई दिल्ली : नवजोतसिंह सिद्धू की मुसीबतें कम होने का नाम ही नहीं ले रही हैं.पंजाब की कैप्टन अमरेंद्र सिंह सरकार द्वारा सुप्रीम कोर्ट में अपने ही कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू के ख़िलाफ़ रोडरेज एवं गैर-इरादतन हत्या मामले में 3 वर्ष की सजा बरकरार रखने का समर्थन किया है, जबकि वे खुद अमरेंद्र सिंह सरकार में कैबिनेट मंत्री हैं. इस विरोधाभास पर सिद्धू ने चुप्पी तोड़ी है. इस मामले में प्रेस से चर्चा करते हुए कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू ने कहा कि पंजाब सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में जो कुछ कहा है वह क्यों कहा है, उसका जवाब या तो खुद सी.एम या फिर पंजाब के एडवोकेट जनरल दे सकते हैं. आम आदमी पार्टी और अकाली दल द्वारा उनका इस्तीफा मांगने के प्रश्न का उत्तर देते हुए कहा कि विरोधी पक्ष की हालत बेगानी शादी में अब्दुल्ला दीवाना जैसी हो गई है. बता दें कि सिद्धू ने खुद को सक्षम बताते हुए कहा कि चूँकि मामला कोर्ट में है, इसलिए इस पर कोई टिप्पणी नहीं करूँगा.मैं यह नहीं बताऊंगा कि पंजाब सरकार के इस बयान से मैं खुश हूं या नाराज हूं यह 30 वर्ष पुराना मामला है.और इसे अंजाम तक पहुंचने में समय लग सकता है. सुप्रीम कोर्ट में अपने ही कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू के ख़िलाफ़ 3 वर्ष की सजा का कैप्टन अमरेंद्र सिंह द्वारा समर्थन करना सिद्धू से बढ़ती दूरियों की ओर इशारा कर रहा है.

 नवजोतसिंह सिद्धू की मुसीबतें कम होने का नाम ही नहीं ले रही हैं.पंजाब की कैप्टन अमरेंद्र सिंह सरकार द्वारा सुप्रीम कोर्ट में अपने ही कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू के ख़िलाफ़ रोडरेज एवं गैर-इरादतन हत्या मामले में 3 वर्ष की सजा बरकरार रखने का समर्थन किया है, जबकि वे खुद …

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आप पार्टी ने जारी की दस उम्मीदवारों की सूची

राजस्थान : हालाँकि राजस्थान में अभी विधान सभा चुनाव होने में समय है, लेकिन आम आदमी ने विधान सभा चुनाव के लिए अपने दस उम्मीदवारों की सूची जारी कर इस मामले में अन्य दलों को पीछे छोड़ दिया है.कुमार विश्वास को प्रदेश प्रभारी पद से हटाए जाने के ठीक बाद जयपुर में इस सूची को प्रेस को जारी किया गया.आम आदमी पार्टी राजस्थान में 200 सीटों पर अपने उम्मीदवार खड़े करेगी . आपको बता दें कि आप पार्टी ने जिन 10 विधानसभा क्षेत्रों के उम्मीदवार की सूची जारी की है इन्हें एडवाइजरी कमेटी ने चयन किया है .इनमें भरतपुर से संजीव गुप्ता, डीग-कुम्हेर से मनु देव सिनसिनी, चित्तौड़गढ़ से गोपाल सिंह राठौड़, झोटवाड़ा से जुगल किशोर शर्मा, कुशलगढ़ से कपिल बरिया, लाडपुरा से एमपी चतर, भीलवाड़ा से सुनील अगिवाल, अंता से अशोकजैन मांगरोल, सूरतगढ़ से सत्य प्रकाश सिहाग और नवलगढ़ से विजेंद्र सिंह डोटासरा के नाम शामिल किए गए हैं.शीघ्र ही दूसरी सूची भी जारी की जाएगी. इन दस उम्मीदवारों के बारे में आम आदमी पार्टी ने बताया कि पहली सूची में वो सभी नाम है जो आंदोलन के समय से पार्टी से जुड़े रहे हैं. सभी उम्मीदवारों की शिक्षा का स्तर बेहद शानदार है एवं सभी साथी लगभग पिछले 10 सालों से सामाजिक जीवन में सक्रिय हैं.पार्टी को इन पर बहुत भरोसा है.बता दें कि आम आदमी पार्टी पंजाब के विधान सभा चुनाव में तो असफल रही , लेकिन राजस्थान में सत्ता पाने की कोशिश में है.इसलिए उसने समय पूर्व उम्मीदवार घोषित किए हैं.

