अरब सागर में चक्रवातीय तूफान ने रंग दिखाना शुरू कर दिया है। जम्मू-कश्मीर के ऊपर बना पश्चिमी विक्षोभ तिब्बत की ओर बढऩे लगा है। पंजाब से लेकर पूर्वी उत्तर प्रदेश होते हुए एक निम्न वायुदाब क्षेत्र छत्तीसगढ़ तक बना हुआ है। इसके अलावा पुरवा हवाएं नमी लेकर पूर्वी उत्तर प्रदेश तक निरंतर पहुंच रही हैं। इन वायुमंडलीय परिस्थितियों की वजह से गुरुवार से पूर्वी उत्तर प्रदेश में तेज हवा के साथ गरज-चमक के बीच बारिश का जो सिलसिला शुरू होगा, वह रुक-रुक कर तीन से चार दिन तक जारी रह सकता है।
शुरू हुई बूंदाबादी
इस बीच गुरुवार को गोरखपुर और आसपास के जिलों हल्की बूंदाबांदी शुरू हो गई। दोपहर से आसमान में बादल छाए रहे। कई स्थानों पर तेज हवा के साथ हल्की बारिश भी हुई।
पूर्वी उत्तर प्रदेश के 70 फीसद स्थान पर होने का पूर्वानुमान
मौसम विशेषज्ञ कैलाश पांडेय ने बताया कि एक अध्ययन के मुताबिक यह बारिश पूर्वी उत्तर प्रदेश के 70 फीसद स्थान पर होने का पूर्वानुमान है। वातावरण में अत्यधिक नमी होने की वजह से आसमान में बादल लगातार जमे रहेंगे। ऐसे में तापमान में बढ़ोत्तरी तो नहीं होगी, लेकिन बादलों और धूप के जद्दोजहद में हीट इंडेक्स बढ़ा रहेगा। इससे रिकार्ड तापमान से पांच से छह डिग्री सेल्सियस का अहसास लोगों को होगा। उमस भरी गर्मी लोगों को बेचैन करेगी। बुधवार को पूरे दिन आसमान में बादल जमे रहे और उमस भरी गर्मी पड़ती रही। बुधवार को अधिकतम तापमान तो 36 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया, लेकिन हीट इंडेक्स की वजह से लोगों को 43 डिग्री सेल्सियस की गर्मी का अहसास हुआ। बुधवार को आद्र्रता का प्रतिशत 43 से 83 प्रतिशत के बीच रहा।
बन रहा एक और पश्चिमी विक्षोभ
मौसम विशेषज्ञ बताते हैं कि जम्मू कश्मीर के ऊपर बने वर्तमान में बने पश्चिमी विक्षोभ के अलावा एक और पश्चिमी विक्षोभ बन रहा है। जिसके छह जून के बाद सक्रिय होने की संभावना है। यह पश्चिमी विक्षोभ सात जून से एक बार फिर गरज चमक के बीच बाशि की वजह बनेगा। यह सिलसिला भी दो से तीन दिन तक चल सकता है।