कारगिल युद्ध के 18 साल हो चुके हैं. इस युद्ध में मिली जीत की याद में हर साल 26 जुलाई को पूरे देश में कारगिल दिवस धूमधाम से मनाया जाता है. इसी अवसर पर आज लखनऊ में कारिगल के शूरवीरों के याद में बनाए गई शहीद स्मृति वाटिका में राज्य के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और राज्यपाल रामनाईक ने श्रद्धांजलि दी. इस दौरान योगी आदित्यनाथ ने इस बात की भी घोषणा की कि लखनऊ सैनिक स्कूल अब शहीद मनोज पांडे के नाम से जाना जाएगा. उन्होंने यह भी कहा कि संस्थानों के नाम शहीद जवानों के नाम पर होंगे.
– कारगिल के जवानों के घर तक पहुंचने का काम भारत सरकार ने किया.
– भारत ने 2 दुकड़े कर दिए थे पाकिस्तान के 3 टुकड़े न हो जाएं इसलिए अमेरिका गया था पाकिस्तान.
– देश स्वधीनता का दिवस अगर आज मना रहा है तो कारगिल विजय दिवस इसी का महत्वपूर्ण पड़ाव है.
– हर नगर निगम को वीर सपूतों की स्थली बनाई जानी चाहिए. जिससे लोगों मे भावना महापुरुषों के प्रति पैदा हो सके.
– पहले लोग सेना में जाते थे अब लोग मल्टीनेशनल कंपनी में जाने को प्राथिमकता देते हैं.
– हमारा एक धर्म होना चाहिए वह है राष्ट्र धर्म.
– यूपी सरकार देश की सीमाओं पर रक्षा करता हुआ जवान के नाम से किसी ना किसी संस्था का नाम जरूर देगी.
– लखनऊ के सैनिक स्कूल का नाम कैप्टन मनोज पांडेय होगा.
– देश की सीमाओं पर रक्षा करने वाले शहीद के नाम पर किसी ना किसी संस्था का नाम रखा जाएगा.
कारगिल विजय दिवस के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जवानों को सलाम किया. पीएम ने ट्वीट कर लिखा कि हमारे देश की रक्षा और गर्व के लिए जवानों ने लड़ाई लड़ी, हमें जवानों पर गर्व है. इस मौके पर दिल्ली में इंडिया गेट में रक्षा मंत्री अरुण जेटली की अगुवाई में सेना के तीनों अंगो के प्रमुख कारगिल जंग में शहीद हुए बहादुर जवानों को श्रद्धांजलि दी. कारगिल के द्रास में सेना के उत्तरी कमान के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल देवराज अनबू के साथ शहीद हुए जवानों के परिवार वालों करगिल के रण बांकुरों को अपना श्रद्धा सुमन अर्पित किए.
आपको याद दिला दें कि पाकिस्तानी घुसपैठ का जवाब देने उतरी भारतीय फौज ने दुश्मनों को करारी शिकस्त दी थी. इस जंग के 18 साल हो गए हैं. 26 जुलाई 1999 को ही भारतीय सेना ने कारगिल में तिरंगा फहराया था तब से हर साल इस दिन को कारगिल विजय दिवस के तौर पर मनाया जाता है.