केरल: जम्मू संभाग के कठुआ जिले में हुए 8 साल की मासूम के साथ हुए गैंगरेप के हत्या की घटना ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। बच्ची को इंसाफ दिलाने के लिए देश भर के लोग सोशल मीडिया से लेकर सड़क पर उतर कर उसके लिए न्याय की मांग की।

वहीं दरिंदगी का शिकार हुई पीडि़त बच्ची के प्रति सहानभूति जताते हुए केरल के एक युवक ने अपनी नवजात बेटी का नाम कठुआ पीडि़ता के नाम पर रख कर एक मिसाल कायम की है। दूसरे समुदाय से ताल्लुक रखने के बावजूद उन्होंने पीडि़ता के नाम को स्वीकार किया और अपनी नवजात बेटी को वो नाम दिया।
इस युवक की पहचान रजित राम के तौर पर हुई है। उन्होंने सोशल मीडिया के जरिए इस बात की जानकारी दी। जहां लोगों ने उनके इस कदम को खूब सराहा और उनके पोस्ट को अब तक हजारों की तदात में लोगों ने लाइक और शेयर किया है। लोगों को कहना है कि इससे समाज में एक अच्छा मैसेज जाएगा।
गौरतलब है कि जनवरी में हुए इस केस में पुलिस ने जब चार्जशीट तैयार करके पेश किया तो उनमें दर्ज एक एक बातें हैरान करने वाली थी। बकरवाल समुदाय की बच्ची के साथ जहां तीन दिन तक रेप की बात सामने आई वहीं पत्थर से कुचल कर उसकी हत्या करने की बात भी चार्जशीट में दर्ज है।
हालांकि जम्मू बार एसोसिएशन ने क्राइम ब्रांच की चार्जशीट पर सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने कई ऐसे प्रश्न मीडिया के सामने पेश किए जो चार्जशीट की कहानी से मेल नहीं खाते हैं। फिलहाल ये पूरा कोर्ट में हैं।
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