हालाँकि राजस्थान में अभी विधान सभा चुनाव होने में समय है, लेकिन आम आदमी ने विधान सभा चुनाव के लिए अपने दस उम्मीदवारों की सूची जारी कर इस मामले में अन्य दलों को पीछे छोड़ दिया है.कुमार विश्वास को प्रदेश प्रभारी पद से हटाए जाने के ठीक बाद जयपुर में …

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लाभ का पद मामले की फिर सुनवाई करेगा चुनाव आयोग

नई दिल्ली : दिल्ली उच्च न्यायालय द्वारा लाभ के पद मामले में विधायकों की विधानसभा सदस्यता रद्द करने की आयोग की सिफारिश को अमान्य करने के बाद चुनाव आयोग आम आदमी पार्टी (आप) के 20 विधायकों के खिलाफ ‘लाभ के पद ’ के मामले में चुनाव आयोग आगामी 17 मई से फिर से सुनवाई शुरू करेगा. आपको बता दें कि दिल्ली उच्च न्यायालय ने इस मामले में लाभ के पद का दोषी बताते हुए आप विधायकों की विधानसभा सदस्यता रद्द करने की आयोग की सिफारिश को अमान्य करते हुए आयोग से इस मामले की फिर से सुनवाई करने के निर्देश दिए थे. इसके बाद अब चुनाव आयोग 17 मई से फिर से सुनवाई शुरू करेगा.आज शुक्रवार को सुनवाई के बारे में सूचित करते हुए चुनाव आयोग ने 17 मई को अपना पक्ष रखने के लिए स्वयं या अपने वकील के माध्यम से पेश होने को कहा है.इस मामले में आयोग ने शीर्ष अदालत में अपील नहीं करते हुए सुनवाई का मौका दिया है . गौरतलब है कि इस मामले में आप विधायकों ने दिल्ली उच्च न्यायालय में याचिका लगाकर दलील दी थी कि आयोग द्वारा पिछले साल मार्च में उन्हें अपना पक्ष रखने का मौका नहीं दिया गया .जबकि आयोग ने खंडन कर सभी पक्षकार विधायकों को लिखित जवाब देने के लिए दो बार मौका देने की बात कही थी.मार्च 2015 में मंत्रियों के संसदीय सचिव नियुक्त किए गए आप विधायकों की नियुक्ति को सितंबर 2016 में दिल्ली उच्च न्यायालय ने अमान्य घोषित कर दिया था.

 दिल्ली उच्च न्यायालय द्वारा लाभ के पद मामले में विधायकों की विधानसभा सदस्यता रद्द करने की आयोग की सिफारिश को अमान्य करने के बाद चुनाव आयोग आम आदमी पार्टी (आप) के 20 विधायकों के खिलाफ ‘लाभ के पद ’ के मामले में चुनाव आयोग आगामी 17 मई से फिर से …

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घोटाला: अब दिल्ली सरकार ने पी एक करोड़ की चाय

