अफ्रीका के बाद इंग्लैंड में खेलेगी टीम इंडिया, ये है कैलेंडर-2018
मास्टर ब्लास्टर तेंदुलकर ने कहा, ‘यह सब निर्भर करेगा कि आप पहले दिन कैसा करते हैं। पहला स्पेल महत्वपूर्ण होगा। बहुत कुछ निर्भर करेगा कि हमारे बल्लेबाज नई गेंद का सामना किस अंदाज में करते हैं। अगर टीम इंडिया के बल्लेबाज नई गेंद का अच्छे से सामना कर सके तो इससे पारी की लय बन जाएगी। स्कोरबोर्ड पर रन टांगना जरूरी होगा।’
नस्लभेद खत्म होने के बाद पहला ऐसा मौका है जब टीम इंडिया बिना सचिन तेंदुलकर के दक्षिण अफ्रीका दौरे पर गई है। तेंदुलकर ने कहा कि 1992 में मोहम्मद अजहरुद्दीन के नेतृत्व वाली टीम इंडिया को अंदाजा नहीं था कि वह किस तरह की चुनौती का सामना करने जा रही है।
43 वर्षीय तेंदुलकर ने कहा, ‘जब हम पहली बार दक्षिण अफ्रीका गए तो हमें पता ही नहीं चला कि वहां क्या होने वाला है। पहले ही मैच से हमे एहसास हुआ कि दक्षिण अफ्रीका किस स्तर का क्रिकेट खेल रही है। उदाहरण के लिए, हमने उस समय बोर्ड अध्यक्ष एकादश के खिलाफ वॉर्म-अप मैच खेला। इससे हमारी आंखे खुल गई। उनकी हर दूसरे और तीसरे दर्जे की टीमों में गजब प्रतिभा थी। हर स्तर पर वह लोग अपना खेल ऊपर उठाने की कोशिश में जुटे हुए थे। दक्षिण अफ्रीका हमेशा से प्रतिस्पर्धी टीम रही है।’
विराट कोहली के लिए बतौर कप्तान कड़ी चुनौती होगी, जिनके नेतृत्व में टीम इंडिया पहली बार दक्षिण अफ्रीका में टेस्ट सीरीज खेलने जा रही है। कोहली ने जनवरी 2016 में एमएस धोनी से कप्तानी की जिम्मेदारी हासिल की थी। कोहली की कप्तानी में टीम इंडिया के क्रिकेट के तीनों प्रारूपों में बेहतरीन प्रदर्शन किया।
टीम इंडिया ने इस दौरान ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड, इंग्लैंड और श्रीलंका को अपने घर में मात दी। इसके अलावा टीम इंडिया ने पहली बार श्रीलंका का 9-0 से क्लीनस्वीप किया। ‘विराट सेना’ ने पिछले साल में बड़ी उपलब्धियां हासिल की, लेकिन 2018 में उसकी असली परीक्षा होना है क्योंकि टीम इंडिया को कई विदेशी दौरों पर जाना है।