इन दिनों टोक्यो पैराओलंपिक का खुमार लोगों के सिर चढ़ कर बोल रहा है। खास बात ये है कि इसमें कई खिलाड़ियों ने हिस्सा लिया है, कुछ खाली हाथ लौटे हैं तो कुछ के हाथ पदक लगा है। वहीं अब एक अजीबो–गरीब मामला पैराओलंपिक से सामने आ रहा है। दरअसल एक खिलाड़ी को खेल में जीत हासिल करने पर गोल्ड मेडल मिला तो पर 3 मिनट की देरी से आने पर उनसे उनके खिताब को छीन लिया गया। आइए जानते हैं कि पैराओलंपिक कमेटी ने आखिर ऐसा क्यों किया और ये वाक्या किस खिलाड़ी के साथ हुआ है।
कुछ खिलाड़ियों को लेट होने पर नहीं लेने दिया हिस्सा
इन दिनों पैराओलंपिक के चर्चे हर तरफ हो रहे हैं। ऐसे में एक अजीब बात निकल कर सामने आई है। दरअसल ओलंपिक के कुुछ खेलों में कुछ खिलाड़ी जरा देरी से पहुंचे जिस वजह से उन्हें खेल का हिस्सा नहीं बनने दिया गया। हालांकि ओलंंपिक जैसे बड़े मैदान पर भला कौन खिलाड़ी देरी से पहुंचना चाहेगा, हो सकता है कोई जरूरी वजह रही हो पर उनसे बिना कोई पूछताछ किए आईपीसी ने उन्हें खेल खेलने से ही रोक दिया। पैराओलंपिक की शाॅटपुट के एक प्रतियोगी को अपना गोल्ड मेडल त्याग कर इसका खामियाजा भुगतना पड़ा है।
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देरी से आने पर वापस मांगा गया गोल्ड मेडल
मलेशिया की ओर से शाॅटपुट खिलाड़ी जियाद जोल्केफ्ली जब वहां भाग लेने के लिए आए तब उन्हें 3 मिनट देर हो चुकी थी। बता दें कि प्रतियोगिता में 3 मिनट देरी से पहुंचना उनके लिए काल हो गया। मंगलवार को हो रही शाॅटपुट की प्रतियोगिता में देरी से पहुंचने पर इंटरनेशनल पैराओलंपिक कमेटी यानी की आईपीसी के प्रवक्ता क्रेग स्पेंस ने एक फैसला लिया। उन्होंने देरी से पहुंचे खिलाड़ियों को खेल का हिस्सा नहीं बनने दिया। उन्होंने खिलाड़ियों से देरी से पहुंचने की वजह तक नहीं पूछी, बस ये फैसला ले लिया। खास बात तो ये है कि शाॅटपुट में जियाद ने गोल्ड मेडल जीता था। हालांकि मामले की जांच के बाद रेफरी ने कहा कि देरी से आने का कोई बहाना नहीं सुना जाएगा। इसके साथ ही जियाद का गोल्ड मेडल भी वापस ले लिया गया।
ऋषभ वर्मा