गुजरात हाई कोर्ट कांग्रेस नेता एहसान जाफरी की विधवा जाकिया की अपील पर अपना फैसला 26 सितंबर को सुनाएगा। जाकिया ने 2002 के गुजरात दंगों के मामले में तत्कालीन मुख्य त्री नरेंद्र मोदी को निचली अदालत में क्लीनचिट दिए जाने के फैसले को चुनौती दी है।केंद्रीय मंत्री साध्वी ने दिया बड़ा बयान, कहा- गौरी लंकेश के हत्यारों को फौरन किया जाए गिरफ्तार
जस्टिस सोनिया गोकनी ने शुक्रवार को कहा कि जाकिया के वकीलों और विशेष जांच दल (एसआइटी) ने हाई कोर्ट को सूचित किया कि 2002 के दंगों पर सुप्रीम कोर्ट में पारित सारे आदेशों की कापी सुनवाई अदालत में जमा कर दी गई हैं। इसलिए इस मामले में आदेश अब 26 सितंबर को आएगा।
एसआइटी ने शुक्रवार को ही हाई कोर्ट को बताया कि सुप्रीम कोर्ट के आदेशों के अलावा, उसके बाद हुई जांच की रिपोर्ट, पूर्व आइपीएस संजीव भट्ट की अपील पर सुप्रीम कोर्ट का आदेश, ठोस सुबूत और एमीकस क्यूरी की रिपोर्ट आदि के सभी दस्तावेज निचली अदालत को सौंप दिए गए हैं। गुजरात दंगों के दौरान गुलबर्ग सोसायटी में कांग्रेस के पूर्व सांसद एहसान जाफरी समेत 68 लोग मारे गए थे। दिसंबर 2013 मेट्रोपोलिटन
अदालत ने जाकिया की उस अपील को खारिज कर दिया था जिसमें वह गुजरात दंगों की आपराधिक साजिश के लिए मोदी और अन्य लोगों को नामजद करना चाहती थीं।