इंफोसिस विवाद सुलझने का नाम नहीं ले रहा है। बीते हफ्ते इंफोसिस से इस्तिफा देने वाले पूर्व चेयरमैन आर शेषशायी समेत तीन बोर्ड मेंबर ने शुक्रवार को कंपनी के को-फाउंडर नारायण मूर्तिपर झूठ बोलने का आरोप लगाया। इंफोसिस के पूर्व सदस्यों ने स्वयं का बचाव करते हुए कहा कि हम कंपनी के को-फाउंडर एनआर नारायण मूर्ति को व्यक्तिगत हमल करने वाला और स्पष्ट रूप से झूठे बोलने वाले के रूप में देखते हैं।
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आर शेषशायी ने नारायण मूर्ति पर आरोप लगाया कि वह बदले की भावना से काम करते हैं। गौरतलब है कि नारायण मूर्ति के कारण ही नंदन नीलेकणि की इंफोसिस में वापसी हुई है। नीलेकणि की वापसी के बाद शेषशायी समेत तीन बोर्ड मेंबर्स ने कंपनी से इस्तिफा दे दिया है।
बता दें कि नीलेकणि के इंफोसिस का चेयरमैन बनने के बाद बीते हफ्ते को-फाउंडर नारायण मूर्ति ने कंपनी के पूर्व बोर्ड मेंबर्स की जमकर आलोचना की। वहीं चेयरमैन बनने के बाद नीलेकणि ने कहा था कि इस बार की पारी में केवल पब्लिक सर्विस होगी। उनकी जिम्मेदारी कंपनी को एक सही और स्थिर मार्ग पर बढ़ाने की हैं। इसके साथ ही वो चाहते हैं कि कंपनी में असहमतियां दूर हों।
नीलेकणि ने निवेशकों को संबोधित करते हुए कहा था कि मैं यहां तब तक रहना चाहता हूं, जब तक जरूरी हो। इसके साथ ही कंपनी में कार्पोरेट गवर्नेंस के सर्वोच्च मानक कायम रखने को प्रतिबद्ध हैं।
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