गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री शंकर सिंह वाघेला ने “जन विकल्प” पार्टी में शामिल हो गए हैं। जन विकल्प पार्टी उनके एक समर्थक की बनाई गई पार्टी है। बता दें कि शंकर सिंह वाघेला भाजपा और कांग्रेस दोनो की पार्टियों के वरिष्ठ नेता रहे हैं।अभी-अभी: मालेगांव ब्लास्ट मामले में NIA की विशेष अदालत ने दो और आरोपियों को दी जमानत
इसी वर्ष जुलाई में शंकर सिंह ने खुद को कांग्रेस से अलग कर लिया था। करिश्माई नेता के रूप में पॉपुलर वाघेला की गुजरात में बड़ा जन समर्थन प्राप्त था और पहचान भी रही है।
वाघेला ने राष्ट्रपति चुनाव के नतीजा आने के ठीक एक दिन पहले गुजरात की राजनीति में इस्तीफा देकर बड़ा उलटफेर किया था। अपने इस्तीफे की घोषणा में वाघेला ने कांग्रेस के लिए विनाश काले विपरीत बुद्धि कहावत भी कही थी। राजनीतिक हलकों में यह हलचल थी कि वाघेला जल्द ही भाजपा में शामिल हो जाएंगे लेकिन वाघेला ने ऐसा नहीं किया।
बहरहाल बता दें कि गुजरात में वाघेला को बापू के नाम से भी पुकारा जाता है और उनका अपना एक बड़ा जनाधार रहा है। हालांकि पिछले कुछ चुनावों के दौरान, चाहे वो बीजेपी से या फिर कांग्रेस से लड़ रहे हों वो हमेशा नाराज ही सुनाई और दिखाई देते रहे हैं। अब देखना ये है कि जन विकल्प पार्टी में वे कितने दिनों तक जुड़े रहते हैं।
वाघेला की पल पल बदलती राजनीति से उनकी शाख गिरी है। उन्होंने राष्ट्रपति चुनाव के नतीजा आने के ठीक एक दिन पहले गुजरात की राजनीति में इस्तीफा देकर बड़ा उलटफेर किया था। अपने इस्तीफे की घोषणा में वाघेला ने कांग्रेस के लिए विनाश काले विपरीत बुद्धि कहावत भी कही थी। राजनीतिक हलकों में यह हलचल थी कि वाघेला जल्द ही भाजपा में शामिल हो जाएंगे लेकिन वाघेला ने ऐसा नहीं किया।
बहरहाल बता दें कि गुजरात में वाघेला को बापू के नाम से भी पुकारा जाता है और उनका अपना एक बड़ा जनाधार रहा है। हालांकि पिछले कुछ चुनावों के दौरान, चाहे वो बीजेपी से या फिर कांग्रेस से लड़ रहे हों वो हमेशा नाराज ही सुनाई और दिखाई देते रहे हैं। अब देखना ये है कि जन विकल्प पार्टी में वे कितने दिनों तक जुड़े रहते हैं।