हमेशा से कश्मीर में संवैधानिक परिवर्तन की मांग करने वाली भाजपा को कश्मीर में सहयोगी पार्टी पीडीपी की सीएम मेहबूबा मुफ़्ती के कल के बयान ने मुश्किल में डाल दिया है. इस बयान से गठबंधन के भविष्य पर सवाल खड़ा हो गया है.जम्मू-कश्मीर की सीएम महबूबा मुफ्ती ने कहा है कि राज्य को मिले विशेषाधिकारों पर कोई समझौता नहीं होगा. सूबे के संवैधानिक दर्जे से छेड़छाड हुई तो कश्मीर में कोई गिरे हुए तिरंगे को उठाने वाला भी नहीं मिलेगा. मेहबूबा ने शुक्रवार को एक कार्यक्रम में ये बातें कहीं.
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बता दें कि एक कार्यक्रम में जम्मू कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने 35 ए को खत्म करने के लेकर कोर्ट में दी गई याचिका पर कहा कि जम्मू-कश्मीर के लिए संविधान में खास अधिकार हैं और हमें कश्मीर मुद्दे को सुलझाना चाहिए ना कि विशेषाधिकारों पर हमला कर मामले को और ज्यादा उलझा चाहिए. स्मरण रहे कि धारा 35 ए के तहत जम्मू कश्मीर के विधायकों और सांसदों को कई खास सुविधाएं मिलती हैं.
उल्लेखनीय है कि महबूबा मुफ्ती ने स्पष्ट कहा कि जो लोग ऐसा सोचते है कि धारा 35A और 370 पर वार कर वो अलगाववादियों को नुकसान पहुंचाने की सोच रहे हैं तो वे गलत है. कश्मीर के विशेषाधिकार खत्म होने से वे लोग कमजोरहोंगे , जो भारत के पक्ष में रहकर चुनाव में भाग लेते हैं. मुफ़्ती ने स्पष्ट कहा कि गोला-बारूद और सेना बढ़ाने से कश्मीर के मुद्दे का हल नहीं होगा, बल्कि कश्मीरी अवाम की जरूरतों को सरकार को समझने की जरूरत है.
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