मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की पुरानी मांग है कि बिहार को विशेष राज्य का दर्जा दिया जाए. अब इसी को लेकर आरजेडी नेता तेजस्वी यादव ने नीतीश को पत्र लिखा है. आम बजट में बिहार की अनदेखी को लेकर तेजस्वी यादव ने अपने पत्र में कहा है कि वर्तमान बिहार सरकार लोगों को यह कहकर भ्रमित कर रही है कि केंद्र और राज्य में एक ही गठबंधन की सरकार होने से विकास को गति मिलेगी मगर ऐसा कुछ भी नहीं हो रहा है.
मुख्यमंत्री को लिखे पत्र में तेजस्वी ने कहा है कि वर्तमान राज्य सरकार के अनुसार राज्य में डबल इंजन की सरकार है लेकिन इस नई सरकार के गठन के बाद अब तक सिर्फ अपराध की घटनाओं को ही डबल इंजन मिला है. तेजस्वी ने कहा कि केंद्र और राज्य सरकार किन्हीं अज्ञात वजहों से किसी प्रकार का कोई तालमेल नहीं बना पा रही है.
गठबंधन में पिसी जनता
तेजस्वी ने कहा कि गठबंधन में भाजपा और जदयू के नेता एक दूसरे पर राजनीतिक वर्चस्व स्थापित करने की कोशिश कर रहे हैं और इस मंशा के बीच बिहार की जनता पिस रही है. तेजस्वी ने नीतीश पर आरोप लगाया कि भाजपा के साथ सरकार बनाने के बावजूद वह केंद्र सरकार से बिहार को कुछ भी नहीं दिलवा पाए, ना विशेष राज्य का दर्जा, ना विशेष पैकेज और ना ही बाढ़ राहत के नाम पर राशि.
तेजस्वी ने कहा कि 2015 विधानसभा चुनाव के दौरान नीतीश कुमार बिहार की जनता को अपनी सभाओं में प्रधानमंत्री की वादाखिलाफी की रिकॉर्डिंग सुनाया करते थे लेकिन अब भाजपा के साथ सरकार बना लेने के बाद नीतीश कुमार को चाहिए था कि वह अनुसार 15-15 लाख रुपए सभी लोगों के खाते में डलवा दें.
अधिकार रैली क्यों नहीं?
नीतीश पर तंज कसते हुए तेजस्वी यादव ने अपने पत्र में लिखा कि बिहार को विशेष राज्य का दर्जा दिलाने के लिए उन्होंने अधिकार रैली का भी आयोजन किया था लेकिन अब वह बिहार को विशेष राज्य का दर्जा दिलाने के लिए अधिकार रैली का आयोजन क्यों नहीं कर रहे हैं?
तेजस्वी ने नीतीश कुमार से कहा कि उन्हें हिम्मत जुटानी चाहिए और आम बजट में बिहार की जो अनदेखी हुई है उसके खिलाफ आवाज उठानी चाहिए. तेजस्वी ने कहा कि अगर विशेष राज्य का दर्जा दिलाने के नीतीश कुमार असफल रहते हैं तो बिहार की जनता यह जान जाएगी की विशेष राज्य की मांग करना उनका राजनीति साधने का एक काल्पनिक दावा और सिर्फ जुमला था.