भारत त्योहारों का देश है और यहां साल में हर महीने किसी न किसी तरह के त्योहार पड़ते रहते हैं। महीने में दो बार तो पूर्णिमा और अमावस्या के अलावा एकादशी का भी महत्व है, जिसमें घर में पूजा और व्रत होते हैं। इसके अलावा विशेष और बड़े त्योहार से घर में लोग उत्साहित रहते हैं। भारत में कई तरह की संस्कृति और रिवाज है। इसलिए हर मौसम में पड़ने वाला त्योहार अलग-अलग राज्यों में बदल जाता है। उसका महत्व और बनाने का उद्देश्य वही रहता है बस तरीके में थोड़ा बदलाव होता है। मकर संक्रांति ऐसा ही पर्व है। यह सूर्य के मकर राशि में प्रवेश करने पर मनाया जाता है। इस समय नई फसल और मौसम में भी बदलाव होता है। आइए जानते हैं दक्षिण व अन्य राज्य में इसे कैसे मनाते हैं।
दक्षिण में मनाते हैं पोंगल
तमिलनाडु में संक्रांति के समय ही पोंगल नाम से त्यौहार मनाया जाता है। यह वहां का काफी विशेष त्योहार है जिसे लोग धूमधाम से मनाते हैं और काफी तैयारी करते हैं। यह चार दिन तक चलने वाला त्योहार है और इसमें भगवान इंद्र की पूजा करते हैं लोग। लोग मानते हैं कि इंद्र की पूजा करने से फसल अच्छी होगी। त्योहार में दूसरे दिन लोग सूर्य, उसके बाद तीसरे दिन मातृ और चौथे दिन कन्या की पूजा कर इसे मनाते हैं। यह काफी खास त्योहार है जो भोंगी यानी पहले इंद्र देव की पूजा के साथ शुरू हो जाता है।
हर राज्य में अलग त्योहार
जैसे पोंगल मनाते हैं तमिलनाडू में वैसे ही पंजाब में लोहड़ी, महाराष्ट्र में संक्रांत, गुजरात और उत्तराखंड में उत्तरायण, यूपी और बिहार में इसे खिचड़ी पर्व के नाम से मनाते हैं। हर राज्य में थोड़ा अलग नाम है लेकिन सभी ठंड के असर कम होने और फसल के आने की खुशी में यह त्योहार मनाते हैं। तमिलनाडु में यह त्योहार 14 जनवरी को होगा और पूजा सुबह 2 बजकर 12 मिनट से होगी। पंजाब में तो लोग नाज गाकर खुशी मनाते हैं। कुछ अन्य राज्यों में फसल और पकवान से अच्छा बनाते हैं।
GB Singh
TOS News Latest Hindi Breaking News and Features