दिल्ली : हाल ही में महाराष्ट्र सरकार का चाय का बजट ने सबको चौकाया था. सूचना के अधिकार अधिनियम के तहत यह खुलासा हुआ है अब ऐसा ही एक घोटाला दिल्ली सरकार भी कर बैठी है. केजरीवाल सरकार ने पिछले 3 सालों में चाय पानी पर 1 करोड़ 3 लाख 4 हजार 162 रुपये खर्च कर डाले हैं. यही नहीं दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने पिछले 3 सालों में 56 हवाई दौरे किए जिनका खर्च 11.99 लाख रुपये आया. गौरतलब है कि इससे पहले कांग्रेस पार्टी ने पिछले महीने महाराष्ट्र सरकार पर आरोप लगाया था कि मुख्यमंत्री कार्यालय (सीएमओ) में रोजाना 18,500 कप चाय की खपत है. मुंबई कांग्रेस के अध्यक्ष संजय निरुपम ने सूचना का अधिकार (आरटीआई) का हवाला देते हुए कहा कि पिछले तीन साल में सीएमओ में चाय की खपत पर खर्च में भारी वृद्धि हुई है. आरटीआई से मिली जानकारी के अनुसार, 2017-18 में सीएमओ में 3,34,64,904 रुपये की चाय पी गई, जबकि 2015-16 में करीब 58 लाख रुपया इस पर खर्च किया गया था. आरटीआई एक्टिविस्ट हेमंत गोनिया के मुताबिक दिल्ली के मुख्यमंत्री ने जनता की गाढ़ी कमाई का दुरुपयोग किया, जबकि सरकार बनने से पहले उन्होंने जनता से वादा किया था कि वे जनता के साथ मिलकर काम करेंगे, लेकिन ऐसा कुछ भी नहीं हुआ. दिल्ली के मुख्यमंत्री जब 3 साल में 1 करोड़ रुपये से ज्यादा चाय पानी पर खर्च कर सकते हैं. वैसे भी दिल्ली की राजनीति में आने के बाद आम आदमी पार्टी और उसके प्रमुख अरविन्द केजरीवाल जनता के बीच काम से ज्यादा विवादों के कारण चर्चा में रहे है. तीन साल के कार्यकाल मे विवाद से लागातार घिरे रहना ही आप की सरकार की खासियत रही, विधायकों की कारस्तानिया, बागी तेवर, केजरीवाल का आरोप लगाकर माफ़ी मांगते फिरना या थप्पड़ कांड और उस पर अब एक करोड़ की चाय. जनता सब देख रही है और अब समझ भी रही है. संभव है कि ये एक करोड़ की चाय केजरीवाल के बुरे दिन की शुरुआत में अहम भूमिका निभा दे.

हाल ही में महाराष्ट्र सरकार का चाय का बजट ने सबको चौकाया था. सूचना के अधिकार अधिनियम के तहत यह खुलासा हुआ है अब ऐसा ही एक घोटाला दिल्ली सरकार भी कर बैठी है. केजरीवाल सरकार ने पिछले 3 सालों में चाय पानी पर 1 करोड़ 3 लाख 4 हजार …

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अंबेडकर जयंती: देश के पहले हेल्थ वेलनेस सेंटर का उद्घाटन

दूसरी ओर प्रधानमंत्री मोदी की आम सभा में भीड़ ना जुट सके, इसके लिए नक्सलियों ने एड़ी चोटी का जोर लगा दिया है. हथियार बंद नक्सली दिन रात गांव कस्बो का रुख कर रहे है. वो वहां बंदूक की नोक पर ग्रामीणों को प्रधानमंत्री की सभा में ना जाने देने के लिए ताकीद कर रहे हैं. नक्सली गांव-गांव में खुफिया बैठकें ले रहे हैं और गांववालों को पीएम मोदी की सभा में नहीं जाने की चेतावनी दे रहे हैं.

अंबेडकर जयंती के मौके पर ‘आयुष्मान भारत’ के तहत देश के पहले हेल्थ वेलनेस सेंटर का आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उद्घाटन करेंगे. इसके साथ ही ग्राम स्वराज अभियान और आदिवासियों से जुड़ी विभिन्न परियोजनाओं की भी शुरुआत करेंगे. छत्तीसगढ़ के बीजापुर में प्रधानमंत्री के आगमन को लेकर शहरों से लेकर …

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अंबेडकर जयंती: संविधान निर्माता बाबा साहेब अंबेडकर को शत-शत नमन

14 अक्टूबर, 1956 को नागपुर में अंबेडकर ने खुद और उनके समर्थकों के लिए एक औपचारिक सार्वजनिक समारोह का आयोजन किया. अंबेडकर ने एक बौद्ध भिक्षु से पारंपरिक तरीके से तीन रत्न ग्रहण और पंचशील को अपनाते हुये बौद्ध धर्म ग्रहण किया. 1948 से अंबेडकर मधुमेह से पीड़ित थे. जून से अक्टूबर 1954 तक वो बहुत बीमार रहे इस दौरान वो नैदानिक अवसाद और कमजोर होती दृष्टि से ग्रस्त थे. 6 दिसंबर 1956 को अंबेडकर जी की मृत्यु हो गई.

भारत को संविधान देने वाले महान नेता डा. भीम राव अंबेडकर का जन्म 14 अप्रैल 1891 को मध्य प्रदेश के एक छोटे से गांव महू में हुआ था. डा. भीमराव अंबेडकर के पिता का नाम रामजी मालोजी सकपाल और माता का भीमाबाई था. अपने माता-पिता की चौदहवीं संतान के रूप …

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