पेट्रोल-डीजल की ऊंची कीमतों को लेकर हो रहे हंगामे के बीच केंद्रीय पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि केंद्र सरकार लोगों को राहत देने के लिए राज्यों से पेट्रोल और डीजल पर वैट में कटौती करने की अपील कर रही है।
प्रधानमंत्री द्वारा बुलाए गए राष्ट्रव्यापी ‘सामाजिक न्याय पखवाड़ा’ समारोहों के हिस्से के रूप में कई सरकारी योजनाओं का जायजा लेने के लिए पुरी छत्तीसगढ़ पहुंचे थे। वे एक ‘आकांक्षी जिले’ के रूप में नामित महासमुंद की एक दिवसीय यात्रा पर थे। पत्रकारों द्वारा पेट्रोल और डीजल की बढ़ती कीमतों के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि हमारा प्रयास कीमतों को नियंत्रण में रखना है, इसलिए केंद्र ने पिछले साल पेट्रोल और डीजल पर उत्पाद शुल्क घटाया और राज्य सरकार से ऐसा करने के लिए कहा।
उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ में वैट 24 फीसदी है और अगर इसे घटाकर 10 फीसदी किया जाए तो कीमतें अपने आप कम होंगी। पुरी ने कहा कि सभी भाजपा शासित राज्यों ने पेट्रोल और डीजल पर वैट कम किया है। उन्होंने बताया कि पटेवा गांव में एक प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र (पीएचसी) का दौरा किया और आयुष्मान भारत योजना के कार्यान्वयन को देखकर खुश थे।
मंत्री ने महासमुंद मेडिकल कालेज का भी दौरा किया, जहां से वह जिला पंचायत कार्यालय गए और आकांक्षी जिला कार्यक्रम के तहत किए जा रहे कार्यो की समीक्षा के लिए अधिकारियों के साथ बैठक की अध्यक्षता की। बैठक में महासमुंद कलेक्टर नीलेश कुमार क्षीरसागर ने योजनाओं की जानकारी दी। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने पुरी के दौरे को राजनीतिक करार दिया और बस्तर क्षेत्र के नक्सल प्रभावित जिलों को दिए जाने वाले विशेष कोष को ‘रोकने’ के लिए केंद्र की आलोचना की। केंद्र सरकार आकांक्षी जिलों को कोई अतिरिक्त धनराशि नहीं दे रही है। यहां तक कि बस्तर क्षेत्र के नक्सल प्रभावित जिलों को 2021 तक प्रतिवर्ष दी जाने वाली 50 करोड़ रुपये की विशेष निधि को भी रोक दिया गया है। ये जिले आकांक्षी जिले भी हैं।