विश्व के तीसरे स्थान के खिलाड़ी स्टेफानोस सित्सिपास को सोमवार के दिन विंबलडन 2021 से फ्रांसेस टियाफो ने बाहर का रास्ता दिखा दिया। टियाफो ने टेनिस के तीन सेट्स में 6-4, 6-4 व 6-3 स्कोर से स्टेफानोस को हरा दिया। बता दें कि टियाफो की वर्ल्ड लेवल पर 57वीं रैंक है। ये मैच उनके करियर के लिए सबसे बड़ा और महत्वपूर्ण साबित हुआ। इससे भी ज्यादा खास बात ये है कि जिस टेनिस कोर्ट पर उन्होंने विश्व के तीसरे स्तर के खिलाड़ी को हराया, वहां पर उनके पिता काम किया करते थे। ये जीत उनके करियर की ही नहीं बल्कि उनके निजी जीवन की भी जीत साबित हुई है। तो चलिए जानते हैं उनका और उनके पिता का संघर्ष जो उन्हें इस मुकाम तक ले आया है।
 इससे भी ज्यादा खास बात ये है कि जिस टेनिस कोर्ट पर उन्होंने विश्व के तीसरे स्तर के खिलाड़ी को हराया, वहां पर उनके पिता काम किया करते थे। ये जीत उनके करियर की ही नहीं बल्कि उनके निजी जीवन की भी जीत साबित हुई है। तो चलिए जानते हैं उनका और उनके पिता का संघर्ष जो उन्हें इस मुकाम तक ले आया है।
 इससे भी ज्यादा खास बात ये है कि जिस टेनिस कोर्ट पर उन्होंने विश्व के तीसरे स्तर के खिलाड़ी को हराया, वहां पर उनके पिता काम किया करते थे। ये जीत उनके करियर की ही नहीं बल्कि उनके निजी जीवन की भी जीत साबित हुई है। तो चलिए जानते हैं उनका और उनके पिता का संघर्ष जो उन्हें इस मुकाम तक ले आया है।
 इससे भी ज्यादा खास बात ये है कि जिस टेनिस कोर्ट पर उन्होंने विश्व के तीसरे स्तर के खिलाड़ी को हराया, वहां पर उनके पिता काम किया करते थे। ये जीत उनके करियर की ही नहीं बल्कि उनके निजी जीवन की भी जीत साबित हुई है। तो चलिए जानते हैं उनका और उनके पिता का संघर्ष जो उन्हें इस मुकाम तक ले आया है।3रे नंबर के खिलाड़ी को हराया 57वीं रैंक वाले ने
बता दें कि स्टेफानोस को इसी महीने की 13 तारीख को नोवाक जोकोविच ने फ्रेंच ओपन में हराया था। बड़ी बात ये है कि विश्व के तीसरे नंबर के खिलाड़ी होने के बावजूद वो साल 2019 में भी टूर्नामेंट से जल्दी ही बाहर हो गए थे। इस बार दुनिया में 57वीं रैंक वाले टियाफो ने उन्हें विंबलडन 2021 से भी बाहर कर दिया है।
इस तरह स्टेफानोस को किया टूर्नामेंट से बाहर
टियाफो ने गेम के शुरुआत में ही उनकी सर्विस तोड़ दी थी। उन्होंने स्टेफानोस का टोन वहीं पर तोड़ दिया और इससे उनका उनका आत्मविश्वास भी डगमगा गया। स्टेफानोस के दो ब्रेकप्वाॅइंट बचाने के बाद दूसरे सेट की बात करें तो टियाफो उसमें उनसे 5-4 से आगे रहे। इसके साथ ही तीसरे सेट की शुरुआत में ही उन्होंने स्टेफानोस की सर्विस फिर से तोड़ दी थी। इसके बाद स्टेफानोस लय नहीं पकड़ पाए और तीसरा सेट भी टियाफो के नाम ही रहा। इस प्रकार टियाफो मैच विनर बने और जीवन का सबसे बड़ा व अहम मुकाबला जीत गए।
जिस कोर्ट पर जीता मैच, पिता वहीं करते थे काम
बता दें कि टियाफो ने अपने जीवन में काफी संघर्ष किया है। उनके पिता ने इस संघर्ष में टियाफो का बखूबी साथ दिया है। वे सिएरा लियोन के अप्रवासी रहे हैं। वहीं उनके पिता टेनिस कोर्ट पर काम करके घर की गुजर-बसर करते थे। टियाफो अपने पिता के साथ वहां जाया करते थे और वहां पर टेनिस की प्रैक्टिस भी करते थे। वे दीवार पर टेनिस से गेंद हिट करते और बार-बार ऐसा करके प्रैक्टिस करते रहते। उनकी मां की बात करें तो वो एक नर्स थीं। मैच जीतने के बाद टियाफो ने बताया कि उनके माता-पिता इस जीत के लिए और उन्हें यहां तक पहुंचाने के लिए उनके जीवन की अहम कड़ी रहे हैं। टियाफो के मुताबिक उनके घर की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं रहती थी और उस हालत को ठीक करने के लिए उनके माता-पिता दोनों ने ही काफी मेहनत की है। इस जीत के पीछे टियाफो ही नहीं उनके मां-बाप का भी संघर्ष है।
ऋषभ वर्मा
 TOS News Latest Hindi Breaking News and Features
TOS News Latest Hindi Breaking News and Features
				 
		
		 
						
					 
						
					